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Saturday, January 11, 2025
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सर्वे : मोदी के विकास में संघ है रोड़ा

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Officers more responsive in Modi govt: TOI survey

नई दिल्ली – ठीक सात महीने और पांच दिन पहले नरेंद्र मोदी ने भारत के 15वें प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली थी। तब वह विकास के नारों पर सवार होकर केंद्र की सत्ता में पहुंचे थे। लोगों ने उनके नारों पर भरोसा किया था, और साफतौर पर यह भरोसा शहरी मध्यम वर्ग में अभी भी कायम है। देश के आठ सबसे बड़े शहरों में अधिकांश लोगों का यह मानना है कि अभी तक मोदी सरकार ने बेहतरीन काम किया है और उनको उम्मीद है कि यह सराकर आगे भी बढ़िया करेगी। यह सारी बातें देश के आठ सबसे बड़े शहरों में कराए गए सर्वे से सामने आई हैं। सर्वे टाइम्स ऑफ इंडिया द्वारा कराया गया है ।

हालांकि लोगों को यह भी शिकायत है कि संघ परिवार पीएम के डिवेलपमेंट अजेंडा की धज्जियां उड़ा रहा है। लोगों के अनुसार सरकार का मुख्य काम विकास ही है। यह सर्वे टाइम्स ऑफ इंडिया के लिए IPSOS ने दिल्ली, मुंबई, कोलकाता, चेन्नै, बेंगलुरु, हैदराबाद, पुणे और अहमदाबाद में किया था। इस सर्वे में हिस्सा लेने वाले 28% लोगों का मानना था कि मोदी सरकार ने अभी तक बहुत अच्छा काम किया है, जबकि 47% लोगों को सराकर का काम बढ़िया लगा। इन दोनों को जोड़ दिया जाए तो तीन-चौथाई लोग सरकार के कामकाज से संतुष्ट दिखे। 21% लोगों ने सरकार के कामकाज को ठीक-ठाक कहा जबकि सिर्फ 4% लोगों का मानना था कि मोदी सरकार का प्रदर्शन बुरा रहा।

इस सर्वे से यह साफ पता चलता है कि लोगों को सरकार से बहुत उम्मीदें हैं। तीन-चौथाई से ज्यादा (78%) लोगों का मानना था कि सरकार पर उनका भरोसा अभी भी उतना ही है जितना इसके बनते समय था। सिर्फ 18% लोगों ने कहा कि सरकार से उनकी उम्मीदों को झटका लगा है। लोगों की उम्मीदों के अनुरूप प्रदर्शन करना मोदी सरकार के लिए सबसे बड़ी चुनौती होगी।

जब लोगों से पूछा गया कि आप डिवेलपमेंट और इकनॉमिक ग्रोथ, हिंदुत्व या फिर दोनों के मिश्रण में से क्या चाहेंगे, तो उनका जवाब बिल्कुल साफ-साफ था। दो-तिहाई से ज्यादा लोगों का मानना था कि सरकार को विकास और अर्थव्यवस्था की तरफ ज्यादा ध्यान देना चाहिए। जबकि सात में से सिर्फ एक (14%) व्यक्ति का कहना था कि सराकार का मुख्य कार्य हिंदुत्व को बढ़ावा देने का होना चाहिए। वहीं 16% लोग चाहते थे कि मोदी सरकार विकास और हिंदुत्व, दोनों पर बराबर ध्यान देती चले।

ऐसा नहीं है कि सर्वे में सब कुछ सरकार के लिए अच्छा ही अच्छा है। यह पूछे जाने पर कि क्या संघ परिवार के नेताओं के भड़काऊ बयान सरकार के विकास के अजेंडे को प्रभावित कर रहे हैं, लगभग दो-तिहाई लोगों (62%) ने इसका जवाब हां में दिया। हालांकि एक-चौथाई लोग इससे असहमत दिखे जबकि 12% किसी भी नतीजे पर पहुंचने में असमर्थ रहे।

यहां यह भी देखने को मिला कि भिन्न शहरों ने एक ही सवाल पर अलग-अलग प्रतिक्रियाएं दीं। चेन्नै, दिल्ली और कोलकाता जहां मोदी सरकार से कम प्रभावित दिखे, वहीं अहमदाबाद और बेंगलुरु के लोग इसके अभी तक के कामकाज से काफी खुश थे। यह भी साफ है कि दिल्ली में आम आदमी पार्टी की मौजूदगी ने लोगों को मोदी सरकार को कसौटी पर थोड़ा बेहतर तरीके से परखने का ऑप्शन दिया, जबकि बाकी शहरों में ऐसी कोई बात नहीं थी।

इस सर्वे में 18 से ऊपर की आयु के लगभग 1,200 लोगों ने भाग लिया। इस सर्वे में यह ध्यान रखा गया कि पुरुषों और स्त्रियों की संख्या बराबर हो, और ऐसा शहरों के चयन में भी किया गया। सर्वे में हिस्सा लेने वाले लोगों को आयु के अनुसार तीन भागों में बांटा गया- 18-29, 30-45 और 45 से अधिक। इस सर्वे में हिस्सा लेने वालों की सामाजिक-आर्थिक स्थिति को भी ध्यान में रखा गया। यह पूरा सर्वे 27 और 28 दिसंबर, 2014 को किया गया था। –सर्वे टाइम्स ऑफ इंडिया

