नई दिल्ली : मोदी सरकार के नोटबंदी के फैसले का विरोध लगातार बढ़ता जा रहा है। विपक्षी पार्टियां इस फैसले के खिलाफ संसद में ही धरने पर बैठ गई हैं।
नोटबंदी पर सरकार के फैसले के खिलाफ कांग्रेस समेत प्रमुख विपक्षी पार्टियां लगातार विरोध प्रदर्शन में जुटी हुई हैं। इस बीच संसद परिसर में करीब 200 विपक्षी सांसदों धरना दिया।
विपक्षी सांसद एक सुर में सरकार के फैसले का विरोध कर रहे हैं। संसद परिसर में मौजूद गांधी प्रतिमा के सामने विरोध की तख्तियां बुलंद कर रहे हैं। उनकी बस एक ही मांग है कि नोटबंदी पर सरकार के फैसले की चर्चा होनी चाहिए।
विपक्षी पार्टी के सांसदों का कहना है कि चर्चा के समय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी संसद में मौजूद हों। प्रदर्शन के दौरान विपक्षी पार्टी के सांसदों ने मानव श्रृंखला बनाकर अपना विरोध जताया।
बता दें कि संसद का शीतकालीन सत्र अभी तक हंगामे और विरोध के चलते ठीक ढंग से नहीं चल सका है। संसद में अभी तक एक दिन की भी कार्रवाई ठीक से नहीं चल सकी है।
विपक्ष, सरकार के नोटबंदी के फैसले पर चर्चा चाहता है। लेकिन उसकी मांग है कि इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सदन में मौजूद रहें।
कई ऐसे मौके आए हैं जब विपक्ष ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा। उनका कहना है कि प्रधानमंत्री विभिन्न मोर्चों पर इस मुद्दे पर बोल रहे हैं लेकिन संसद में आने से बच रहे हैं। आखिर वो संसद के सामने नोटबंदी पर चुप्पी क्यों नहीं तोड़ रहे?
प्रदर्शन कर रहे सांसदों ने संसद परिसर में सरकार के खिलाफ मानव श्रृंखला बनाई। उन्होंने संसद में मौजूद गांधी प्रतिमा के समीप प्रदर्शन किया।
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प्रदर्शन के दौरान सीपीआई सांसद डी राजा ने कहा कि हमारी बस एक ही मांग है कि प्रधानमंत्री संसद में आएं और नोटबंदी के फैसले का ऐलान करें।
इससे पहले कांग्रेस पार्टी समेत कई अन्य पार्टियों के सांसदों ने भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को संसद आने की अपील की है।