नई दिल्ली – राष्ट्रविरोधी गतिविधियों के चलते जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) विवादों में है। इसी तरह प्रेस क्लब ऑफ इंडिया में भी आतंकी अफजल गुरु की बरसी पर कार्यक्रम हुआ था और वहां भी पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे लगे थे। इसी सिलसिले में बड़ी कार्रवाई करते हुए बीती रात करीब तीन बजे दिल्ली पुलिस ने दिल्ली विश्वविद्यालय के पूर्व प्रोफेसर एसएआर गिलानी को गिरफ्तार कर लिया है। इससे पहले सोमवार को उन्हें हिरासत में लिया था।
वहीं, जेएनयू मामले में वाम दलों से जुडे़ संगठनों के छात्र नेताओं पर भारत की एकता और अखंडता पर हमला करने का आरोप है। इस मामले में पुलिस हिरासत का सामना कर रहे जेएनयू छात्रसंघ अध्यक्ष कन्हैया कुमार को अदालत से किसी तरह की राहत नहीं मिली। पटियाला हाउस कोर्ट ने कन्हैया की पुलिस हिरासत दो और दिनों के लिए बढ़ा दी है।
दरअसल 9 फरवरी को वामपंथी दलों से जुड़े संगठन आइसा और एआइएसएफ ने एक सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया था। लेकिन उस कार्यक्रम में छात्रों ने सारी मर्यादा की तार तार कर रख दी। छात्रों ने तमाम सारे आपत्तिजनक नारे लगाए जो भारत की एकता और अखंडता के लिए खतरे के तौर पर देखा गया।
छात्रों के सांस्कृतिक कार्यक्रम में भारत की बर्बादी, भारत को तोड़ने और आतंकी अफजल गुरू के समर्थन में नारेबाजी की गई। लेकिन बेलगाम छात्रों के समर्थन में सीपीएमस सीपीआई और कांग्रेस समेत कई विपक्षी दल कूद पड़े। विपक्ष के नेताओं ने केंद्र सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि देश मौजूदा समय में दूसरे आपातकाल की तरफ बढ़ रहा है। हालांकि सरकार ने साफ कर दिया है कि देशद्रोह और राष्ट्र की अखंडता के साथ खिलवाड़ करने वालों को किसी भी कीमत पर नहीं बख्शा जाएगा।