संयुक्त राष्ट्र/प्योंगयांग : संयुक्त राष्ट्र के विशेषज्ञों ने कहा है कि उत्तर कोरिया का सनकी तानाशाह प्रतिबंधों को दरकिनार कर अपने नाभिकीय हथियारों और बैलिस्टिक मिसाइलों का आधुनिकीकरण कर रहा है। साथ ही उत्तर कोरिया इन कार्यक्रमों में इस्तेमाल होने वाली सामग्री और तकनीक को दूसरे देशों से प्राप्त करने का प्रयास कर रहा है। यही नहीं उत्तर कोरिया ने साइबर हैकिंग के जरिए 22 करोड़ पाउंड हासिल किया है और इसका इस्तेमाल वह हथियारों पर कर रहा है।
उत्तर कोरिया पर लगाए गए संयुक्त राष्ट्र के प्रतिबंधों पर निगरानी रखने वाले विशेषज्ञों ने सोमवार को सुरक्षा परिषद में एक रिपोर्ट सौंपी। इस रिपोर्ट में कहा कि किम जोंग उन की सरकार ने ऐसी सामग्री का निर्माण भी कर लिया है जिससे नाभिकीय हथियार बनाया जा सकता है। विशेषज्ञों ने कहा, ‘उसने (उत्तर कोरिया) कम दूरी की नई मिसाइलों, मध्यम दूरी की, पनडुब्बी से मार करने लायक और अंतरमहाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइलों का सैन्य परेड में प्रदर्शन किया।’
हाइलाइट्स:
- संयुक्त राष्ट्र के विशेषज्ञों ने कहा है कि उत्तर कोरिया नाभिकीय हथियारों का आधुनिकीकरण कर रहा
- उत्तर कोरिया इन कार्यक्रमों में इस्तेमाल होने वाली सामग्री, तकनीक को प्राप्त करने का प्रयास कर रहा
- यही नहीं उत्तर कोरिया ने साइबर हैकिंग के जरिए 22 करोड़ पाउंड हासिल किया है और हथियार बना रहा
उत्तर कोरिया ने 2006 में पहली बार नाभिकीय परीक्षण किया
विशेषज्ञों ने कहा कि उत्तर कोरिया ने नए बैलिस्टिक मिसाइल वॉरहेड और रणनीतिक नाभिकीय हथियारों के विकास के परीक्षण तथा निर्माण की घोषणा की और बैलिस्टिक मिसाइल ढांचे को उन्नत बनाया है।’ उत्तर कोरिया ने 2006 में पहली बार नाभिकीय परीक्षण किया था जिसके बाद संयुक्त राष्ट्र ने उस पर कड़े प्रतिबंध लगा दिए थे। संयुक्त राष्ट्र ने प्योंग यांग द्वारा नाभिकीय और बैलिस्टिक मिसाइलों का उत्पादन रोकने के लिए देश के ज्यादातर निर्यात पर पाबंदी लगा दी है और आयात को बहुत हद तक सीमित कर दिया है।
एसोसिएटेड प्रेस को प्राप्त रिपोर्ट के अंश में स्पष्ट रूप से लिखा है कि उत्तर कोरिया प्रतिबंधों को नजरअंदाज करते हुए अपने नाभिकीय और मिसाइल कार्यक्रमों का विकास कर रहा है, अवैध रूप से तेल का आयात कर रहा है, अंतरराष्ट्रीय बैंकिंग चैनलों का इस्तेमाल कर रहा है और आपराधिक साइबर गतिविधियों को बढ़ावा दे रहा है।