बदायूं रोड स्थित निजी अस्पताल के आईसीयू में भर्ती किशोरी ने कंपाउंडर और स्टाफ पर सामूहिक दुष्कर्म करने का आरोप लगाया तो हड़कंप मच गया।
चार दिन पुरानी घटना को किशोरी ने ऑक्सीजन मास्क हटने के बाद अपनी दादी को बताया। इसके बाद शुक्रवार देर रात मामले में रिपोर्ट दर्ज की गई है।
शनिवार को पुलिस ने अस्पताल पहुंच कर कुछ साक्ष्य जुटाए हैं। किशोरी का प्राथमिक तौर पर मेडिकल हुआ है। हालत ठीक न होने के कारण अभी इंटरनल जांच संभव नहीं हो सकी।
भमोरा क्षेत्र की 17 वर्षीय किशोरी को किसी जहरीले कीड़े द्वारा काटे जाने के बाद सोमवार शाम बदायूं रोड स्थित एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। बेहोशी के चलते उसे दूसरी मंजिल पर बने आईसीयू में वेंटिलेटर पर रखा गया था।
शुक्रवार सुबह हालत में सुधार होने पर उसे नीचे जनरल वार्ड में लाया गया। देर रात किशोरी ने दादी को बताया कि कंपाउंडर ने स्टाफ के तीन-चार लड़कों की मदद से इंजेक्शन लगाकर उसके हाथ-पैर बांध दिए और सामूहिक दुष्कर्म किया। मुंह पर ऑक्सीजन मास्क होने से वह चीख नहीं सकी।
सुबह उसके ऊपर केवल चादर ही थी। किशोरी के मुताबिक पिता के आने पर उसने इशारे से आपबीती बताने की कोशिश की लेकिन वह नहीं समझ सके।
बाद में जानकारी होने पर पिता ने पुलिस को सूचना दी थी लेकिन गंभीरता से नहीं लिया गया तो उन्होंने बिथरी विधायक को सूचना दी।
विधायक ने आईजी डीके ठाकुर को फोन किया तो सुभाषनगर पुलिस ने अस्पताल पहुंचकर जांच शुरू की।
वेंटिलेटर इंचार्ज डॉ. हिमांशु ने बताया कि हर की काट के लिए हम एट्रोपिन दवा देते हैं जो काफी तेज होती है। जिससे मरीज अक्सर वहम का शिकार हो जाता है।
उसकी कल्पना में जो भी आता है, उसे वह हकीकत समझ लेता है। किशोरी के साथ भी कुछ ऐसा ही है। उसके साथ कोई घटना नहीं हुई है।
वहीं, सुभाषनगर थाना प्रभारी जगनारायण पांडेय ने बताया कि उस कक्ष में करीब सात मरीज और भर्ती थे। कक्ष में कैमरे भी लगे हैं। किशोरी को यूरिनल पाइप भी लगा हुआ है। ऐसे में घटना होने की बात अजीब है। जांच की जा रही है।