मित्रा का ये बयान इसलिए आया कि क्योंकि बजट के बाद शेयर बाजार में निराशा दिखी और सेंसेक्स लगभग 1000 अंकों की गिरावट के साथ बंद हुआ, जिसके बाद मित्रा ने भारतीय अर्थव्यवस्था अब वेंटिलेटर पर है, उसे सांस लेने में भी दिक्कत हो रही है।’नई दिल्ली: केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को संसद नें आम बजट 2020 पेश किया, इस बजट में मध्यम समेत हर वर्ग के लिए कई खास ऐलान किए गए हैं, जिसकी भाजपा ने जहां तारीफ की है, वहीं दूसरी ओर विरोधीदल इसकी आलोचना कर रहे हैं तो वहीं पश्चिम बंगाल के वित्त मंत्री अमित मित्रा ने बजट को जनविरोधी बताते हुए कहा कि देश की अर्थव्यवस्था पहले ही आईसीयू में थी बजट के बाद वह वेंटिलेटर पर चली गई है।
दरअसल मित्रा का ये बयान इसलिए आया कि क्योंकि बजट के बाद शेयर बाजार में निराशा दिखी और सेंसेक्स लगभग 1000 अंकों की गिरावट के साथ बंद हुआ, जिसके बाद मित्रा ने भारतीय अर्थव्यवस्था अब वेंटिलेटर पर है, उसे सांस लेने में भी दिक्कत हो रही है।’ मित्रा ने स्वास्थ्य और शिक्षा पर बजट आवंटन में कटौती करने की भी कड़ी आलोचना की।
तो वहीं बजट पर कांग्रेस नेता पी चिदंबरम से 1 से 10 तके बीच में नंबर देने के लिए पूछा गया तो उन्होंने कहा कि, इस बजट को लेकर वह वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को 10 में से एक या शून्य नंबर दे सकते हैं। उन्होंने यह दावा भी किया कि बजट से साबित होता है कि केन्द्र की नरेंद्र मोदी सरकार अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने की उम्मीद छोड़ चुकी है।
पी चिदंबरम ने कहा कि, मैंने हाल के वर्षों का सबसे लंबा बजट भाषण देखा, यह 160 मिनट तक चला। मुझे समझ नहीं आया कि बजट 2020-21 से क्या सन्देश देने का इरादा था। उन्होंने कहा, मुझे इस बजट में कोई यादगार विचार या बयान नहीं दिखा।