‘पीके’ को लेकर भाजपा,सपा आमने सामने

akhilesh-yadav- bjpलखनऊ – उत्तर प्रदेश में आमिर खान की फिल्म ‘पीके’ को लेकर सत्ताधारी समाजवादी पार्टी (सपा) और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के बीच तकरार बढ़ती जा रही है। उप्र सरकार द्वारा ‘पीके’ को कर मुक्त करते ही भाजपा ने प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के खिलाफ आक्रामक रुख अख्तियार कर लिया है।

भाजपा विधानमंडल दल के उप नेता धर्मपाल सिंह ने कहा कि ‘पीके’ को कर मुक्त करके मुख्यमंत्री ने हिंदू आराध्यों का अपमान किया है। सरकार को इसका खामियाजा भुगतना पड़ेगा। भाजपा इसका सड़क से लेकर सदन तक विरोध करेगी।

एटा में धर्मपाल सिंह ने कहा कि मुख्यमंत्री का पीके को टैक्स फ्री करने का निर्णय अविवेकपूर्ण है। भाजपा इसका विरोध करेगी और सरकार को विधानसभा में जवाब देना होगा। प्रदेश सरकार आजम खां की उंगलियों पर नाच रही है। इसलिए वर्ग विशेष को खुश करने के लिए वह किसी भी हद से गुजरने को तैयार हैं।

उन्होंने सैफई महोत्सव का भी जिक्र करते हुए कहा कि प्रदेश सरकार जनता की गाढ़ी कमाई नाच-गानों पर उड़ा रही है। सरकार को सदन में सैफई महोत्सव पर हो रहे खर्च का हिसाब देना होगा।

इधर पीके को लेकर प्रदेश में विरोध प्रदर्शन का सिलसिला जारी है। हिंदू महासभा और हिंदू युवा वाहिनी ने गुरुवार को एटा में जमकर बवाल किया। यहां के एक सिनेमाघर में प्रदर्शनकारियों ने जमकर तोड़-फोड़ की। पोस्टरों पर कालिख पोती और तमाम पोस्टर फाड़कर जला दिए।

हिंदू युवा वाहिनी और हिंदू महासभा कार्यकर्ताओं के साथ प्रदर्शनकारियों ने शहर में कई जगह हंगामा किया, कहीं होर्डिग तोड़ दिए तो कहीं पोस्टरों पर कालिख पोत दी।

:-एजेंसी /ब्यूरो

टोपी पहने व्यक्ति को आतंकवादी बताया ,बवाल

gujarat-नई दिल्ली – आतंकी गतिविध‌ियों से निपटने के लिए गुजरात पुलिस की ओर से अयोजित मॉक ड्रिल विवादों में घिर गई है। मॉक ड्रिल के दौरान टोपी पहने एक व्यक्ति को आतंकवादी की भूमिका में दिखाया गया है जिसे लेकर गुजरात पुलिस के खिलाफ लोग विरोध पर उतर आए हैं।

आईबीएन की रिपोर्ट के अनुसार, बुधवार को गुजरात पुलिस ने एक मॉक ड्रिल आयोजित किया था। इस मॉक ड्रिल में दिखाया गया था कि अगर कोई आतंकवादी हमला होता है तो उसे कैसे निपटा जाए और आतंकवादियों के किस तरह से पकड़ा जा सकता है।

‌इस ड्रिल की खास बात और विवादों का कारण यह है कि ड्रिल में जिस व्यक्ति ने आतंकवादी का रोल किया वह सफेद टोपी पहन रखी थी जो एक मजहब विशेष का पहचान बताती है।

इतना ही नहीं टोपी पहने जिस व्यक्ति को पुलिस आतंकी की तरह पकड़ती है उसे बाद में पुलिस की गाड़ी में बिठाकर ले जाती है।

गुजरात पुलिस की इस कथित भेदभावपूर्ण ड्रिल पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी विरोधी दलों के निशाने पर आ गए हैं। जेडीयू नेता अली अनवर ने कहा प्रधानमंत्री मोदी अभी तक गुजरात के मुख्यमंत्री थे लेकिन उन्हें गुजरात में भी इस तरह की घटनाएं देखने को मिल रही हैं।

कांग्रेस ने भी सूरत पुलिस की इस ड्रिल की निंदा करते हुए कहा कि आतंकवाद को किसी धर्म, संप्रदाय से जोड़कर नहीं देखा जाना चाहिए। और इस तरह के बातें सामने आना दुर्भाग्यपूर्ण हैं। रा‌शिद अल्‍वी ने कहा कि किसी भी धर्म को आतंकवाद से जोड़ने पर आतंकवाद को और बढ़ावा मिलेगा।

जबकि सूरत पुलिस की ओर दी गई सफाई में कहा गया है कि इस ड्रिल का मतलब कसी धर्म को ठेस पहुंचाना नहीं था। पुलिस का कहना था कि उन्होंने ड्रिल में टोपी पहने व्यक्ति को इसलिए दिखाया गया है क्योंकि यहां अल्पसंख्यक समुदाय के लोग एक बड़ी संख्या में रहते हैं और यहां पर रहने वाले लोगों को ड्रिल से खुद को जुड़ा महसूस करें इस‌लिए ऐसा ‌किया गया है।

