लखनऊ: उत्तर प्रदेश एटीएस ने आतंकी बनने से सात युवकों को बचाया है। एटीएस ने सेल्फ रेडिक्लाइजेशन के आतंकी बनने की राह पर जा रहे सात युवकों को बचाया है। यूपी एटीएस को 125 परिवारों ने फोन किया और बताया कि उनके बेटे को जिहाद और इस्लाम के नाम पर भटकाया जा रहा है। इन परिवारों ने एटीएस से उनके बेटों को जेहादी बनने से रोकने का अनुरोध किया गया।
आईजी एटीएस असीम अरुण ने बताया कि उनके पास करीब 125 परिवारों ने फोन किया कि उनको अंदेशा है कि इस्लाम के नाम पर उनके लड़कों को बरगलाया जा रहा है। जिसके बाद इन लड़कों की काउंसलिंग की गई और इस्लाम का असली मकसद उन्हें समझाया गया।
असीम अरुण के मुताबिक उनके पास मथुरा, अलीगढ़, इलाहाबाद और गोरखपुर से फोन आया था कि इंटरनेट पर उनका बेटा आतंकी साहित्य पढ़ता है। इन परिवारों ने एटीएस के हेल्पलाइन नंबर पर फोन करके अपने बेटों को जिहादी बनने से रोकने की गुहार लगाई थी।
बता दें पिछले दिनों सैफुल्लाह एनकाउंटर के बाद जांच एजेंसीज को पता चला था की आईएस जैसे आतंकी संगठन इंटरनेट के जरिए मुस्लिम युवाओं को गुमराह कर रहे हैं। इसके तहत वे युवाओं से डायरेक्ट संपर्क न कर उन्हें सेल्फ रेडिक्लाइजेशन के जरिए आतंकी बनने की ट्रेनिंग दे रहे हैं।
ये आतंकी संगठन इटरनेट के जरिए इन युवाओं को इस्लाम के बारे में गलत जानकारी देकर बरगलाते हैं। इतना ही नहीं इन्हें बम बनाने जैसी ट्रेनिंग भी दी जाती है। जब ये युवा अपने दम पर किसी बड़ी वारदात को अंजाम देते हैं तो उन्हें ग्रुप में शामिल किया जाता है।