खंडवा : निमाड़ की राजनीति के अज्ञातशत्रु माने जाने वाले नंदकुमारसिंह चौहान कोरोना माहमारी से ग्रसित होने के बाद विगत 1 माह से जिंदगी की जंग लड़ रहे थे। निमाड़ की नैया, नंदू भैया… पिछले कई दिन से कोरोना पीड़ित थे। कुछ दिन भोपाल में इलाज हुआ और फिर दिल्ली ले जाया गया। 2 मार्च की सुबह उन्होंने अंतिम सांस ली तो समर्थकों को विश्वास ही नहीं हो रहा कि नंदू भैया यूं विदा हो गए। निमाड़ में जीवन भर विकास का पर्याय बनकर रहे नंदू भैय्या के समर्थक तो ठीक विरोधी भी मीठी बोली के कायल रहे। बुरहानपुर, खंडवा, खरगोन समेत पूरे प्रदेश के विकास के लिए वे सदैव चिंतित रहते थे। खंडवा के मीडिया प्रभारी सुनील जैन ने बताया कि देर रात उनके शव को खंडवा से बुरहानपुर होते हुए एंबुलेंस से शाहपुर ले जाया गया । जहां बुधवार को अंतिम संस्कार होगा। स्व.चौहान के आकस्मिक निधन के बाद राष्ट्रपति,प्रधानमंत्री से लेकर भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष और प्रदेश अध्यक्ष के साथ मुख्यमंत्री और मंत्रिमंडल के सदस्यो ने ट्वीट कर शोक व्यक्त किया।
निमाड़ सहित लोकसभा क्षेत्र हुआ गमगीन
सहज सरल और अपनी वाणी को सदव मीठा रखने वाले आम-ओ-खास में नंदू भईया के नाम से प्रसिद्ध खंडवा लोकसभा से सांसद व मध्यप्रदेश भारतीय जनता पार्टी के पूर्व प्रदेशाध्यक्ष नंदकुमारसिंह चौहान के निधन के समाचार ने निमाड सहित पूरे लोकसभा क्षेत्र में भाजपा कार्यकर्ता व आम आदमी स्तब्ध रह गए , सुबह-सुबह उन्हे अपने नेता का अनंत की यात्रा का पथिक बन जाने की खबर पर यकीन नही हो रहा था। सभी एक दूसरे से फोन पर चर्चाकर दुखद खबर की पुष्टि करते रहे। अपने वरिष्ट नेताओ से पुष्टि होने के बाद सोशल मीडिया पर श्रध्दाजंलि का दौर शुरू हुआ ।
ऐसा रहा नंदू भैय्या का राजनीतिक सफर
स्वर्गीय नंदकुमारसिंह चौहान का जन्म बुरहानपुर जिले के शाहपुर नगर में 8 सितम्बर 1952 को हुआ था। स्वर्गीय चौहान की प्रारम्भिक शिक्षा अपने गृहनगर शाहपुर में हुई । प्रारम्भिक शिक्षा के बाद सेवा सदन महाविद्यालय बुराहनपुर से स्नातक की डिग्री हासिल की , नंदू भैय्या ने युवावस्था में अपने गृहनगर शाहपुर नगरपरिषद में पार्षद निर्वाचित होकर अपनी राजनीतिक यात्रा प्रारम्भ की । लगभग 45 वर्ष की राजनीतिक पारी में वे 2 मर्तबा शाहपुर नगरपरिषद के अध्यक्ष रहे। 3 बार शाहपुर के विधायक रहे तथा खंडवा लोकसभा क्षेत्र से 6 बार सांसद निर्वाचित होकर लोकसभा क्षेत्र की 8 विधानसभाओं का नेतृत्व किया। सत्ता के साथ संगठन में भी अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और प्रदेश नेतृत्व ने उन्हे कुशल संगठक की भूमिका का निर्वहन करने हेतु प्रदेश अध्यक्ष की बागडौर सौंपी। नंदू भैय्या संगठन में 5 प्रदेश के महामंत्री और 2 बार प्रदेशाध्यक्ष रह चुके थे। उनके नेतृत्व में पूरे प्रदेश में पंचायत से लेकर संसदीय चुनाव में भाजपा का परचम लहराता रहा।
सीएम शिवराजसिंह चौहान के करीबी थे स्व.चौहान
