हरदा – आज सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश एच. एल. दत्तु एवं सीकरी की खंडपीठ ने समाजवादी जन परिषद के राष्ट्रीय सचिव अनुराग मोदी की जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए, म. प्र. के हरदा जिले के खिडकिया शहर में हुए दंगो के मामले में म. प्र के पूर्व राजस्व मंत्री , बीजेपी के कमल पटेल और सीबीआई सहित म. प्र. शासन को नोटिस जारी कर दिया| याचिकाकर्ता ने दंगे कमल पटेल और उनके लड़के तथा अन्य सहयोगीयों व्दारा साजिश के तहत भड़काए जाने का आरोप लगाते हुए, इस मामले में सी बी आई जाँच की मांग की है|
याचिकाकर्ता का कहना है: नवम्बर २०१३ में हुए म. प्र विधानसभा चुनाव के पहले 19.09.2013 को हरदा जिले के खिरकिया में जो साम्प्रदायिक दंगे हुए थे, इस मामले में पुलिस ने १२ ऍफ़ आई आर दर्ज की और लगभग सभी में सुरेन्द्र सिंग राजपूत उर्फ़ ‘टाईगर’ को आरोपी बनया| लेकिन, इस मामले में सुरेन्द्र सिंग राजपूत की कमल पटेल , उनके लड़के सुदीप पटेल एव बी जे पी के अन्य पधादिकारियों व्दारा जो साजिश की गई थी उसे पुलिस ने अपनी जाँच में छोड़ दिया था |
अनुराग मोदी ने कह इस मामले में उन्होंने सबूत के तौर पर जो फोटोग्राफ जबलपुर हाई कोर्ट में पेश किए थे, उसमें साफ़- साफ़ इस बात को दर्शाया गया था| इतना ही नहीं, पुलिस ने दंगे के दौरन पकडाए गए मुख्य आरोपी सुरेन्द्र सिंग राजपूत को भी मौके से भागने दिया – पुलिस ने माना है कि उसने उसे पकड लिया था, लेकिन वो भाग गया| इतना ही नहीं, पुलिस ने कमल पटेल के लड़के सुदीप पटेल को हाई कोर्ट में याचिका दर्ज होने के बाद आरोपी बनाया और सुरेन्द्र राजपूत के गिरफ्तारी मामले के एक साल बाद हुई|
याद रहे कि इस दंगे में एक गाय के बछड़े की हत्या का मामला बनाकर जो दंगा भडकाया गया था उसमें खिरकिया की खेड़ा बस्ती में अल्पसंख्यको के ७० के करीब घर आग के हवाले कर लूट लिए गए थे; उनकी अनके दुकाने जला दी गई थी| पोस्टमार्ट रिपोट के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि उक्त बछड़ा प्लास्टिक खाने से सांस अवरुद्ध होने से मरा था, ना की मारा गया था | मामले में याचिका कर्ता की और से वरिष्ट वकील प्रशांत भूषण सुर सहायक वकील प्योली ने पैरवी की| रिपोर्ट –अब्दुल समद