:- TNN

कांग्रेस नेता रियाज हुसैन पर हमला, इंदौर रैफर

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खंडवा [TNN ] कांग्रेसी नेता रियाज हुसैन पर आज दोपहर में करीब 2.00 बजे लालचौकी स्थित रेलवे फाटक के पास दो बाइक सवार युवकों ने अचानक हमला कर दिया। जिससे वे गंभीर रूप से घायल हो गए. उन्हें जिला अस्पताल के आईसीयू में भर्ती कराया गया। प्राथमिक उपचार के  बाद  कांग्रेस नेता रियाज हुसैन को शाम करीब 4.30 बजे इंदौर रैफर कर दिया गया।

जैसे ही लोगों को इस घटना की जानकारी लगी जिला अस्पताल में उनके समर्थक और कांग्रेसियों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी। अभी यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि हमलावर कौन थे और किन कारणों से उन पर हमला किया गया है। मामला थाना मोघट का है। 

जानकारी अनुसार आज दोपहर में  रियाज हुसैन पर लालचौकी क्षेत्र में दो बाइक सवारों ने  जानलेवा हमला कर दिया था ।  पुलिस अभी भी इस घटना क्रम पर सपष्ट राय नहीं दे पायी है। एएसपी गोपाल खाण्डेल ने बताया कि रियाज़ हुसैन के हार्ट में तकलीफ की वजह से उन्हें इंदौर रैफर किया गया है। वे पुरे मामले पर नजर बनाये हुये है और शीघ्र ही पटाक्षेप कर देंगे।
 
उन्होंने नागरिकों से सयंम बरतने की अपील की है । हालांकि अस्पताल में चिकित्सक अभी इस बात की पुष्टि नहीं कर रहे हैं कि रियाज को गोली मारी गई या अन्य किसी हथियार से उन पर हमला किया गया।  रियाज अल्पसंख्यक वर्ग के प्रमुख नेताओं में गिने जाते हैं।
 
 इस घटना से शहर में सनसनी फैल गई। वहीं अस्पताल में लोगों की भारी भीड़ लग गई थी। घटना के बाद खंडवा के बाजार कुछ समय के लिए बंद हो गए थे बाद में स्थिति सामान्य हो गई। वहीं अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक और एसडीएम भी अस्पताल पहुंच गए हैं। खबर लिखे जाने तक हमलावरों की पुष्टि होने की कोई खबर नहीं है।

हजरत शाह नोमान शाह चिश्ती 555 वां उर्स मुबारक

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खंडवा [ TNN ] हर साल की तरह इस साल भी बड़े ही एहतराम और अकीदतमन्दी के साथ असीरगढ़ स्थित हजरत ख्वाजा शाह नोमान  शाह चिश्ती शीराजी रे.अ. का सालाना 555 वां उर्स मुबारक 23 दिसंबर बरोज मंगलवार को मनाया जायेगा।

जिसमें सुबह 8.00 बजे कुरआन ख्वानी, 9.30 बजे से मेहफिले समां, दोपहर 12.30 बजे तकसीमें चिश्तिया लंगर व शाम को संदल शरीफ एवं लंगर रात 9.00 बजे कव्वाली का शानदार प्रोग्राम रखा गया है।

मो. अखलाक चिश्ती अशरफी (लाला भाई) सेकेट्री हजरत शाह नोमान शाह सोश्यल वेलफेयर सोसायटी खंडवा ने अहर्ल खैर हजरात से ज्यादा से ज्यादा तादाद में शामिल होकर इस उर्स मुबारक को कामयाब बनाने की अपील की है। 

बुराईयों को समाप्त करने में महिलायें सक्षम

Women Conferenceमाउंट आबू [ TNN ] महिलायें अबला नहीं सबला है। परिवार से लेकर कार्यक्षेत्र में पुरूषों से कंधा से कंधा मिलाकर आज नारी ने सिद्ध कर दिया है कि वह हर मोर्चे पर सफल और शक्तिशाली है। समाज में कितनी भी बुराईयां क्यों ना हो जाये परन्तु महिलायें उस बुराईयों को समाप्त करने में सक्षम है। इसके लिए पहल करने की आवश्यकता है। उक्त उदगार इंडो यूरोपियन चैम्बर ऑफ कॉमर्स एण्ड इंडस्ट्रीज की अध्यक्ष अनुराधा सिंघई ने व्यक्त किये। ब्रह्माकुमारीज संस्था के शांतिवन में महिलाओं केलिए आयोजित राष्ट्रीय सम्मेलन में सम्बोधित कर रही थी।

उन्होंने कहा कि आज निर्भया जैसी घटनायें आये दिन सुनने को मिल रही है। हमें इस बुराई को, आसुरी प्रवृत्तियों को जड़ से उखाड़ फेंकने का शंखनाद करना चाहिए। हमें तो गर्व हो रहा है कि वर्तमान समय में हम ऐसी जगह सम्मेलन में आये हैं जिसका संचालन एवं आयोजक महिलाओं के द्वारा किया जा रहा है। ये महिलाये बुराईयों को समाप्त करने और अच्छाईयों को जीवन में उतारने की शिक्षा दे रही है। पिछले 78 वर्षों में लाखों लोगों की जिन्दगी बदली है।

