बॉलिवुड के मशहूर अभिनेता कादर खान का निधन हो गया है। वे लंबे समय से बीमार चल रहे थे और कनाडा के अस्पताल में उनका इलाज चल रहा था।
81 वर्षीय कादर खान को सांस लेने में समस्या थी और इसी कारण डॉक्टरों ने उन्हें वेंटिलेटर पर रखा था। उनकी खराब तबीयत को लेकर चल रही खबरों के बाद बॉलिवुड सिलेब्रिटीज भी उनके अच्छे स्वास्थ्य की दुआएं कर रहे थे। अमिताभ बच्चन ने ट्वीट किया था, ‘कादर खान, बेहद प्रतिभाशाली ऐक्टर और राइटर अस्पताल में हैं। उनकी सेहत के लिए दुआ करता हूं।’
नवंबर 2017 में कादर खान की एक तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हुई थी। तब वे न चल पा रहे थे, न कुछ ठीक से बोल पा रहे थे। वे पूरे समय व्हीलचेयर पर बैठे रहते थे।
फोटो में वे व्हीलचेयर पर बैठे थे और बेटे सरफराज ने पीछे से कुर्सी थाम रखी थी। हालांकि तस्वीरों में वे खुश नजर आ रहे थे, लेकिन उम्र असर साफ नजर आने लगा था।
कनाडा में कादर खान अपने बेटे, बहू और उनके बच्चों के साथ रहते थे। उनकी बहू ने एक इंटरटेनमेंट पोर्टल को बताया था कि वे बमुश्किल चल पाते हैं। मुझे और शौहर को ही समझ पाते हैं।
तब सरफराज ने बताया था कि हाल ही में उनके पिता के घुटनों का ऑपरेशन हुआ था। हालांकि इसके बाद डॉक्टर ने जो सावधानियां बरतने को कहा था, उसमें चूक हो गई, जिसके बाद से गुजरे जमाने का यह अभिनेता व्हीलचेयर पर था।
बकौल सरफराज, घुटनों का ऑपरेशन तो सफल रहा था, लेकिन उसके बाद मेरे पिता ने पैरों पर खड़ा होने से इन्कार कर दिया था। उन्हें यह कोशिश करना थी, लेकिन उन्होंने नहीं की, जिसका खामियाजा भुगतना पड़ा।
कादर खान का जन्म 22 अक्टूबर, 1937 को काबुल में हुआ। उन्होंने 1973 में ‘दाग’ फिल्म से अपने अभिनय करियर की शुरुआत की। इसमें राजेश खन्ना मुख्य भूमिका में थे। इससे पहले वह रणधीर कपूर और जया बच्चन की फिल्म ‘जवानी-दिवानी’ के लिए संवाद लिख चुके थे। एक पटकथा लेखक के तौर पर खान ने मनमोहन देसाई और प्रकाश मेहरा के साथ कई फिल्में लिखी।
कादर खान ने मनमोहन देसाई के साथ मिलकर ‘धर्म वीर’, ‘गंगा जमुना सरस्वती’, ‘कुली’ ‘देश प्रेमी’, ‘सुहाग’, ‘अमर अकबर एंथनी’ और मेहरा के साथ ‘ज्वालामुखी’, ‘शराबी’, ‘लावारिस’ और ‘मुकद्दर का सिकंदर’ जैसी फिल्में लिखी। खान ने ‘कुली नंबर 1’, ‘मैं खिलाड़ी तू अनाड़ी’, ‘कर्मा’, ‘सल्तनत’ जैसी फिल्मों के संवाद लिखे। उन्होंने करीब 300 फिल्मों में काम किया और 250 से ज्यादा फिल्मों के संवाद लिखे थे।