अमेठी : यूपी चुनाव में कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के साथी बने पूर्व सीएम ने राहुल के संसदीय क्षेत्र में 33 केबी फीडर की बिल्डिंग निमार्ण के लिए 5 करोड़ रुपए स्वीकृत किए थे। लेकिन इसमें भ्रष्ट्राचार का घुन लगा हुआ है। आलम ये है कि बिल्डिंग की दीवार गिरने के कागर पर आ गयी है। ऐसे में अब प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पिछली सरकार में कराये गये विकास कार्यों की हकीकत परखते हुए उसकी समीक्षा करा रहे हैं, तो यहां अमेठी के जिम्मेदार अधिकारी इस मामले में चुप्पी साधे हुये हैं।
पढ़े क्या है पूरा मामला
बता दें कि अमेठी जिला मुख्यालय गौरीगंज में अमेठी-गौरीगंज सम्पर्क मार्ग पर 33 केबी के विधुत सब स्टेशन की बिल्डिंग का कार्य 2016 मे पूरा कराकर विभाग को सौंपा। इसमें करीब 5 करोड़ की लागत आई थी। लेकिन फिलवक्त बिल्डिंग का आलम ये है कि लगभग 2 साल में ही बिल्डिंग की दीवार जगह-जगह से फट गई है। ऐसे में कब बिल्डिंग धराशाई होकर गिर पड़े और कौन सा बड़ा हादसा दरपेश आ जाए इसको भगवान ही जाने। यहां बिल्डिंग में कार्यरत कर्मचारियों ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि अधिकारियों ने अपनी उगाही का काम तो करते हुए जेबें गर्म कर डाली और हम जान हथेली पर रखकर काम कर रहे।
अब तक शासन को नही भेजी रिपोर्ट
उधर सूबे के निजाम बदलने के बाद प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पिछली सरकार में कराये गये कार्यों की हकीकत परखने और समीक्षा कर आधिकरियों को रिपोर्ट भेजने का निर्देश दे रखा है। लेकिन सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार करोड़ों का वारा न्यारा करने वाले अधिकारियों तक अब तक रिपोर्ट शासन को नही भेजा है।
दोषियों के विरुद्ध होगी सख्त से सख्त कार्यवाई
इस विषय पर जब डीएम अमेठी योगेश कुमार से बात की गई तो उन्होंने कहा की ये गम्भीर मामला है। इसके लिए जांच कमेटी नियुक्त की जाएगी। और रिपोर्ट आते ही दोषियों के विरुद्ध सख्त से सख्त कार्यवाई की जाएगी।
रिपोर्ट@राम मिश्रा