विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल एक बार फिर से सुर्खियों में है। इस बार संगठन ने युवाओं के लिए त्रिशूल दीक्षांत समारोह का आयोजन कराया जिसमें युवाओं को त्रिशूल बांटे गए। टाइम्स ऑफ इंडिया की खबर के मुताबिक दोनों संगठनों ने बीते सोमवार (12 जून) को गांधीनगर में लगभग 75 युवाओं को त्रिशूल दिए।
संगठनों का दावा है त्रिशूल बांटने का मकसद गौ-रक्षा और कथित “लव जिहाद” के खिलाफ लड़ाई है। वीएचपी बीते पांच महीनों से लगातार हर महीने त्रिशूल दीक्षांत समारोह आयोजित करा रहा है। बीते 6 कार्यक्रमों में 700 त्रिशूल बांटे जा चुके हैं। खबर के मुताबिक वीएचपी के महासचिव महादेव देसाई ने कार्यक्रम के बारे में बताते हुए कहा- “बीते ढाई सालों में लगभग 4,000 त्रिशूल बांटे जा चुके हैं। युवाओं के बीच यह त्रिशूल गांधीनगर सिटी और जिले में बांटे गए। उन्होंने यह भी कहा कि त्रिशूल रखने को लेकर युवाओं को कई दिशा-निर्देश दिए गए हैं।”
देसाई ने कहा- “त्रिशूल कोई बड़ा शस्त्र नहीं। यह प्रतिबंधित हथियारों से छोटा है, जो काफी मददगार साबित हो सकता है। गुजरात में गौ-हत्या के कई मामले सामने आए हैं और पुलिस उन्हें रोकने में नाकाम रही। ऐसे में यह समय है जब हिंदू युवा लड़ने के लिए आगे आए।” इसके अलावा देसाई ने यह दावा भी किया कि इस दीक्षांत समारोह के जरिए वह युवाओं को लव जिहाद के खिलाफ लड़ाई जारी रखने के लिए प्रोत्साहित कर रहा है। साथ ही राज्य में एंटी रोमियो स्क्वॉड बनाने की बात भी कही है।
गांधीनगर बजरंग दल अध्यक्ष शक्तिसिन्ह जाला ने कहा कि त्रिशूल एक आत्मविश्वास का प्रतीक है। उन्होंने कहा- “हम हिंदू युवाओं की एक मजबूत इकाई बनाना चाहते हैं जो हिंदुत्व का पालन करें और गांधीनगर में हमारा त्रिशूल दीक्षा कार्यक्रम उस मिशन का हिस्सा है।”
वहीं इस मामले को लेकर गांधीनगर एसपी ने कहा- “कानून सभी के लिए समान हैं और युवाओं को सार्वजनिक जगहों पर त्रिशूल या कोई भी हथियार ले जाने की इजाजत नहीं है। हम निश्चित रूप से कार्रवाई करेंगे अगर युवा कोई कानून तोड़ते हैं या फिर त्रिशूल के साथ पाए जाते हैं।” गौरतलब है वीएचपी और बजरंग दल कालोल इलाके में भी 20 जून को त्रिशूल दीक्षा समारोह का आयोजन करेंगे जिसमें एक हजार से ज्यादा युवाओं के आने की संभावना है।
@एजेंसी