लखनऊ : शिया धर्मगुरु मौलाना कल्बे जव्वाद ने वक्फ की सम्पत्तियों को लेकर जो गंभीर आरोप लगाए हैं । उनसे आजम खान का असली चेहरा समाने आ गया है। आरोप है कि समाजवादी पार्टी की सरकार में वक्फ और नगरीय विकास मंत्री रहते हुए आजम खान ने हजारों करोड़ रुपए की वक्फ की समपत्तियों को अपने पुत्र, पत्नी आदि के नाम करवा लिया। आजम ने जो जौहर यूनिवर्सिटी बनवाई, उसमें भी वक्फ की सम्पत्ति है।यहां तक की कब्रिस्तान की जमीन को भी अपनी यूनिवर्सिटी में शामिल करवा लिया।
शिया धर्मगुरु ने अब मुख्यमंत्री आदित्यनाथ योगी से मांग की है कि यूपी में वक्फ सम्पत्तियों में हुए भ्रष्टाचार की जांच करवाई जाए। सब जानते हैं कि मौलाना कल्बे जव्वाद का आम मुसलमानों में बहुत मान सम्मान है। यदि मौलाना जव्वाद कोई आरोप लगा रहे हैं तो उसमें गंभीरता तो होगी ही। वहीं सपा की सरकार में आजम खान यूपी के मुसलमानों के सबसे बड़े पेरोकार होने का दावा करते थे।
आजम ने हमेशा ऐसा प्रदर्शित किया, जिसमें वे स्वयं को मुलसमानों का हमदर्द बताते थे। यह बात अलग है कि जब सत्ता की मलाई खाने का अवसर मिला तो पहले अपनी पत्नी को राज्यसभा का सांसद बनवाया और फिर गत विधान सभा चुनाव में अपने बेटे अब्दुल्ला को सपा का टिकट दिलवाया। आज पिता-पुत्र दोनों विधायक हैं। स्वाभाविक है कि मौलाना जव्वाद ने जो आरोप लगाए हैं उनसे आजम खान इंकार करेंगे।
शिया धर्मगुरु मौलाना कल्बे जव्वाद की आजम ने खोली पोल
समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता और पूर्व कैबिनेट मंत्री आजम खां ने शिया धर्मगुरु मौलाना कल्बे जव्वाद द्वारा खुद पर लगाए गए आरोपो के बाद उनकी ही पोल खोल दी है. इससे पहले जहां कल्बे जव्वाद ने आजम के कार्यकाल में वक्फ बोर्ड की जमीन में 400 करोड़ रुपए का घोटाला का आरोप लगाया था. तो अब वहीं आजम ने यह कहा है कि उनके मंत्री रहने के दौरान कल्बे जव्वाद अपने दामाद को शिया वक्फ बोर्ड का चेयरमैन बनाने के लिए उनसे मिलने आए थे. लेकिन आजम ने इस बात से इंकार कर दिया था. क्योंकि शिया धर्मगुरु के दामाद पर भ्रष्टाचार के आरोप थे ।
आजम के मुताबिक इस वजह से ही अब कल्बे जव्वाद उनसे दुश्मनी करने पर उतारू हो गए हैं. आजम खान ने उस मामले में कहा, “हम बच्चे-बच्चियों को पढ़ाना चाहते हैं. खास तौर पर मुसलमानों के बच्चों से जहालत के अंधेरे को दूर करना चाहते हैं. हम इसके लिए हर कुर्बानी को तैयार हैं. हर बर्बादी को तैयार हैं क्योंकि हमारा दामन, जमीर, गर्दन सब कुछ पाक साफ है. हमने जो कुछ किया शिक्षा के लिए किया. हम इतिहास छोड़ कर जाएंगे आने वाली नस्लों के लिए. जो हमने किया इतना बड़ा कोई सोच भी नहीं सकता ।
इसके अलावा कल्बे जव्वाद नकवी, मोहसिन रजा नकवी और एजाज अब्बास नकवी को लेकर यह उन्होंने यह भी कहा, ‘ये नकवी साहेबान आज के मीर जाफर हैं. ये नहीं चाहते कि हमारे बच्चे बच्चियां पढ़ें. इन जमीनों पर तालीम के मंदिर बने. आजम खान ने कहा कि किसी राजनीतिक दल ने उंगली नहीं उठाई. बल्कि कुछ गुंडे, माफिया, ऐसे लोग जो हमें अंधेरे की जिंदगी में धकेल देना चाहते हैं, ये पहल उनकी तरह से हुई है । रिपोर्ट @ शाश्वत तिवारी