16.1 C
Indore
Friday, November 22, 2024

लाकडाउन नहीं अब टीकाकरण जरूरी

कोरोनावायरस की दूसरी लहर ने देश के अनेक राज्यों में होली का रंग फीका कर दिया। सर्वाधिक कोरोना प्रभावित राज्यों की सरकारों ने इस बार होलिका दहन की परंपरा का प्रतीकात्मक रूप से निर्वहन किए जाने के आदेश पहले ही जारी कर दिए थे। धुलेंडी का त्योहार भी लोगों ने घर की चहारदीवारी के अंदर ही मनाया। मध्यप्रदेश में मालवा क्षेत्र की प्रमुख नगरी इंदौर और राजधानी भोपाल में हमेशा धूमधाम से मनाई जाने वाली रंग पंचमी इस बार सार्वजनिक आयोजनों पर प्रतिबंध के कारण अपनी पहले जैसी ‌छटा नहीं बिखेर सकी। महाराष्ट्र , पंजाब, मध्यप्रदेश , राजस्थान, दिल्ली सहित जिन राज्यों में कोरोना के मामले भयावह गति से बढ़ रहे हैं उनके अधिकांश शहरों में अब रात्रिकालीन कर्फ्यू लागू है। इसके अतिरिक्त रविवार को लाक डाउन के आदेश भी जारी किए गए हैं। दुकानें खुले रहने की अवधि भी घटा दी गई है।

अधिकांश कोरोना प्रभावित राज्यों में प्रतिबंधों का दायरा धीरे धीरे बढ़ता जा रहा है। महाराष्ट्र में कोरोना के प्रकोप ने जो हाहाकार की स्थिति निर्मित कर दी है उस पर काबू पाने के लिए सारे हरसंभव उपाय करके हार चुकी महाअघाडी सरकार अब पूरे महाराष्ट्र में संपूर्ण लाक डाउन लागू करने पर गंभीरता से विचार कर रही है। नागपुर में पंद्रह मार्च से एक सप्ताह के लिए लागू लाक डाउन को 31मार्च तक बढ़ाने का राज्य सरकार का फैसला स्थिति की भयावहता को उजागर करता है। गौरतलब है कि इस समय देश में दर्ज कोरोना पीडितों की कुल संख्या के सत्तर फीसदी से अधिक मामले जिन छह राज्यों में सामने आ रहे हैं उनमें महाराष्ट्र सबसे आगे है। देश में एक दिन में कोरोनावायरस से संक्रमित होने वाले लोगों की संख्या 81000 का आंकड़ा पार कर गई है।एक दिन में कोरोना से होने वाली मौतों की संख्या भी पांच सौ के करीब पहुंच चुकी है । अमेरिकी वैज्ञानिकों के एक दल की यह रिपोर्ट भी चिंताजनक है कि कोरोनावायरस का नया रूप बच्चों और युवाओं में अधिक संक्रमण फैला सकता है।

