दिल्ली विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को मिली करारी हार के बाद अंदरुनी कलह सामने आ रहा है। इसी बीच पार्टी के वरिष्ठ नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भी हार पर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कहा कि पार्टी में नई सोच की जरुरत है। बता दें कि राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में देश की सबसे पुरानी राजनीतिक पार्टी पर अस्तित्व का संकट ही खड़ा हो गया है।
मध्य प्रदेश के वरिष्ठ कांग्रेस नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया निवाड़ी पहुंचे ज्योतिरादित्य सिंधिया ने दिल्ली चुनाव परिणामों में कांग्रेस के प्रदर्शन को निराशाजनक बताया। पत्रकारों ने जब ज्योतिरादित्य सिंधिया से दिल्ली में कांग्रेस के खराब प्रदर्शन पर सवाल पूछा तो जवाब देते हुए सिंधिया ने कहा कि ‘दिल्ली के चुनाव परिणाम कांग्रेस के लिए बहुत ही निराशाजनक आए हैं। नई सोच, नई विचारधारा और नई कार्यप्रणाली की कांग्रेस को सख्त जरूरत है।
उन्होंने कहा देश बदल चुका है और आज इस परिप्रेक्ष्य में हमको भी अपनी सोच और विचारधारा के साथ मिलकर देश की जनता के सामने जाना होगा। अगर वो हमारा उद्देश्य है तो लोकसभा चुनाव के बाद कई राज्यों में हमें जीत भी हासिल हुई है हमारे सहयोगी दलों के साथ, चाहे वो झारखंड हो या महाराष्ट्र हो, लेकिन दिल्ली का जो परिणाम है वो बहुत निराशाजनक है इसमे कोई दो राय नहीं है।
सिंधिया ने कहा कि पार्टी को कार्यप्रणाली बदलने की जरुरत है। इसके पूर्व पार्टी की वरिष्ठ नेत्री और पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी की बेटी शर्मिष्ठा मुखर्जी भी पार्टी की हार पर आलाकमान सहित राज्य इकाई के नेताओं पर बड़े सवाल खड़े कर चुकी हैं।
मुखर्जी ने आलाकमान द्वारा निर्णय लेने में देरी करने और राज्य इकाई में एकता की कमी के गंभीर आरोप लगाए थे। इतना ही नहीं पार्टी का हिस्सा होने की वजह से उन्होंने हार के लिए खुद भी जिम्मेदारी लेने की बात कही थी।
दिल्ली के पिछले दो विधानसभा चुनाव कांग्रेस के लिहाज से बेहद बुरे साबित हुए हैं। साल 2015 और हाल ही में संपन्न हुए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस सीट का खाता तक नहीं खोल पाई है। पार्टी की सूबे में इतनी बुरी हालत कभी नहीं रही है। इस बार तो कई वरिष्ठ नेताओं ने टिकट लेने तक से इंकार कर दिया था। ऐसे में पार्टी की खस्ता हालत के बाद सवाल खड़े होने लगे हैं।