उन्होंने पाश्चात्य संस्कृति से दूर रहने तथा इलेक्ट्रॉनिक मीडिया को भी महिलाओं के प्रतिबंधित तस्वीर और विज्ञापन से बचने की सलाह दी। नारी की दुर्दशा के जिम्मेवार हैं आज का बाजारवाद है। यदि हम अपने परिवार में बच्चों को जन्म से ही नारी का सम्मान करने की शिक्षा और संस्कार देंगे तो उससे एक संस्कारवान समाज का निर्माण होगा।

संस्था की संयुक्त मुख्य प्रशासिका दादी रतनमोहिनी ने कहा कि भारत देश में नारियों को जो सम्मान दिया जाता है वह किसी अन्य देश में नहीं दिया जाता है। भारत में नारी की भूमिका को देवी के समतुल्य माना गया है। लेकिन कलियुग का युग होने के कारण नारी की पहचान धूमिल होती जा रही है। अब पुन: परमात्मा इस धरा पर आकर नारी के द्वारा सृष्टि के परिवर्तन का कार्य कर हैं।

राष्ट्रीय महिला आयोग, नेपाल की सदस्या मोनू हूमागेन ने कहा कि आज नारी को जितने अधिकार दिए गए हैं उसका अगर सही उपयोग किया जाए तो नारी को पुन: पुज्यनीय स्वरूप प्राप्त हो जाएगा। हमें अधिकारों और कत्र्तव्यों का उपयोग संस्कृति के दायरे में रहकर ही करना चाहिए।

दिल्ली सरकार की शिक्षा अधिकारी सुनीता बत्रा ने कहा कि यह युग ही परिवर्तन का युग चल रहा है। एक नारी होने के कारण हमारा यह कत्र्तव्य बनता है कि हम जो व्यवहार अपने परिवार में करते हैं वहीं व्यवहार हमें समाज के हर व्यक्ति के साथ करना चाहिए। सर्वोच्च न्यायालय की वकील मीना सक्सेना ने कहा कि शांति, प्यार और सरलता से जो कार्य किया जा सकता है वह कानून बनाकर नहीं किया जा सकता है।

इस कार्यक्रम का रशिया में सेवाकेंद्रों की संचालिका एवं महिला प्रभाग की अध्यक्षा बीके चक्रधारी, अहमदाबाद की राजयोग शिक्षिका बीके शारदा, दिल्ली की राजयोग की शिक्षिका बीके रानी सहित अनेक विशिष्ट अतिथियों ने संबोधित किया और नारी के प्रति हो रहे हिंसा के प्रति चिंता प्रकट की। कार्यक्रम का उद्घाटन अतिथियों के द्वारा दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया। इस अवसर पर मुम्बई की कलाकारों के द्वारा स्वागत नृत्य प्रस्तुत किया गया।

सनी लियोन के साथ ये क्या हुआ

Sunny Leone

 इन दिनों बॉलीवुड एक्ट्रैस के साथ छेड़छाड़ के मामले सामने आ रहे हैं। कुछ दिन पहले गौहर खान के साथ एक दर्शक ने छेड़छाड़ की अब यह अदाकारा सनी लियोन के साथ भी वैसा ही कुछ हुआ।

सनी अपनी आने वाली फिल्म ‘लीला’ के सेट पर थी। तभी अचानक एक आदमी वहां पहुंचा और सनी के साथ बदतमीजी करने लगा। वह व्यक्ति सनी से उल्टी-सीधी बातें करने लगा।

उसी वक्त सेट पर दूसरी तरफ मौजूद उनके को-स्टार मोहित अहलावत ने उस व्यक्ति के इस हरकत को देख लिया। मोहित उसकी इस हरकत से गुस्से में आ गए और अगर अफवाहों पर विश्वास किया जाए तो उन्होनें उस व्यक्ति को कसकर एक चांटा जड़ दिया।

सनी जो कि उस वक्त सदमें थी यह तय नहीं कर पा रही थी कि इस हादसे पर कैसे रिएक्ट किया जाए। वह इस हादसे के बाद बेहद ही सदमें में थी और सेट पर से अपने वैनिटी वैन में चली गईं, जिसके बाद वह बहुत देर तक सेट पर नहीं आई।

भगवान ने मुझे सेक्सी होने की सजा दी : किम

Kim-Kardashianरिएलिटी टीवी स्टार किम कर्दाशियां गर्भावस्था के दौरान बढ़े वजन के लिए ऊपर वाले को दोषी बताती हैं. 34 वर्षीया किम ने पिछले साल जून में एक बेटी को जन्म दिया था, जिसका नाम नॉर्थ वेस्ट है. गर्भावस्था के दौरान किम का वजन बढ़ गया था और बच्चे के जन्म के बाद उन्हें अपनी पहले वाली काया वापस पाने के लिए जी-तोड़ मेहनत करनी पड़ी.

वेबसाइट ‘मिरर डॉट को डॉट यूके’ के अनुसार पत्रिका ‘एली’ के ब्रिटिश संस्करण के लिए दिए गए साक्षात्कार में किम ने अपनी पहले वाली छरहरी काया के बारे में बात की और कहा कि ऊपर वाले उन्हें सेक्सी होने की सजा दे रहे हैं.

किम ने कहा, “मुझे लगता है कि भगवान जानबूझ कर मेरे साथ ऐसा कर रहे हैं कि ‘किम तुम्हें क्या लगता है कि तुम बहुत सेक्सी हो, अब देखो मैं तुम्हारे साथ क्या करता हूं.’ मेरी काया का क्या हाल हुआ है…मैंने तो कसम खा ली है कि दोबारा गर्भवती नहीं होना है.”

