कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने शुक्रवार को यहां कहा कि अगर गठबंधन सहयोगी उन्हें प्रधानमंत्री बनाना चाहेंगे तो वह प्रधानमंत्री बनने के लिए तैयार हैं।
कर्नाटक विधानसभा चुनाव के दौरान प्रधानमंत्री बनने की उनकी इच्छा व्यक्त किए जाने के बारे में पूछे जाने पर, उन्होंने कहा कि यह द्विस्तरीय प्रक्रिया है। पहला भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) को हराना और दूसरा चुनाव बाद प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के बारे में निर्णय लेना।
जब प्रधानमंत्री बनने के मुद्दे के बारे में पूछा गया तो, राहुल ने कहा, “अगर वे (गठबंधन) मुझे प्रधानमंत्री बनाना चाहेंगे, तो मैं निश्चित ही प्रधानमंत्री बनना चाहूंगा।”
राहुल यहां हिंदुस्तान टाइम्स लीडरशिप सम्मिट के संवाद सत्र मे बोल रहे थे। उनके व उनकी मां सोनिया गांधी के बीच समानता और अंतर के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, “उन्होंने मुझे धर्य सिखाया। मैं उतावला हुआ करता था। दोनों में सुनने की क्षमता है, लेकिन मैं कभी-कभी उनसे कहता हूं कि आपमें काफी धर्य है।
राहुल ने कहा, “वह मुझे कहती हैं कि वह ‘साहसी भावना’ के साथ आगे बढ़ती हैं और मैं सोच के आधार पर..मैं इससे सहमत नहीं हूं। उन्होंने कहा, “नेतृत्व क्रमिक विकास है, यह एक गतिशील प्रक्रिया है। एक नेता के तौर पर मेरे क्रमिक विकास में, मैं ज्यादा से ज्यादा लोगों को सुनता हूं और समझने की कोशिश करता हूं कि वे क्या चाहते हैं।
गौरतलब है कि इससे पहले भी कांग्रेस अध्यक्ष इससे पहले उन्होंने कर्नाटक विधानसभा चुनाव के दौरान भी कहा था कि अगर कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी हुई तो वह प्रधानमंत्री बनेंगे।
राहुल गांधी ने कहा कि अगर मैं पीएम बनूंगा तो तीन काम जरूर पूरे करूंगा। पहला काम छोटे और लघु उद्यमियों को मजबूत करूंगा, दूसरा किसानों को मैं एहसास दिलाउंगा कि वे कितने अहम हैं। तीसरा मेडिकल और एजुकेशन में क्षेत्र में काम करूंगा।