खण्डवा : ओंकारेश्वर में आदि शंकराचार्य की धातु प्रतिमा, अंतर्राष्ट्रीय वेदान्त संस्थान एवं संग्रहालय आदि की स्थापना और इनसे संबंधित विभिन्न गतिविधियों व कार्यक्रमों में मार्गदर्शन देने के लिये राज्य शासन ने जगदगुरू शंकराचार्य भारती तीर्थ महास्वामी श्रंगेरी पीठ को मुख्य मार्गदर्शक नियुक्त किया है।
उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा नर्मदा सेवा यात्रा के दौरान फरवरी 2017 में ओंकारेश्वर में आचार्य शंकर सांस्कृतिक एकता न्यास की स्थापना की घोषणा के पालन में यह कार्रवाई की गई है।
न्यास में भारतीय ज्ञान और दर्शन के क्षेत्र के ख्याति प्राप्त 5 सदस्य और विभिन्न क्षेत्रों से दो सामाजिक कार्यकर्ताओं को सदस्य नामांकित किया गया है। न्यासी सदस्यों का कार्यकाल अधिकतम तीन वर्ष का होगा।
नामांकित न्यासी सदस्यों में हिन्दू धर्म आचार्य सभा हरिद्वार के अध्यक्ष स्वामी अवधेशानंद गिरि महाराज, चिन्मय मिशन मुम्बई के अंतर्राष्ट्रीय प्रमुख स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती महाराज, हिन्दू धर्म आचार्य सभा राजकोट के महासचिव स्वामी परमात्मानंद सरस्वती महाराज, लालेश्वर महादेव मंदिर बीकानेर के महंत स्वामी संबित सोमगिरि महाराज, आदिशंकर ब्रह्म विद्यापीठ उत्तरकाशी के आचार्य स्वामी हरिब्रह्मेन्द्रानन्द महाराज, विवेकानंद केन्द्र कन्याकुमारी की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष पदमश्री सुश्री निवेदिता रघुनाथ भिड़े और भारतीय शिक्षण मण्डल अहमदाबाद के अखिल भारतीय संगठन मंत्री श्री मुकुल कानिटकर शामिल है।