अफरीदी ने एक ही मैच में बनाए तीन रिकॉर्ड

Shahid-afridiशारजाह [ TNN] एडिलेड में एक ओर भारतीय टीम के कप्तान विराट कोहली टेस्ट में पुराने कीर्तिमान ध्वस्त कर रहे हैं वहीं शारजाह में पाकिस्तान के शाहिद अफरीदी वनडे में नए रिकॉर्ड गढ़ रहे हैं। न्यूजीलैण्ड के खिलाफ पांच वनडे मैचों की श्रंखला के दूसरे वनडे में अफरीदी ने तीन कारनामे कर डाले और तीनों में 100 की भूमिका है।

छक्कों और विकेटों का शतक दूसरे वनडे में अफरीदी ने तीन छक्के लगाए और इसी के साथ संयुक्त अरब अमीरात में उनके नाम सौ छक्के हो गए। वनडे में सबसे ज्यादा छक्के उड़ाने का रिकॉर्ड भी उन्हीं के नाम है। अफरीदी ने एकदिवसीय क्रिकेट में 337 छक्के लगाए हैं यानि कि इनमें से 100 छक्के यूएई में लगे हैं। न्यूजीलैण्ड के विकेटकीपर ल्यूक रोंची को आउट करते ही अफरीदी ने यूएई में विकेट लेने का सैंकड़ा पूरा कर लिया। यूएई में विकेट लेने का शतक बनाने वाले वे तीसरे गेंदबाज है। उनसे पहले वकार यूनिस और वसीम अकरम भी यूएई में 100 से ज्यादा विकेट ले चुके हैं।

क्लीन बोल्ड का शतक अफरीदी ने इस मैच में तीसरा रिकॉर्ड बनाया बोल्ड के जरिए। वनडे में अफरीदी ने 100 विकेट बोल्ड के जरिए लिए हैं। इससे पहले टी20 में भी उनके नाम सर्वाधिक बोल्ड करने का रिकॉर्ड है। अफरीदी के वनडे में 386 विकेट हैं।

लाखों का पैकेज छोड़कर धारी है दीक्षा :विशुद्धसागर

Sidhwarkut Mahotsav News

विशुद्धसागरजी के संघ में युवा मुनियों में सीए, एमबीए, एलएलबी डिग्रीधारी है मुनि
खण्डवा [ TNN ] सर्वतोभद्र सिद्धवरकूट महामहोत्सव 14-15 दिसम्बर में अपना सान्निध्य प्रदान कर रहे गणाचार्य विरागसागरजी महाराज के परम शिष्य आध्यात्म योगी, चर्या शिरोमणि श्रमणाचार्य विशुद्धसागर जी महाराज के संघस्थ मुनिराजों में अधिकांश मुनि मध्यप्रदेश के है। छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र, उत्तरप्रदेश के उच्च शिक्षित युवाओं ने लाखों के पैकेज छोड़कर दिगम्बर बाना धारण किया है।

महामहोत्सव के प्रचार संयोजक राजेन्द्र जैन महावीर, सुनील जैन, प्रेमांशु चौधरी ने बताया कि दिगम्बर होना तलवार की धार पर चलने के समान है। श्रमणाचार्य विशुद्धसागर जी जो म.प्र. के भिण्ड जिले के रुर ग्राम के निवासी है, मात्र 17 वर्ष की उम्र में घर छोड़ दिया था। 20 वर्ष की उम्र में दिगम्बर दीक्षा धारण की थी। अपनी प्रतिभा संपन्न तीक्ष्ण बुद्धि के कारण अपने गुरु के प्रिय बने और 16 वर्ष तक मुनि रहने के दौरान गहन अध्ययन किया। 2007 में उन्हें श्रमण अवस्था का आचार्य पद प्राप्त हुआ।

पचास से अधिक पुस्तकों का सृजन कर चुके विशुद्धसागर जी हिन्दी, संस्कृत, प्राकृत, अपभ्रस, अंग्रेजी, मराठी भाषाओं के जानकार है। आपके सिद्धहस्तों से 19 युवा दिगम्बर दीक्षा व 4 क्षुल्लक दीक्षाएं संपन्न हुई है। संघस्थ मुनियों में सुप्रभसागरजी महाराष्ट्र के है वे सीए की डिग्री धारण कर अपना पैकेज छोड़ दिगम्बर हो गए। प्रत्यक्ष सागरजी बीई, बीए, एलएलबी डिग्रीधारी है।

प्रणेय सागरजी बीई, एमबीए है। अप्रमितसागर जी एमएससी (आईटी) है। आदित्यसागर जी एमबीए है। प्रणीतसागर जी एमकाम, एमबीए है। मनोज्ञसागरजी एमए, बीएड, आयुर्वेद रत्न है। आस्तिक्यसागर जी बी.फार्मा है। इसी तरह मुनिश्री विश्ववीर सागरजी, प्रमेयसागरजी, प्रषमसागरजी, सुव्रतसागरजी, सुयशसागरजी, अनुत्तरसागरजी, अनुपम सागरजी, अरिजितसागरजी, आराध्यसागरजी, प्रणुतसागरजी महाराज है जो बीए, एमए, एमएससी, स्नातक, स्नातकोत्तर डिग्री धारण किए हुए है। साथ ही अंग्रेजी, संस्कृत, प्राकृत, बंगाली, न्याय विद्या, कन्नड़ भाषा के जानकार व काव्य प्रतिभा व प्रवचनों के विशेषज्ञ है।

