लखनऊ- सपा-बसपा की जुगलबन्दी प्रदेश की जनता समझ चुकी हैं। बसपा सुप्रीमों मायावती ने 2007 में यूपी की जनता से यह वादा किया था कि सपा सरकार के भ्रष्टाचारियों और अपराध में लिप्त लोगो को जेल में डालने का काम करेगी लेकिन 2007 में सत्ता में आने के बाद सपा से अन्दरूनी समझौते के तहत उन्होंने कोई कार्यवाही नहीं की ठीक यही वादा अखिलेश यादव ने 2012 में यूपी की जनता से किया था। उन्होंने भी बसपा के साथ अपने गठबंधन को निभाया तथा बसपा कार्यकाल में हुए भ्रष्टाचार तथा अपराध पर पर्दा डालने का काम किया।
यूपी भाजपा अध्यक्ष केशव प्रसाद मौर्य ने पार्टी मुख्यालय पर प्रेसवार्ता करते हुए कैराना-मुद्दे पर सपा-बसपा की जुगलबन्दी की राजनीति पर करारा प्रहार किया।
भाजपा अध्यक्ष ने बसपा सुप्रीमों पर तंज कसते हुए कहा कि वह स्वयं अन्र्तविरोध से ग्रस्त है जवाहरबाग काण्ड के लिए सीबीआई की मांग करती है दूसरी तरफ केन्द्र सरकार पर सीबीआई दुरूपयोग का आरोप लगाती है।
उन्होंने कहा कि बसपा कैराना के मामले में कहती है, सपा की सरकार भंग हो ओर राष्ट्रपति शासन लागू हो दूसरी ओर भाजपा को घेरती है कि भाजपा दंगा कराने के लिए कैराना में वातावरण बना रही हे। दोनों बाते एक साथ कैसे हो सकती है।
उन्होंने ने कहा कि भाजपा की जांच टीम कैराना के सच पर अपनी रिपोर्ट देगी उसके बाद पार्टी आगे का र्निणय करेगी। उन्होंने प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव से कहा कि वह कैराना मामले पर मीडिया व भाजपा को घेरने के बजाय कैराना का सच बताये। उन्होंने यह भी कहा कि कैराना के अतरिक्त भी प्रदेश में जहां भी इस तरह की घटनाऐं हुई है चाहे वह अपराधियों की दहशत के कारण पलायन हो या समुदाय विशेष द्वारा पैदा किये जा रहे भय के कारण पलायन जनता को सुरक्षा देना तथा अपराधियों को दण्डित करना सरकार का कार्य है सरकार अपना कर्तव्य निभाये।
रिपोर्ट- @शाश्वत तिवारी