कोरोना संक्रमण की पहले से भी अधिक भयावह रफ्तार को देखते हुए वैज्ञानिक अब यह चेतावनी दे रहे हैं कि‌ देश में कोरोना की दूसरी लहर मई माह के मध्य तक अपने चरम पर होगी। आने वाले दो ढाई महीनों में कोरोना का प्रकोप और भयावह होने की आंशका को देखते हुए कोरोना प्रभावित राज्यों की सरकारें अभी तक लाक डाउन को ही आखिरी कारगर उपाय मानती रही हैं परंतु अब देश में यह बहस भी छिड़ गई है कि क्या कोरोना की दूसरी लहर में भी लाकडाउन को पहले जैसा ही सबसे कारगर उपाय माना जा सकता है। देश के अनेक चिकित्सा विशेषज्ञों ही नहीं बल्कि कुछ राज्य सरकारों की भी इस बारे में अलग अलग राय सामने आ रही है। कुछ राज्य सरकारों का मानना है कि कोरोना के बढ़ते प्रकोप पर काबू पाने के लिए लाक डाउन की अनिवार्यता को नहीं नकारा जा सकता । दूसरी ओर एक मत यह भी है कि लाक डाउन से अब पर्याप्त रूप से संतोष जनक नतीजे नहीं मिल रहे हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डा हर्षवर्धन ने हाल में ही आयोजित एक कान्क्लेव में कहा है कि कोरोना संक्रमण को काबू में करने के लिए कुछ शहरों में लगाए जाने वाले रात्रि कालीन कर्फ्यू और शनिवार व रविवार के लाक डाउन अब ज्यादा असर कारक नहीं रह गए हैं। उनके अनुसार फिजिकल डिस्टेंसिंग और मास्क जैसे उपायों से ही कोरोना संक्रमण को फैलने से रोकने में सहायता मिल सकती है।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री का मानना है कि अधिक से अधिक टीकाकरण से ही कोरोना की दूसरी लहर पर लगाम लगाई जा सकती है इसीलिए अब सरकार टीकाकरण अभियान में और तेजी लाने के लिए आवश्यक कदमों पर विचार कर रही है। दिल्ली प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन भी यही कहते हैं। उन्होंने दिल्ली में कोरोना के बढ़ते मामलों के कारण व्यक्त की जा रही लाक डाउन की संभावना को नकारते हुए कहा कि पिछले लाक डाउन के अनुभव से हम इस नतीजे पर पहुंचे हैं कि लाक डाउन कोरोना का समाधान नहीं है। दिल्ली सरकार कोरोना पर काबू पाने के लिए अब लाक डाउन जैसे किसी कदम पर विचार नहीं कर रही है। दिल्ली सरकार इस बात पर ज़ोर दे रही है कि कोरोनावायरस के संक्रमण का पता लगाने के लिए अधिक से अधिक संख्या में टेस्ट किए जाएं ताकि संक्रमण का पता लगते ही संक्रमितों का तत्काल इलाज किया जा सके। देश के जिन वैज्ञानिकों और चिकित्सा विशेषज्ञों ने एक वर्ष पूर्व कोरोना संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए देशव्यापी लाक डाउन के केंद्र सरकार के फैसले का समर्थन किया था उनमें से डा देवी शेट्टी अब लाक डाउन को कोरोना पर काबू पाने का प्रभावी उपाय नहीं मानते।

देश के प्रसिद्ध कार्डिएक सर्जन और नारायण हेल्थ के संस्थापक डा नारायण शेट्टी भी केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डा हर्षवर्धन की इस राय से सहमत हैं कि कोरोना को नियंत्रित करने के लिए अब लाक डाउन अथवा रात्रिकालीन कर्फ्यू जैसे उपाय कारगर साबित नहीं होंगे। इसके स्थान पर हमें टीकाकरण अभियान में गति लानी होगी। डा शेट्टी कहते हैं कि 20 से 45 आयु वर्ग के लोगों के बीच टीकाकरण अभियान में तेजी लाने से अगले 6 माहों में कोरोना पर काफी हद तक काबू पाया जा सकता है। डा शेट्टी की यह बात निश्चित रूप से गौर करने लायक है कि देश के जिन इलाकों में आबादी का घनत्व ज्यादा है वहां लाक डाउन लगाकर भी बेहतर परिणामों की उम्मीद नहीं की जा सकती।

कोरोना को बढ़ने से रोकने के लिए एक ओर तो लोगों को मास्क पहनने के साथ ही फिजिकल डिस्टेंसिंग जैसे सुरक्षात्मक उपायों के प्रति निरंतर जागरूक करने की आवश्यकता है वहीं दूसरी ओर अधिक से अधिक लोगों का टीकाकरण करने के लिए सघन अभियान अब अपरिहार्य हो गया है। देश में कोरोना संक्रमण की डरावनी रफ्तार पर अंकुश लगाने के लिए अब लोगों को इस सच्चाई का अहसास कराने की आवश्यकता है कि कोरोना संक्रमण के भय को ‌मन से निकालने के लिए उन्हें खुद ही टीका लगवाने के लिए आगे आना होगा।लाकडाउन के फलस्वरूप जिस तरह गत वर्ष आर्थिक गतिविधियां मं‌द पड़ जाने से लाखों लोगों के समक्ष बेरोजगारी का संकट पैदा हो गया था उसे देखते हुए अब कोरोना प्रभावित राज्यों की सरकारें लाक डाउन को अंतिम विकल्प के रूप में देख रही हैं और लाक डाउन अपरिहार्य हो जाने पर भी उसे न्यूनतम क्षेत्र में ही लागू करने का विकल्प चुन रही हैं। इस सीमित लाक डाउन का आर्थिक गतिविधियों पर भी सीमित प्रभाव पड़ेगा।गत वर्ष देश में सख्त लाक डाउन के बाद जब अनलाइक की प्रक्रिया शुरू की गई तो आर्थिक गतिविधियों को पहले की पटरी पर आने में समय लगना स्वाभाविक था ।