अपना सब कुछ छोड़ ये दिगम्बर संत चौबीस घण्टे में एक बार आहार-पानी ग्रहण करते है। दिगम्बर रहकर पैदल यात्रा करते है। भीषण ठण्ड में भी लकड़ी के पटिये पर ही सोते है। रजाई-गादी-तकिये सहित सारी सुख-सुविधाओं का इनका त्याग होता है। उच्च शिक्षित युवा संत अपनी आत्मा की खोज में दिन-रात आध्यात्मिक चर्चा में ही अपना समय देते है। उल्लेखनीय है कि सिद्धवरकूट कमेटी के आग्रह पर समस्त संत तीन दिन में 100 किमी का घने जंगल में पगडंडी विहार कर सिद्धवरकूट में 13 दिसम्बर को सायं 4 बजे प्रवेश कर रहे है। संपूर्ण निमाड़ में युवा दिगम्बर संतों के दर्शन व सिद्धवरकूट महामहोत्सव के प्रति अपूर्व उत्साह व्याप्त है।

पैदल पगडंडी विहार में निमाड़ के अनेकों श्रावक चल रहे है। भोपाल, छिंदवाड़ा, इन्दौर, दिल्ली से भी श्रद्धालु जंगल में अपनी राते व्यतीत कर आचार्य संघ का सान्निध्य प्राप्त कर रहे है। महोत्सव के मुख्य संयोजक आशीष चौधरी, समन्वयक ट्रस्टी अमित कासलीवाल, कमेटी अध्यक्ष प्रदीप कासलीवाल, वर्किंग ट्रस्टी बाबूलाल जैन, महामंत्री विजय काला, आचार्य संघ विहार व्यवस्था के मुख्य संयोजक मुकेश जैन ‘पेप्सी सहित पदाधिकारियों ने पधारकर पुण्यार्जन करने की अपील की है।

विदेश से ज्यादा भारत में कालाधन : एसआईटी

BlackMoney-in-swissनई दिल्ली [ TNN ] कालेधन पर गठित विशेष जांच दल (एसआईटी) को अब तक खंगाले गए 339 स्विस बैंक खातों मे 4,479 करोड़ रूपए के कालेधन का पता चला है। एसआइटी को घरेलू खातों की जांच में 14,958 करोड़ रूपए कालेधन का पता चला है। केंद्र सरकार ने शुक्रवार को एसआईटी रिपोर्ट के एक हिस्से का खुलासा किया है। सरकार के मुताबिक इन 628 लोगों में से 201 या तो अप्रवासी भारतीय हैं या उन्हें खोज पाना संभव नहीं है। बाकी 427 लोगों को कार्रवाई के लायक माना गया है। इनके खाते में 4,479 करोड़ रूपए मिले हैं। आयकर विभाग ने 79 इकाइयों से जुड़े 339 मामलों की छानबीन करने का फैसला किया है। इन खातों में पड़ी अघोषित रकम में से 2,926 क रोड़ रूपए को कर के दायरे में लाया गया है। 289 खाते खाली एसआईटी को फ्रांस सरकार से हासिल सूची में से एचएसबीसी की जिनेवा शाखा के 628 खातों में से 289 खाते खाली मिले हैं। एसआईटी की सिफारिशें – उन लोगों की घरेलू संपत्तियों को कुर्क किया जाए, जो विदेश में गैर कानूनी संपत्ति रखते हैं। – 50 लाख रूपए से ज्यादा की कर वंचना को गंभीर अपराध घोषित किया जाए, ताकि ऎसा करने वालों पर मनी लॉंड्रिंग रोकथाम कानून के तहत कार्रवाई की जा सके। – नकद भंडारण और उसके लेन-देन की अधिकतम सीमा 10-15 लाख रूपए तय की दी जाए। इससे ज्यादा नकदी रखने वालों पर कानूनी कार्रवाई की जाए।  

IS का टि्वटर चलाने वाला गिरफ्तार,आरोपों से इंकार

is-twitterबेंगलूरू [ TNN ] कर्नाटक की बेंगलूरू पुलिस ने खूंखार आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट का बेंगलूरू से टि्वटर एकाउंट चलाने वाले मेहदी मसरूर विस्वास को शनिवार को घर से गिरफ्तार कर लिया। पुलिस की अपराध शाखा ने 26 वर्षीय मेहदी को तड़के मतिकेरे-जलाहली के नजदीक उसके घर से गिरफ्तार कर लिया। उसे सूचना प्रौद्योगिकी कानून की धारा 66-ए और भारतीय दंड संहिता की धारा-125 के तहत गिरफ्तार किया गया है। पुलिस अभी मेहदी से पूछताछ करेगी। पुलिस के साथ ही एनआईए और अन्य सुरक्षा एजें सी भी उससे पूछताछ में करेगी। पुलिस इस मामले में शनिवार दोपहर को प्रेस कॉन्फ्रेंस करके पूरी जानकारी देगी।

