नई दिल्ली – कांग्रेस समेत सभी विपक्षी सांसदों के हंगामे से सदन नहीं चलने के विरोध में सत्ताधारी गठबंधन एनडीए के सांसदों ने गुरुवार दोपहर को संसद से विजय चौक तक मार्च किया। एनडीए ने इस ‘लोकतंत्र बचाओ मार्च’ का नाम दिया।
इस मार्च में वरिष्ठ बीजेपी नेता लाल कृष्ण आडवाणी, गृह मंत्री राजनाथ सिंह, केंद्रीय मंत्री सुषमा स्वराज, अरुण जेटली, रविशंकर प्रसाद समेत कई नेता शामिल रहे। इस दौरान राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा कि एनडीए गरीबों और किसानों की ओर है। उनका कहना था कि अब भारत के विकास को रोका जा रहा है।
मॉनसून सत्र के आखिरी दिन जीएसटी बिल (वस्तु एवं सेवा कर विधेयक) पारित कराने की कोशिश में जुटी सरकार को गुरुवार को भी कोई सफलता नहीं मिली। इससे पहले कांग्रेस ने लोकसभा से वॉकआउट किया था। विपक्षी सांसदों ने संसद के दोनों सदनों में हंगामा किया। कांग्रेस सांसद पीएम मोदी के सदन में आकर जवाब देने की मांग पर अड़े हुए थे। कांग्रेस सांसदों ने ‘प्रधानमंत्री संसद में आओ’ के नारे लगाए। इसके साथ ही लोकसभा स्पीकर के खिलाफ भी जमकर नारेबाजी की। इसमें करीब 300 सांसद शामिल हुए।
एनडीए के सांसदों ने दोपहर करीब 2 बजे लोकतंत्र बचाओ रैली निकाला। बीजेपी ने कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि वह सदन चलाने में सहयोग नहीं करना चाहती। केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने सीधे कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी पर हमला बोलते हुए कहा कि वह पार्ट टाइम नेता हैं, जिन्होंनें कांग्रेस को सत्ता से पूरे 20 साल के लिए दूर कर दिया है।
गौरतलब है कि जीएसटी बिल पारित कराने की कोशिशों में जुटी सरकार को हंगामे के चलते करारा झटका लगा। यदि यह बिल इस सत्र में भी पारित होने से रह जाता है तो उसके आर्थिक सुधार के एजेंडे को करारा झटका लगेगा।