भोपाल – व्यापमं के जरिए खाद्य अधिकारियों व निरीक्षकों की भर्ती परीक्षा में गड़बड़ी के जिस मामले में सीबीआई ने एफआईआर दर्ज की है, वह संघ के पूर्व प्रमुख से सीधा जुड़ाव रखता है। इस मामले में मप्र की एसटीएफ ने पिछले साल एक युवक मिहिर कुमार चौधरी की गिरफ्तारी भी की थी, जिसने उसने खुद को संघ के पूर्व प्रमुख का सेवादार बताया था।
खास बात यह है कि सिफारिश के बाद मिहिर न सिर्फ भर्ती परीक्षा में उत्तीर्ण हुआ था, बल्कि मेरिट में उसने सातवां स्थान बना लिया था। मिहिर ने एसटीएफ को जो बयान दिया था, उसमें कहा गया था कि उसने संघ के पूर्व प्रमुख को अपने एडमिशन कार्ड की फोटो कॉपी दी थी, उन्होंने उसे हिदायत दी थी कि परीक्षा में जितने सवालों के जवाब आते हैं, उतने ही देना, बाकी छोड़ देना। बयान में सोनीजी के नाम का भी उल्लेख हुआ था।
सूत्रों के मुताबिक इस मामले की गांठ जब खुली तो एसटीएफ ने व्यापमं के परीक्षा नियंत्रक पंकज त्रिवेदी से पूछताछ की। त्रिवेदी ने बताया कि तत्कालीन मंत्री लक्ष्मीकांत शर्मा के उस वक्त के विशेष सहायक ओपी शुक्ला ने उन्हें मिहिर के एडमिशन कार्ड की फोटोकॉपी देते हुए कहा था कि इसका काम होना जरूरी है। इसके साथ शुक्ला ने पांच अन्य नाम भी दिए थे। इस गड़बड़ी के सामने आने के बाद एसटीएफ ने मिहिर को गिरफ्तार किया था, दस दिन हिरासत में रहने के बाद उसे जमानत पर छोड़ दिया गया।