अर्थशास्त्रियों का मानना है कि सख्त लाक डाउन के फलस्वरूप आर्थिक गतिविधियों पर जो प्रभाव पड़ा उसके कारण 2020-21में देश की अर्थव्यवस्था को 2019-20की तुलना में करीब सोलह सत्रह लाख करोड़ रुपए का नुक़सान सहना पड़ा। विशेषज्ञों का मत है कि अगर इसमें असंगठित और अन्य क्षेत्रों को हुए नुकसान को भी शामिल कर लिया जाए तो यह नुक़सान साठ लाख करोड़ रुपए तक भी हो सकता है। इसीलिए सरकार हर हालत में लाक डाउन‌ का विकल्प चुनने से परहेज़ कर रही है । देश में कोरोना संक्रमण का ग्राफ पिछले कुछ माहों में लगातार नीचे गिरने से जो अर्थव्यवस्था में बेहतरी की जो उम्मीद नजर आ रही थी उस पर कुछ राज्यों में आई कोरोना की दूसरी लहर ने फिर सवाल खड़े कर दिए हैं। विशेषज्ञों की मानें तो आगे आने वाले समय में मैन्युफैक्चरिंग और इंफ्रास्ट्रक्चर से संबंधित क्षेत्रों और हेल्थकेयर में आर्थिक गतिविधियों में रफ्तार की उम्मीद बनी हुई है परंतु शिक्षा, परिवहन, पर्यटन, सत्कार आदि क्षेत्रों में पहले जैसी स्थिति आने में अभी समय लग सकता है।

हाल में ही नीति आयोग के उपाध्यक्ष राजीव कुमार ने कहा है कि अगर हम अपनी उम्मीद के मुताबिक 2021-22 में जीडीपी की ग्रोथ रेट को 11प्रतिशित तक पहुंचाने में सफल हो जाते हैं तो हम इस वर्ष के अंत तक दिसंबर 2019 के स्तर तक पहुंच सकते हैं परंतु इस रफ्तार से हमें पांच ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था का लक्ष्य अर्जित करने में पांच छः साल लग सकते हैं लेकिन कोरोना की कठिन चुनौती का सामना करते हुए भी भारतीय अर्थव्यवस्था जिस तरह तेजी से अपने अच्छे दिनों की ओर लौटती दिखाई देने लगी है उसने विश्व बैंक को भारत के प्रति अपना नजरिया बदलने के लिए विवश कर दिया है। गौरतलब है कि विश्व बैंक ने जनवरी में यह आशंका जताई थी कि कोरोना संकट के कारण भारतीय अर्थव्यवस्था इतनी लडखडा गई है कि भारत जीडीपी ग्रोथ रेट 5.4प्रतिशत के निचले स्तर तक पहुंच सकती है परंतु विश्व बैंक की ताज़ा रिपोर्ट में 2021-22 में भारत की जीडीपी ग्रोथ रेट 10.1प्रतिशत होने का अनुमान व्यक्त किया गया है।

देश के कुछ राज्यों में कोरोना की दूसरी लहर भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए नई चुनौतियों के संकेत अवश्य दे रही है परंतु लाक डाउन से मिले अनुभवों ने सरकार को बेहतर रणनीति के साथ इन चुनौतियों का सामना करने में सक्षम भी बनाया है। इसमेें कोई संदेह नहीं कि कोरोना की दूसरी लहर का सामना करने के लिए हमारा प्रबंधन पहले से बेहतर है। कोरोना टीकाकरण अभियान में तेजी लाकर अपने लक्ष्य को शीघ्रातिशीघ्र अर्जित करने की पर्याप्त शक्ति भी हमारे अंदर मौजूद है इसीलिए सरकार ने अवकाश के दिनों में भी टीकाकरण अभियान जारी रहने की घोषणा कर दी है। अब देश के हर नागरिक की भी यह जिम्मेदारी बनती है कि वह कोरोना से निरापद होने के लिए स्वयं ही अपने टीकाकरण हेतु आगे आए। कोरोना को हराने का अब यही एक रास्ता बचा है।

:-कृष्णमोहन झा

Related Articles

इंदौर में बसों हुई हाईजैक, हथियारबंद बदमाश शहर में घुमाते रहे बस, जानिए पूरा मामला

इंदौर: मध्यप्रदेश के सबसे साफ शहर इंदौर में बसों को हाईजैक करने का मामला सामने आया है। बदमाशों के पास हथियार भी थे जिनके...