वहीं दूसरी ओर मेहदी ने अपने ऊपर लगे आरोपों से इनकार किया है। उसने कहा कि मेरा आतंकी संगठन से कोई संबंध नहीं है। मेरा अकाउंट हैक हो गया था। उसके एक अखबार से बात करते हुए यह बात कही।24 वर्षीय मेहदी मसरूर बिश्वास नामक इस युवक के बारे में ब्रिटेन के एक चैनल ने खबर चलाई थी कि बेंगलूरू से एक भारतीय आईएसआईएस का एक महत्वपूर्ण टि्वटर अकाउंट चलाता है। उसके बाद देश के खुफिया और सुरक्षा एजेंसियां सक्रिय हो गई हो गई थी।

मेहदी ने एक विदेशी चैनल से बात करते हुए कहा,”मैंने भारत के खिलाफ कोई युद्ध नहीं छेड़ा था और मुझे तुरंत गिरफ्तारी का डर है। मुझे शक है कि जब पुलिस वाले मुझे गिरफ्तार करने आएंगे तो वे मुझे मारने की कोशिश करेंगे। मैं स्पष्ट तौर पर कहता हूं कि मैं गिरफ्तारी का विरोध नहीं करूंगा। मैंने कुछ गलत नहीं किया है। मैंने किसी को नुक सान नहीं पहुंचाया है। मैंने भारत के खिलाफ किसी तरह का युद्ध नहीं छेड़ा, न ही कोई हिंसा की है। मैंने कुछ कहा और लोगों ने मुझे फोलो करना शुरू कर दिया। मैं केवल इतना जानता हूं कि आईएस से सहानुभूति रखने वाले लोग सार्वजनिक ट्वीट्स में क्या कहते हैं। -एजेंसी 

अरबों रुपए का फर्जी भूमि आबंटन घोटाला

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करनाल [ TNN ] अरबों रुपए के फर्जी भूमि आबंटन घोटाले के तौर पर घिरे एच.सी.एस अधिकारी गिरीश अरोड़ा (ए.डी.सी करनाल) और कुलधीर सिंह, दो ऐसे अधिकारी है, जो भू-माफिया के लिए सरंक्षक साबित होते रहे। इस मामले में अब सभी तथ्य पुलिस तफतीश में मुखर होकर सतह पर आ गए हैं। करनाल में उपमंडल अधिकारी (नागरिक) एवं अलाटमैंट के तौर पर तैनात रहते इन अधिकारियों ने अपने कार्यकाल के दौरान तब कानून से खिलवाड़ जारी रखा, जब मुख्यमंत्री उडनदस्ता सैंकड़ों एकड़ सरप्लस कृषि भूमि के फर्जी आबंटन घोटाले की जांच में मशगूल था।

अग्रेरियन अथोरिटी का पूरा अमला इस जांच से वाकिफ होने के बावजूद मनमानी पर उतारू रहा। दूसरी ओर जिला पुलिस अधीक्षक अभिषेक गर्ग द्वारा नवगठित स्पेशल पुलिस टीम ने पूरे घोटाले पर अपनी कार्रवाई तेज कर दी है। इस विशेष पुलिस टीम का नेतृत्व डी.एस.पी इंद्री कर रहेे हैं। टीम ने आज डेरे पर जाकर मौका मुआयना भी किया। यहां यह उल्लेखनीय है कि करनाल में अपने कार्यकाल के दौरान उपरोक्त अधिकारियों गिरीश अरोड़ा और कुलधीर सिंह ने घोटाले के प्रति कतई सजगता और गंभीरता नहीं बरती। इन अधिकारियों ने अपने पूर्ववर्ती अधिकारी भूपेन्द्र सिंह के आदेशों तक को मनमाने तरीकों से औंधेमुंह दे मारा। सूत्रों के अनुसार भूपेन्द्र सिंह ने उक्त घोटाले को रोकने के लिए निगदू-पस्ताना स्थित धार्मिक डेरे की सरप्लस घोषित सैंकड़ों एकड़ बेशकीमती जमीन की खरीद-फरोख्त पर रोक आदेश जारी कर रखा था ताकि भू-माफिया अपना नंगा-नाच जारी न रख सके। हालांकि इस दौरान फर्जी आबंटन घोटाले की मुख्यमंत्री उडनदस्ते द्वारा उच्च स्तरीय जांच जारी थी।

यहां यह गौरतलब है कि एच.सी.एच अधिकारी कुलधीर सिंह शिक्षक भर्ती घोटाले में दोषी के तौर पर सजायाफ्ता इनैलो नेता शेर सिंह बड़शामी के पुत्र हैं। इन्हीं नेता पुत्र अधिकारी ने करनाल में अपनी तैनाती के दौरान बेहद अतार्किक तरीके से घोटाले में संलिप्त भू-माफिया को क्लीन चिट दे डाली थी। साथ ही फर्जी भूमि आबंटन घोटाले को यह कहते हुए अपनी कलम से कानूनी मान्यता प्रदान कर दी कि यह मामला दस साल पुराना हो चुका है, जो कि भू-माफिया को बचाने के लिए खुद में हैरतंगेज तर्क था। विश्वस्त खोजी सूत्रों के मुताबिक कुलधीर सिंह के गुमराहपूर्ण एवं अतार्किक आदेश को ही आधार बनाकर करनाल के तत्कालीन एस.डी.एम एवं वर्तमान ए.डी.सी गिरीश अरोड़ा ने पूर्ववर्ती एस.डी.एम भूपेन्द्र सिंह के रोक आदेश के बेखौफ होकर समाप्त कर डाला था। उनके इन्हीं विवादित आदेशों से रोक आदेश समाप्त होने पर भू-माफिया ने फर्जी अलाटमैंट के जरिये हथियाई गई करोड़ों रुपए की कीमती जमीनों को धड़ल्ले से बेच डाला। यही नहीं, बल्कि ए.डी.सी गिरीश अरोड़ा करनाल में एस.डी.एम रहते हुए पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय को भेजे गए सरकारी जवाबदावे में भी घोटाले सम्बंधी तथ्यों को छुपाते रहे हैं।

