समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव शनिवार को फिरोजाबाद उपद्रव में मारे गए परिजनों से मिले।
इस दौरान अखिलेश यादव ने नागरिकता संशोधन कानून और एनआरसी के मुद्दे पर भाजपा सरकार पर तल्ख प्रहार किये।
इस कानून को गरीब विरोधी बताते हुए आम जनता से इसका बहिष्कार करने और किसी भी तरह का फार्म न भरने की अपील की।
वहीं, कन्नौज में हुए हादसे के लिए उन्होंने राज्य सरकार को दोषी बताया और इसकी उच्च स्तरीय जांच की मांग की। सपा अध्यक्ष ने नागरिकता संशोधन कानून के मुद्दे पर प्रदेश में भड़के उपद्रव के लिए योगी सरकार को जिम्मेदार बताया और कहा मुख्यमंत्री ने अपनी सरकार बचाने के लिए उपद्रव कराया।
अखिलेश यादव शनिवार दोपहर को नैनी चौराहा के पास स्थित 20 दिसंबर को हुए उपद्रव में मारे गए अरमान पुत्र यामीन के आवास पहुंचे।
उपद्रव में मारे गए अन्य पांच मृतकों के परिजन भी यहीं बुला लिया गया था। अखिलेश ने सभी मृतकों के पीड़ित परिवारों को आर्थिक मदद के लिए चेक दिए।
सपा अध्यक्ष ने कहा कि यूपी के कई जिलों में उपद्रव हुआ और यह उपद्रव अपनी कुर्सी बचाने के लिए स्वयं मुख्यमंत्री योगी ने कराया। उपद्रव में सरकार ने जिन लोगों के खिलाफ मुकदमे दर्ज किए हैं उन्हें सपा की सरकार बनने पर वापस लिया जाएगा। बोले, ऐसा करना योगी सरकार ने ही सिखाया है।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ने अपने सभी मुकदमे वापस ले लिए फिर यह तो निर्दोष जनता पर लगे मुकदमे हैं।
उन्होंने सवाल उठाया कि उपद्रव में जो लोग मारे गए हैं उनके परिवार को मृतक की पोस्टमार्टम रिपोर्ट नहीं दी गई है, सरकार आखिर क्या छिपाना चाहती है…?
कन्नौज हादसे पर उन्होंने कहा कि जिस स्थान पर हादसा हुआ उससे चंद कदम की दूरी पर सपा सरकार में फायर स्टेशन प्रस्तावित किया गया था, भाजपा सरकार ने फायर स्टेशन का काम क्यों रुकवा दिया। यदि फायर स्टेशन होता तो शायद इतनी मौतें न होती। सरकार सभी मृतकों के परिजनों को दस-दस लाख रुपये मुआवजा दे।
अखिलेश यादव ने कहा कि देश में सभी के पास आधार कार्ड है और उसमें पर्याप्त जानकारी है, फिर नया कानून लाकर सरकार क्या जानकारी हासिल करना चाहती है। पूरे विश्व में यह एक अजूबा है कि संसद में जो कानून बन चुका है उसे समझाने के लिए सत्ताधारी पार्टी को ही आम जनता के बीच जाना पड़ रहा है।
उन्होंने कहा कि संसद में सांसदों के संख्या बल के कारण विपक्ष कमजोर जरूर है लेकिन पूरे देश की जनता सरकार का विरोध करके विपक्ष की भूमिका निभा रही है।
अखिलेश ने कहा कि अब हम ही अपनी माताजी की जन्मतिथि का प्रमाणपत्र कहां से देंगे..। महात्मा गांधी ने जब अफ्रीका से आंदोलन शुरू किया तो अपना परमिट जला दिया था। देश की जनता भी इस कानून का बहिष्कार करे और कोई भी फार्म न भरे।