पूर्व MLA के बेटे भाजपा नेता ने ज्वाइन की कांग्रेस, BJP पर लगाया यह आरोप

भोपाल : मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले ग्वालियर में भाजपा को झटका लगा है। अशोकनगर जिले के मुंगावली के भाजपा नेता यादवेंद्र यादव...

वीडियो: गुजरात की तबलीगी जमात के चार लोगों की नर्मदा में डूबने से मौत, 3 के शव बरामद, रेस्क्यू जारी

जानकारी के अनुसार गुजरात के पालनपुर से आए तबलीगी जमात के 11 लोगों में से 4 लोगों की डूबने से मौत हुई है।...

अदाणी मामले पर प्रदर्शन कर रहा विपक्ष,संसद परिसर में धरने पर बैठे राहुल-सोनिया

नई दिल्ली: संसद के बजट सत्र का दूसरा चरण भी पहले की तरह धुलने की कगार पर है। एक तरफ सत्ता पक्ष राहुल गांधी...

शिंदे सरकार को झटका: बॉम्बे हाईकोर्ट ने ‘दखलअंदाजी’ बताकर खारिज किया फैसला

मुंबई :सहकारी बैंक में भर्ती पर शिंदे सरकार को कड़ी फटकार लगी है। बॉम्बे हाईकोर्ट की नागपुर पीठ ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे...

सीएम शिंदे को लिखा पत्र, धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री को लेकर कहा – अंधविश्वास फैलाने वाले व्यक्ति का राज्य में कोई स्थान नहीं

बागेश्वर धाम के कथावाचक पं. धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री का महाराष्ट्र में दो दिवसीय कथा वाचन कार्यक्रम आयोजित होना है, लेकिन इसके पहले ही उनके...

IND vs SL Live Streaming: भारत-श्रीलंका के बीच तीसरा टी20 आज

IND vs SL Live Streaming भारत और श्रीलंका के बीच आज तीन टी20 इंटरनेशनल मैचों की सीरीज का तीसरा व अंतिम मुकाबला खेला जाएगा।...

पिनाराई विजयन सरकार पर फूटा त्रिशूर कैथोलिक चर्च का गुस्सा, कहा- “नए केरल का सपना सिर्फ सपना रह जाएगा”

केरल के कैथोलिक चर्च त्रिशूर सूबा ने केरल सरकार को फटकार लगाते हुए कहा है कि उनके फैसले जनता के लिए सिर्फ मुश्कीलें खड़ी...

अभद्र टिप्पणी पर सिद्धारमैया की सफाई, कहा- ‘मेरा इरादा CM बोम्मई का अपमान करना नहीं था’

Karnataka News कर्नाटक में नेता प्रतिपक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा कि सीएम मुझे तगारू (भेड़) और हुली (बाघ की तरह) कहते हैं...

Stay Connected

5,577FansLike
13,774,980FollowersFollow
136,000SubscribersSubscribe
- Advertisement -

Latest Articles

इंदौर में बसों हुई हाईजैक, हथियारबंद बदमाश शहर में घुमाते रहे बस, जानिए पूरा मामला

इंदौर: मध्यप्रदेश के सबसे साफ शहर इंदौर में बसों को हाईजैक करने का मामला सामने आया है। बदमाशों के पास हथियार भी थे जिनके...

पूर्व MLA के बेटे भाजपा नेता ने ज्वाइन की कांग्रेस, BJP पर लगाया यह आरोप

भोपाल : मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले ग्वालियर में भाजपा को झटका लगा है। अशोकनगर जिले के मुंगावली के भाजपा नेता यादवेंद्र यादव...

वीडियो: गुजरात की तबलीगी जमात के चार लोगों की नर्मदा में डूबने से मौत, 3 के शव बरामद, रेस्क्यू जारी

जानकारी के अनुसार गुजरात के पालनपुर से आए तबलीगी जमात के 11 लोगों में से 4 लोगों की डूबने से मौत हुई है।...

अदाणी मामले पर प्रदर्शन कर रहा विपक्ष,संसद परिसर में धरने पर बैठे राहुल-सोनिया

नई दिल्ली: संसद के बजट सत्र का दूसरा चरण भी पहले की तरह धुलने की कगार पर है। एक तरफ सत्ता पक्ष राहुल गांधी...

शिंदे सरकार को झटका: बॉम्बे हाईकोर्ट ने ‘दखलअंदाजी’ बताकर खारिज किया फैसला

मुंबई :सहकारी बैंक में भर्ती पर शिंदे सरकार को कड़ी फटकार लगी है। बॉम्बे हाईकोर्ट की नागपुर पीठ ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे...