मुंबई : महाराष्ट्र के गृह मंत्री अनिल देशमुख के ऊपर 100 करोड़ रुपये की वसूली के लगे आरोप की अब जांच होगी। मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने इसके खिलाफ जांच के आदेश दे दिए हैं। राज्य के गृह मंत्री अनिल देशमुख ने इस बात की जानकारी दी और बताया कि हाईकोर्ट के रिटायर्ड जज इस मामले की जांच करेंगे।
बता दें कि मुंबई पुलिस के पूर्व आयुक्त परमबीर सिंह ने गृह मंत्री अनिल देशमुख पर 100 करोड़ रुपये की वसूली का आरोप लगाया था। परमबीर सिंह ने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को चिट्ठी लिखकर अनिल देशमुख पर ये गंभीर आरोप लगाए थे, जिसके बाद महाराष्ट्र की राजनीति में भूचाल सा आ गया था।
बता दें कि कुछ दिन पहले ही अनिल देशमुख ने अपने ऊपर लगे आरोपों की जांच के लिए मुख्यमंत्री को चिट्ठी लिखी थी। अनिल देशमुख ने 25 मार्च को मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को चिट्ठी लिखी थी और परमबीर सिंह द्वारा लगाए गए आरोपों की जांच की मांग की थी।
अनिल देशमुख ने मराठी भाषा में मुख्यमंत्री ठाकरे को चिट्ठी लिखी थी और मांग की थी कि वो उनके ऊपर लगे आरोपों की जांच करवाएं ताकि सच सबके सामने बाहर आए। उन्होंने आगे कहा कि अगर मुख्यमंत्री इस मामले की जांच के आदेश देंगे तो मैं इसका स्वागत करूंगा। सत्यमेव जयते।
Maharashtra CM has decided that the allegations levelled against me by former Mumbai Police Commissioner will be probed by a retired high court judge: Maharashtra Home Minister Anil Deshmukh pic.twitter.com/CHys7KV5Ou
— ANI (@ANI) March 28, 2021
इसके अलावा शिवसेना ने अपने मुखपत्र सामना में महाराष्ट्र के गृहमंत्री अनिल देशमुख पर सवाल उठाए। शिवसेना ने कहा गया है कि सचिन वाजे वसूली रहा था और राज्य के गृहमंत्री अनिल देशमुख को इसकी जानकारी नहीं थी? मुखपत्र में आगे लिखा गया है कि देशमुख को गृहमंत्री का पद दुर्घटनावश मिल गया।
सामना में आगे लिखा गया है कि आखिर एपीआई स्तर के अधिकारी सचिन वाजे को इतने अधिकार किसने दिए? यही जांच का विषय है। पुलिस आयुक्त, गृह मंत्री, मंत्रिमंडल के प्रमुख लोगों का दुलारा व विश्वासपात्र रहा सचिन वाजे महज एक सहायक पुलिस निरीक्षक था लेकिन उसे सरकार में असीमित अधिकार किसके आदेश पर दिया गया।