नई दिल्ली – श्रीनगर में बुधवार को हुर्रियत कॉन्फ्रेंस की रैली में पाकिस्तानी झंडे लहराने और अलगाववादी नेता मसरत आलम की अगुआई में पाकिस्तान के समर्थन में नारे लगाने पर केंद्र सरकार ने बेहद सख्त रुख अपनाया है ।
गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने बुधवार देर रात जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद को फोन कर आलम सहित देशविरोधी गतिविधियों में शामिल तत्वों पर कार्रवाई करने को कहा है।
जानकारी के मुताबिक राजनाथ ने मुफ्ती को दो टूक शब्दों में कहा है कि किसी भी देशद्रोही कदम को बर्दाश्त नहीं किया जाए । हालांकि सूत्रों के मुताबिक सीएम मुफ्ती मसरत की गिरफ्तारी नहीं चाहते हैं।
हुर्रियत कॉन्फ्रेंस के कट्टरपंथी धड़े के नेता सैयद अली शाह गिलानी ने 2010 की अशांति के बाद बुधवार को पहली बार जनसभा की थी, जिसमें उनके समर्थकों ने पाकिस्तानी झंडे लहराए थे और पाकिस्तान के समर्थन में नारेबाजी भी की थी।
जम्मू-कश्मीर सरकार में शामिल बीजेपी ने अपनी सहयोगी पीडीपी से बुधवार को ही मसरत आलम जैसे अलगाववादी नेताओं के खिलाफ तुरंत कार्रवाई करने की मांग की थी। पार्टी ने कहा था कि कार्रवाई नहीं करने पर इसके ‘गंभीर परिणाम’ होंगे।
बीजेपी प्रवक्ता जीवीएल नरसिम्हा राव ने कहा, ‘यह अस्वीकार्य है। इस पर नरमी नहीं बरती जानी चाहिए, यह स्पष्ट रुप से पथभ्रष्टता है और हम उम्मीद करते हैं कि पीडीपी कार्रवाई करेगी।’ उन्होंने कहा था, ‘अगर कार्रवाई नहीं की गई.अगर पीडीपी ने बीजेपी और केंद्र के नोट का संज्ञान नहीं लिया तो इसके गंभीर परिणाम होंगे।’
इस मामले में जम्मू कश्मीर के उप मुख्यमंत्री निर्मल कुमार सिंह ने कहा था कि ‘स्थानीय स्थिति’ को देखते हुए उचित समय पर मसरत आलम के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
सिंह ने कहा, ‘कश्मीर में स्थिति पर नजर है। आपको भीड़ देखनी चाहिए। हम लोग उचित कानून के तहत और उचित समय पर र्कारवाई करेंगे…। (एक) एफआईआर दर्ज की गई है और पुलिस उचित समय पर कार्रवाई करेगी।’
आलम की गिरफ्तारी के पर उन्होंने कहा कि (मसरत आलम के खिलाफ) भारत विरोधी टिप्पणियों के लिए एक मामला दर्ज किया जाएगा। उन्होंने बीजेपी-पीडीपी गठबंधन सरकार के दौरान अलगाववादी और कट्टरपंथियों को खुली छूट होने के आरोपों को खारिज किया।
मसरत आलम ने हुर्रियत नेता सैयद अली शाह गिलानी के स्वागत में ‘कश्मीर बनेगा पाकिस्तान, मेरी जान, मेरी जान… पाकिस्तान, पाकिस्तान और हाफिज सईद का क्या पैगाम, कश्मीर बनेगा पाकिस्तान’ जैसे नारों के साथ आतंकीवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के मुखिया हाफिज़ सईद के पक्ष में भी नारे लगाए थे।