नई दिल्ली : जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल 370 हटने के बाद आतंकी राजधानी दिल्ली को दहलाने की साजिश रच रहे हैं।
दिल्ली में आज दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने कई जगहों पर छापेमारी की है। ये छापेमारी आतंकी हमले का अलर्ट मिलने के बाद हुई है। सुरक्षा एजेंसियों को जानकारी मिली है कि तीन से चार हथियार बंद आतंकी दिल्ली में घुसने में कामयाब रहे हैं।
बताया जा रहा है कि दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने दिल्ली में 9 खुफिया ठिकानों पर छापेमारी की। छापेमारी में स्पेशल सेल को कुछ खुफिया जानकारी भी मिली हैं।
दिल्ली में घुसे आतंकी जैश-ए-मोहम्मद के बताए जा रहे हैं। छापेमारी कल शाम सीमलमपुर, उत्तर पूर्व, जामिया नगर और पहाड़गंज इलाके में शुरू हुई थी।
खुफिया एजेंसियो ने जानकारी दी है कि कशमीर में बैठा जैश का कमांडर अबू उस्मान ने कशमीर में अपने साथियों से कहा था कि जम्मू और दिल्ली में बड़े धमाके होगें। हमारे साथी वहां पहुंच गए हैं।
बता दें कि दिल्ली को दहलाने की साजिश आईएसआई ने रची है। दिल्ली में घुसे आतंकी फिदायीन हमला भी कर सकते हैं।
एजेंसीज से मिले इनपुट में कहा गया है की आईएसआई आतंकी हमले के लिए फिदायीन हमले में माहिर टेरर ग्रुप्स की मदद ले रहा है। जिसमें अल उमर मुजाहिदीन आतंकी संगठन भी शामिल है।
इस आतंकी संगठन के चीफ मुश्ताक अहमद जरगर ने जून में अनंतनाग में आतंकी हमला कराया था, जिसमें सीआरपीएफ के 5 जवान शहीद हो गए थे।
अलर्ट में कहा गया है की जरगर ने जम्मू और कश्मीर के साथ-साथ पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर से कश्मीरी कैडर की भर्ती की है। साथ ही जैश और लश्करे तैयबा के आतंकी भी भारत मे घुसपैठ कर चुके हैं।
इस खुलासे के बाद दिल्ली पुलिस ने सभी जिलों की पुलिस को अलर्ट रहने को कहा है। साथ ही इलाके के सभी साइबर कैफ़े, पुराने कार डीलर, केमिकल की दुकाने, होटल, गेस्ट हाउस की चेकिंग करने को कहा है।
पुलिस के पास इनपुट है की आईएसआई मानव बम्ब या विस्फोटक से भरे वाहन के जरिये भीड़ भाड़ वाले इलाको में हमला कर सकते हैं या फिर ग्रेनेड फेक सकते हैं।
वहीं, अमेरिका ने भी कहा है कि कश्मीर मुद्दे को लेकर पाकिस्तान के आतंकवादी भारत में हमले कर सकते हैं।
अमेरिका ने कहा कि अगर पाकिस्तान इन आतंकवादी समूहों को काबू में रखे तो इन हमलों को रोका जा सकता है। भारत प्रशांत सुरक्षा मामलों के सहायक रक्षा मंत्री रैंडल श्राइवर ने वाशिंगटन की जनता से कहा कि कश्मीर पर फैसले के बाद कई को डर है कि आतंकवादी समूह सीमा-पार से हमलों को अंजाम दे सकते हैं।
बता दें कि मोदी सरकार ने जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले संविधान के अनुच्छेद 370 और 35ए के अधिकतर प्रावधानों को गत पांच अगस्त को खत्म कर दिया था।