नई दिल्ली- अंडरवर्ल्ड डॉन छोटा राजन के बुधवार को प्रत्यर्पण की संभावना नहीं है क्योंकि इंडोनेशिया ने द्वीप पर स्थित ज्वालामुखी से राख और धुंए का गुबार निकलने की वजह से अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डा बंद रखने की अवधि बढ़ा दी है.
राजन (55) को मंगलवार रात विशेष विमान से भारत लाया जाना था लेकिन ज्वालामुखी में हुए विस्फोट के कारण इसे बुधवार तक के लिए टाल दिया गया था. वह अभी भी डेनपसार में हिरासत में है. निकटवर्ती द्वीप पर एक सक्रिय ज्वालामुखी माउंट रिनजानी से भारी मात्रा में धुंए का गुबार उठने के कारण स्थानीय प्रशासन ने गुराह राइ अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे को मंगलवार रात बंद कर दिया था.
सूत्रों के मुताबिक अगर हालात अनुकूल रहे तो संभावना है कि राजन को गुरुवार को प्रत्यर्पित किया जाएगा. ऑस्ट्रेलिया से यहां आने पर 25 अक्टूबर को छोटा राजन को गिरफ्तार किया गया था. उनके अनुसार, भारतीय एजेंसियां राजन के शीघ्र प्रत्यर्पण की इच्छुक हैं और उन्होंने रविवार को इस बारे में इंडोनेशियाई प्राधिकारियों से अनुरोध किया था. उसे भारत वापस ले जाने से संबंधित सभी औपचारिकताएं पूरी कर ली गयी हैं.भारत में पिछले कई साल से वांछित राजन का वास्तविक नाम राजेन्द्र सदाशिव निखालजे है. ऑस्ट्रेलियाई अधिकारियों से गुप्त सूचना मिलने के बाद उसे गिरफ्तार किया गया था.
रविवार को बाली आयी एक भारतीय पुलिस टीम ने राजन को हिरासत में लेने और उसे भारत ले जाने के लिए सारी औपचारिकताएं पूरी कर ली हैं. हत्या से लेकर रंगदारी, वसूली और तस्करी से लेकर मादक पदार्थों की तस्करी तक कई अपराधों के 75 से ज्यादा मामलों में राजन वांछित है. उसे इंटरपोल की ओर से जारी रेड कॉर्नर नोटिस और ऑस्ट्रेलियाई अधिकारियों की ओर से इंडोनेशिया पुलिस को दी गयी जानकारी के आधार पर बाली में गिरफ्तार किया गया था.
वर्ष 2000 में राजन पर तब जानलेवा हमले की कोशिश हुयी थी जब भारत के मोस्ट वांटेड आतंकवादी दाऊद इब्राहिम के गुर्गों ने बैंकाक के एक होटल में उसे तलाश लिया था लेकिन किसी तरह से वह वहां से निकल भागने में कामयाब रहा था.इंडोनेशिया के साथ प्रत्यर्पण संधि नहीं होने की स्थिति में भारतीय अधिकारियों ने अपने इंडोनेशियाई समकक्षों को अंडरवर्ल्ड डॉन की भारतीय पहचान सुनिश्चित करने संबंधी सभी दस्तावेज सौंप दिए हैं, ताकि उसका प्रत्यर्पण संभव हो सके.