कोलकाता: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विश्व भारती विश्वविद्यालय के शताब्दी समारोह में रवींद्र नाथ टैगोर का संबंध गुजरात के साथ बताया, तो पश्चिम बंगाल की सत्तारूढ़ पार्टी टीएमसी भड़क गई। टीएमसी के नेता ब्रात्य बसु ने कहा कि सभी जानते हैं कि टैगोर विश्वकवि हैं तो पीएम मोदी उन्हें एक विशेष प्रदेश से क्यों बांधने की कोशिश कर रहे हैं।
PM claimed ‘visva’ means universal & is trying to apply that in context of acceptance in India. But can he practice this spirit of acceptance? What about cow vigilantees who beat people to death. Can he take responsibility for their actions as he preaches: Bratya Basu, TMC leader pic.twitter.com/vJcrfN8Tjd
— ANI (@ANI) December 24, 2020
बता दें कि पीएम मोदी ने अपने संबोधन में बताया कि गुरुदेव रवींद्र नाथ टैगोर के बड़े भाई सत्येंद्र नाथ टैगोर की नौकरी गुजरात में लगी थी। तब रवींद्र नाथ टैगोर उनसे मिलने अहमदाबाद में आते थे, वहां पर ही उन्होंने अपनी दो कविताओं को लिखा था।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा- गुरुदेव ने हमें स्वदेशी समाज का संकल्प दिया
प्रधानमंत्री ने कहा, गुरुदेव ने हमें स्वदेशी समाज का संकल्प दिया था। वो हमारे गांवों, कृषि को आत्मनिर्भर देखना चाहते थे। वो वाणिज्य, व्यापार, कला, साहित्य को आत्मनिर्भर देखना चाहते थे। उन्होंने कहा, भारत की आत्मा, भारत की आत्मनिर्भरता और भारत का आत्मसम्मान एक दूसरे से जुड़े हुए हैं। भारत के आत्मसम्मान की रक्षा के लिए तो बंगाल की पीढ़ियों ने खुद को खपा दिया था।
गुरुदेव का विजन आत्मनिर्भर भारत का भी सार
पीएम मोदी ने कहा, विश्व भारती के लिए गुरुदेव का विजन आत्मनिर्भर भारत का भी सार है। आत्मनिर्भर भारत अभियान भी विश्व कल्याण के लिए भारत के कल्याण का मार्ग है। ये अभियान, भारत को सशक्त करने का अभियान है, भारत की समृद्धि से विश्व में समृद्धि लाने का अभियान है।