भोपाल : मध्यप्रदेश में डाकघरों से चिट्ठी-पत्री, डाक टिकट बिक्री, बैंकिंग और पासपोर्ट निर्माण के बाद अब आधार कार्ड बनाने एवं अपडेट करने की तैयारी भी है। प्रारंभिक तौर पर आधार की सुविधा एक हजार डाकघरों में रहेगी। 51 जिलों के डाकघरों में बायोमेट्रिक मशीनें खरीदने के लिए हरी-झंडी दे दी गई है। डाक विभाग ने अपने कर्मचारियों को जरूरी प्रशिक्षण भी दिला दिया है। साल के अंत तक नई व्यवस्था शुरू किए जाने के संकेत हैं।
विभागीय सूत्रों का कहना है कि डाकघरों से आधार कार्ड बनाने का निर्णय केन्द्र सरकार ले चुकी है। यह काम अभी निजी एजेंसियों के जरिए हो रहा है, लेकिन देश भर में फैले डाक विभाग के नेटवर्क का उपयोग आधार कार्ड बनाने के लिए शुरू किया जा रहा है।
डाक मुख्यालय ने पहले दिल्ली से ही आधार के लिए जरूरी मशीनें भेजने की योजना बनाई थी, लेकिन यह मामला सिरे नहीं चढ़ पाया। इसलिए मध्यप्रदेश परिमंडल के चीफ पोस्ट मास्टर जनरल आलोक शर्मा को ही बायोमेट्रिक मशीनें एवं अन्य उपकरण जुटाने के लिए अधिकृत किया गया है।
विभाग के डायरेक्टर रामचंद्र जायेभाये का कहना है कि प्रदेश के एक हजार डाकघरों में यह सुविधा शुरू की जाएगी। इनमें से 500 डाकघरों में आधार कार्ड अपडेट करने एवं पांच सौ डाकघरों में नए सिरे से आधार बनाने की सुविधा शुरू की जाएगी। आधार के लिए पंजीयन कराने ‘आईरिश स्कैन” मशीनों को खरीदा जा रहा है। इसके लिए विभाग ने प्रक्रिया शुरू कर दी है।
डायरेक्टर जायेभाये ने बताया कि वर्तमान में यह काम निजी एजेंसियों के जरिए कराया जा रहा है, लेकिन जल्द ही कार्ड निर्माण के लिए आउटसोर्सिंग बंद कर दी जाएगी। केन्द्र सरकार ने अपनी ज्यादातर योजनाओं के लिए आधार कार्ड की अनिवार्यता कर दी है। इसलिए डाकघरों के नेटवर्क का उपयोग इसके लिए शुरू किया जाएगा।