स्वर्गीय चौहान मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान के बेहद करीबी माने जाते थे । तथा भाजपा के कुशल रणनीतिकार , संगठन संचालन के खिलाडी माने जाते थे। संगठन संचालन में उनकी कुशलता का उदाहरण पिछले वर्ष नवम्बर में हुए मांधाता विधानसभा उपचुनाव में देखने को मिला जब 2018 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के तत्कालीन विधायक नारायण पटेल ने जुलाई 2020 में पद व कांग्रेस को तिलांजलि देकर भाजपा में प्रवेश किया और मांधाता में उपचुनाव की तैयारी में भाजपा से विधायक की टिकट के अनेक दावेदार थे। लेकिन भाजपा ने नवागत पटेल को अपना उम्मीदवार घोषित कर दिया ऐसे में दावेदारो में कुछ क्षत्रप बेहद मुखर होकर विरोध पर उतरने की तैयारी में थे लेकिन कुशल संगठन संचालक , चाणक्य कहे जानेवाले स्वर्गीय नंदू भईया ने 22 अगस्त 2020 के पुनासा में उपचुनाव की तैयारी के प्रथम कार्यकर्ता सम्मेलन में अपनी चिरपरिचित गुड़ की भाकरी मीठे बोल वाली छवि से टिकट के दावेदार सभी बड़े कार्यकर्ताओ को एक जाजम पर लाकर एक सूत्र में पिरोकर अपनी कुशल नीति का परिचय दिया , उन्ही के नेतृत्व का कमाल रहा कि सभी कार्यकर्ताओ ने उपचुनाव मेंजमकर पसीना बहाया ओर विजयश्री दिलाई।
मिलनसारिता ने बनाया स्व.चौहान को लोकप्रिय
प्रवक्ता सुनील जैन ने बताया कि स्व.चौहान छोटे से छोटे कार्यकर्ताओं को तवज्जों और पूरा मान सम्मान देते थे। जिसका ज्वलंत उदाहरण में स्वयं हूं जब आज से 21 वर्ष पूर्व एक बड़ी बीमारी से संघर्ष कर रहा था और मायानगरी मुंबई में उपचार करवा रहा था। तब मेरे अस्वस्थ होने की जानकारी लगते है सांसद चौहान मुंबई पहुंचे और दो दिनो तक मेरे साथ रहे। वर्गीय चौहान का पूरे क्षेत्र में चाहे पक्ष के हो या विपक्ष के विरोधी नही थे , लम्बी राजनीतिक पारी व संगठन के उच्च पदो पर रहने के बावजूद उनमे अहंकार नही था सदा चेहरे पर मुस्कान , लोकसभा का विस्तृत क्षेत्र होने के बाद भी अधिकांश जमीनी कार्यकतार्ओं व मतदाताओ की व्यक्तिगत पहचान रखने की उनकी शैली के कारण क्षेत्रीय जनता में खासे लोकप्रिय रहे इतना ही नही सत्ता में रहते हुए कभी किसी अदने या आला अधिकारियो पर रोब नही झाड़ा उनकी इसी शैली से प्रशासनिक अमला उनसे खुल कर अपनी बात रख देता था । वे आदर्श कार्यकर्ता होने के साथ-साथ साफ-सुथरी ईमानदार छवि के धनी थे ऐसे विराट व्यक्तित्व का हमारे बीच से चले जाना बेहद दुखद है ।
विकास पुरूष माने जाते थे स्व.चौहान
मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान नंदू भैय्या को बडेÞ भाई के रूप में मानते थे। जब भी नंदू भैय्या ने अपने क्षेत्र के विकास के लिए जो भी मांगा वह दिया,फिर चाहे वह 500 करोड़ का मेडिकल कॉलेज हो या पूरे निमाड़ को हरित करने के लिए अरबों रूपए की उद्वहन सिंचाई योजना हो। केंद्रीय विद्यालय के साथ ही संगीत विद्यालय और तीन पुलिया पर तीन भुजाओं का पुल निर्माण हो उनके कार्यकाल की विशेष उपलब्ध्यिां रही।