जम्मू: जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री और पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने रिहाई के बाद शुक्रवार को पहली बार पत्रकारों से बताचीत की। उन्होंने जम्मू-कश्मीर के झंडे की तरफ इशारा करते हुए कहा कि ये मेरा झंडा (जम्मू-कश्मीर का झंडा दिखाते हुए) है। जब तक हमारा झंडा हमारे पास वापस नहीं आ जाता, हम दूसरा कोई झंडा नहीं उठाएंगे। जब हमें अपना झंडा वापस मिल जाएगा, तब हम उस दूसरे झंडे (तिरंगा) को भी उठाएंगे।
उन्होंने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि भारत जम्मू-कश्मीर की भूमि चाहता है न कि उसके लोग। मैं अनुच्छेद 370 फिर से लागू होने तक कोई झंडा नहीं उठाऊंगी।
महबूबा मुफ्ती ने कहा कि मुझे अनुच्छेद 370 की दोबारा बहाली होने का पूरा यकीन है। जिन्होंने हमसे हमारा हक छीना है। उन्हें हमारा हक लौटाना होगा। मैं अपने लोगों को जम्मू-कश्मीर की आवाम को इसका यकीन दिलाना चाहती हूं।
उन्होंने कहा कि जब तक हमे हमारा संविधान और झंडा नहीं लौटाया जाएगा, हम किसी भी चुनाव में हिस्सा नहीं लेंगे। महबूबा ने कहा कि कश्मीर के समाधान के लिए हजारों ने अपनी जान दी है। अब राजनीतिक नेताओं के लिए भी समय है।
उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी द्वारा बिहार की एक रैली में धारा 370 पर दिए गए एक बयान का जिक्र करते हुए कहा कि वोट मांगने के लिए उनके पास दिखाने के लिए कुछ नहीं है। वे कहते हैं कि आप जम्मू-कश्मीर में जमीन खरीद सकते हैं, हमने धारा 370 को निरस्त कर दिया है। फिर उन्होंने कहा हम मुफ्त में टीके देंगे। आज प्रधानमंत्री ने वोट के लिए धारा 370 की बात की। यह सरकार इस देश के मुद्दों को हल करने में विफल रही है।
They’ve nothing to show to ask for votes. They say you can buy land in J&K, we’ve abrogated Article 370. Then they said they will give free vaccines. Today PM Modi had to speak of Article 370 for votes. This govt has failed to solve the issues of this nation: Mehbooba Mufti, PDP https://t.co/yzs5TqzuXZ pic.twitter.com/1ns1KySxiS
— ANI (@ANI) October 23, 2020
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बिहार में एक जनसभा को संबोधित करते हुए शुक्रवार को कहा कि एनडीए की सरकार ने धारा 370 को निरस्त किया। इन लोगों (विपक्ष) का कहना है कि सत्ता में आने पर वे इसे वापस लाएंगे। यह कहने के बाद भी इन्होंने बिहार से वोट मांगने की हिम्मत की। क्या ये बिहार का अपमान नहीं है?