महिला एवं बाल विकास केंद्रीय मंत्री मेनका गांधी ने अपने संसदीय क्षेत्र पीलीभीत में एक बैठक के दौरान कहा कि बिना कपड़े वाला व्यक्ति भी विधायक बनकर एक ही साल में अपने लिए एक बड़ा सा बंगला खड़ा कर लेता है।
टाइम्स ऑफ इंडिया के अनुसार मेनका का कहना है कि विधायक गैरकानूनी तरीके से पैसा कमाने का काम करते हैं जबकि उन्होंने अपने समय में अपना घर तक गवां दिया था।
शुक्रवार को मुंडिया कुंडरी गांव में पब्लिक मीटिंग के दौरान मेनका ने कहा “मेरे पति ने जो मुझे घर दिया था, वह पीलीभीत के लोगों की सेवा करते हुए बिक गया और अब मैं बेघर हूं। घर बेचने के बाद जो पैसा मिला वह मेडिकल ट्रीटमेंट और लोगों के कल्याण के लिए लगा दिया। मैं बस सरकार द्वारा दिए गए घर में रहती हूं क्योंकि मैं एक मंत्री और सांसद हूं।”
मेनका ने कहा “अगर मैं चुनाव हारती हूं तो मैं यह घर भी खो दूंगी।” बहुत ही सख्त लहजे में मेनका ने कहा “बिना कपड़े वाले लोग विधायक बन जाते हैं और चुनाव जीतने के बाद एक ही साल में बड़ा घर बना लेते हैं।”
वहीं मेनका के इस बयान के बाद बीजेपी विधायक भड़क गए हैं और वे केंद्रीय मंत्री के बयान का विरोध कर रहे हैं। मेनका के बयान से लगता है कि वे अपने ही पार्टी के नेताओं पर निशाना साध रही हैं। पीलीभीत जिले की चारों विधानसभा क्षेत्र से बीजेपी के विधायक ही प्रतिनिधित्व करते हैं।
मेनका के बयान पर बात करते हुए बीजेपी जिला अध्यक्ष और विधायक सुरेश गंगवार ने कहा “मेनका गांधी को इस तरह बीजेपी विधायकों को बदनाम करने का कोई हक नहीं है।” वहीं बीजेपी विधायक किशन लाल राजपूत ने कहा “मैं जाहानाबाद स्थित अपने पैतृक घर में रहता हूं और विधानसभा सीट जीतने के बाद मैंने कोई भी आलीशान घर नहीं बनाया है।”
किशन लाल के मुताबिक तीन अन्य विधायकों की बात करें तो सुरेश गंगवार के पास पहले से ही बड़ा घर है, जबकि रामसरन वर्मा और बाबू राम पासवान अपने माता-पिता द्वारा बनाए गए एक साधारण से घर में रहते हैं।
विधायकों के विरोध के बाद रविवार को मेनका के प्रवक्ता मोहम्मद रिज़वान मलिक ने कहा “केंद्रीय मंत्री का बयान किसी भी बीजेपी और अन्य पार्टी के नेता के लिए नहीं था। मेनका केवल भ्रष्ट प्रतिनिधियों का उदाहरण दे रही थीं, जिन्होंने अपने राजनीतिक औदे का गलत इस्तेमाल किया था।