प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज यानी शनिवार (10 दिसंबर) को गुजरात के दौरे पर गए। उन्होंने वहां अहमदाबाद के बनासकांठा जिले के दीसा में एक दूध सहकारी डेयरी प्लांट का उद्घाटन किया। बनासकांठा के डीसा दूध की खास वेरायटी एटू मिल्क लॉन्च की है। जो कि बाकियों से ज्यादा लाभकारी है। नोटबंदी के बाद गुजरात में पीएम मोदी का यह पहला कार्यक्रम था। रैली की शुरुआत में पीएम मोदी ने मजाकिया लहजे में कहा कि वह गुजराती में नहीं हिंदी में बोलेंगे ताकि देश को पता चल सके कि वहां क्या हो रहा है। उसके बाद मोदी ने बताया कि 25 साल बाद कोई पीएम बनासकांठा आया है। उसके बाद मोदी ने कहा कि वह बनासकांठा में पीएम नहीं धरती की संतान के रूप में आए हैं।
मोदी बोले कि बनासकांठा के किसानों ने प्रगतिशील किसान के रूप में अपनी छवि छोड़ी। मोदी ने कहा कि आलू के कारोबार में बनासकांठा का रिकॉर्ड है जिसे कोई तोड़ नहीं पाया है। मोदी ने कहा कि आने वाले वक्त में बनासकांठा श्वेत क्रांति के साथ-साथ ‘स्वीट क्रांति’ भी करेगा। मोदी ने कहा कि वहां के लोग आने वाले वक्त में चाहें तो शहद के कारोबार को और ज्यादा बढ़ा सकते हैं। मोदी ने यह भी कहा कि वह चाहते हैं कि बनास डेयरी आने वाले वक्त में रेंडी (castor) से ज्यादा पैसा कमाने के बारे में सोचे।
उसके बाद मोदी ने नोटबंदी का जिक्र किया। मोदी ने कहा कि 8 तारीख से पहले बड़े नोटों की ही गिनती होती थी छोटे नोट की तरफ कोई देखता नहीं था लेकिन अब वक्त बदल गया है और अब बड़े नोट को कोई लेना नहीं चाहता। मोदी ने कहा कि छोटे नोटों की कीमत बढ़ाने के लिए उन्होंने नोटबंदी का ऐलान किया है। कांग्रेस पर निशाना साधते हुए पीएम मोदी बोले कि उन्होंने 70 साल तक ईमानदारों को लूटा।
मोदी ने संसद का भी जिक्र किया। मोदी ने कहा कि संसद में विपक्ष के हंगामे की वजह से कार्यवाही नहीं हो पा रही जिसकी वजह से राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी भी परेशान और दुखी हैं। मोदी ने कहा कि उन्हें लोकसभा में बोलने नहीं दिया जा रहा। इसलिए वह जनसभा में बोलते हैं। लेकिन जिस दिन मौका मिलेगा वह जरूर बोलेंगे।
मोदी ने कहा कि जैसे चुनाव के समय सभी पार्टियां लोगों को वोट डालना, ईवीएम का इस्तेमाल सिखाने का काम करती हैं वैसे ही अब सब दलों को मिलकर काम करना चाहिए। मोदी ने कहा कि विपक्ष चाहे तो उनका कितना भी विरोध करे लेकिन लोगों को बैंकिंग सिखाए, इलैक्ट्रोनिक सिस्टम सिखाए।
मोदी ने कहा कि अब कागज के नोटों का भी जमाना खत्म होने वाला है क्योंकि अब मोबाइल ही लोगों का बटुआ बन गया है। इससे पहले मोदी ने बताया कि वक्त-वक्त पर करेंसी में बदलाव होते रहते हैं जैसे पहले चांदी के पहिए जितने बड़े सिक्के चला करते थे।
मीडिया का जिक्र करते हुए मोदी बोले, ‘आप दिखाते हैं कि लोगों को परेशानी है दिखाते रहिए मुझे कोई शिकायत नहीं है लेकिन आप यह सिखाएं कि अब कतार में खड़े होने की जरूरत नहीं है बैंक लोगों के मोबाइल पर है।