लखनऊ: यूपी में चुनाव आयोग ने 4 जनवरी को चुनाव की तिथियों की घोषणा करते हुए आचार संहिता लगा दी थी। चुनाव आयोग ने घोषणा के वक्त सख्त निर्देश दिए थे कि तमाम राजनीतिक पार्टियों द्वारा किए गए प्रचार प्रसार की होल्डिंग्स वॉल पेंटिंग्स आदि को तत्काल प्रभाव से हटा दिया जाए ,जिसकी जिम्मेदारी जिला प्रशासन, नगर निगम प्रशासन और पुलिस प्रशासन के अलावा अन्य विभागों को भी दी गई थी। मीडिया में आचार संहिता के उल्लंघन की खबरें कई बार आई लेकिन आज एक ऐसा उल्लंघन देखने में आया जिसमें यह कहावत चरितार्थ हो रही थी, चिराग तले अंधेरा।
जी हां यह वाक्या है, लखनऊ के नगर निगम जोन 05 (चन्दन नगर, आलमबाग) के कार्यालय का जहां पर जोनल अधिकारी द्वारा दूर-दूर तक चुनाव सामग्री हटवाने का दावा किया गया हैं, वही उनकी कार्यालय की दीवार के ऊपर एक प्रत्याशी की वॉल पेंटिंग खबर लिखे जाने तक लगी हुई है और उस दीवार के ठीक सामने महज 5 फिट की दूरी पर कई जगह वॉल पेंटिंग है, जिस पर नगर निगम की नजर आज तक नहीं गई है। इसके बारे में जब चुनाव आयोग से बात करने की कोशिश की गई तो उन्होंने ईमेल करके मामले की जानकारी (शिकायत) देने के लिए कहा चुनाव आयोग का टोल फ्री नंबर जारी करने का मकसद क्या सिर्फ यही था कि कोई जागरुक नागरिक पहले तो फोन पर शिकायत दर्ज कराएं और फिर ईमेल भी भेजें।
अब देखना यह है कि इस प्रकरण पर क्या कार्यवाही होती है और चुनाव आयोग इस ढिलाई को किस नजरिए से देखता है।
@शाश्वत तिवारी/ सुजीत द्विवेदी