अपने सरकारी जवाबदावे में अरोड़ा ने घोटाले में प्रमुख भू-माफिया के खिलाफ कहीं भी इस तथ्य का खुलासा नहीं किया कि उसे मुख्यमंत्री उडनदस्ता अपनी जांच में गंभीर प्रकृति का दोषी ठहर चुका है। ए.डी.सी करनाल एक तरह से उच्च न्यायालय को भी गुमराह करने के आरोपी हैं। उक्त सरकारी जवाबदावे में गिरीश अरोड़ा अतीत में मीडिया को यही कहते रहे हैं कि उनका कार्यालय मुख्यमंत्री उडनदस्ते की रिपोर्ट से अधिकारिक तौर पर वाकिफ नहीं रहा है। इसलिए ही उन्होंने सरकारी जवाबदावे में इस रिपोर्ट का जिक्र भू-माफिया के खिलाफ नहीं किया। यहां यह काबिलेगौर है कि गिरीश अरोड़ा की करनाल में एस.डी.एम के पद पर तैनाती से पहले तत्कालीन उपायुक्त नीलम प्रदीप कासनी अपने एक न्यायिक फैसले के मुताबिक मुख्यमंत्री उडनदस्ते की रिपोर्ट से अवगत थी।

कलैक्टर अग्रेरियन के रूप में उपायुक्त की प्रशासनिक शक्तियों और कार्यो का निपटारा एस.डी.एम कार्यालय द्वारा ही किया जाता है। इस तथ्य से यह स्वत: ही प्रमाणित है कि करनाल में एस.डी.एम रहते हुए ए.डी.सी गिरीश अरोड़ा मुख्यमंत्री उडनदस्ते की रिपोर्ट से वाकिफ थे। बावजूद इसके उन्होंने उच्च न्यायालय को भेजे गए अपने सरकारी जवाबदावे में भू-माफिया के खिलाफ रिपोर्ट का कोई जिक्र नहीं किया। उलटा भू-माफिया के पक्ष में ही फर्जी अलाटमैंट को रद्द करने सम्बंधी दावे को डिस्मिस करने की गुजारिश कर डाली थी।

बदनाम करने की की जा रही है साजिश : गिरीश अरोड़ा
करनाल के मिनी सचिवालय में आज हुई पत्रकारवार्ता के दौरान ए.डी.सी गिरीश अरोड़ा से पत्रकारों ने उपरोक्त भूमि आबंटन मामले को लेकर इन तथ्यों सम्बधित सवाल किए तो उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया। बल्कि यह कहा कि मुझे बदनाम करने की साजिश की जा रहा है।
रिपोर्ट -अनिल लाम्बा

मोदी के ‘मेक इन इंडिया’ पर आरबीआई की चेतावनी

MODI_  RBI _Rajanनई दिल्ली [ TNN ] प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘मेक इन इंडिया’ का आइडिया आरबीआई गवर्नर रघुराम राजन को ज्यादा जम नहीं रहा है। शुक्रवार को पीएम मोदी के इस महत्वाकांक्षी अभियान पर राजन ने सरकार को सतर्क रहने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि मैन्युफैक्चरिंग पर ही फोकस नहीं किया जाना चाहिए।

राजन ने फिक्की में आयोजित भरत राम स्मृति व्याख्यान में कहा, ‘मैं प्रोत्साहन दिए जाने के लिए किसी एक क्षेत्र, मसलन मैन्युफैक्चरिंग को चुने जाने के प्रति केवल इसलिए आगाह कर रहा हूं क्योंकि यह प्रयोग चीन में सफल रहा है, लेकिनक भारत अलग है। एक अलग दौर में विकसित हो रहा है और हमें इस बारे में संशयवादी होना चाहिए कि क्या सफल होगा।’

उन्होंने कहा, ‘जब हम मैन्युफैक्चरिंग पर केंद्रित ‘मेक इन इंडिया’ के बारे में बात करते हैं, तो एक खतरा सामने होता है कि यह निर्यात केंद्रित वृद्धि मार्ग के अनुकरण की कोशिश है, जिसका अनुसरण चीन ने किया। मुझे नहीं लगता है कि इस तरह किसी एक क्षेत्र पर इतना विशिष्ट ध्यान देने की जरूरत है।’

मोदी ने स्वतंत्रता दिवस पर अपने पहले भाषण में लाल किले की प्राचीर से इस महत्वाकांक्षी कार्यक्रम ‘मेक इन इंडिया’ की घोषणा की थी, ताकि विदेशी निवेश आकर्षित किया जा सके और देश को विनिर्माण का बड़ा केंद्र बनाया जा सके।

साक्षी महाराज ने गांधी के हत्यारे गोडसे को बताया राष्ट्रभक्त

sakshi-maharajनई दिल्ली [ TNN ] भाजपा के सांसद साक्षी महाराज ने एक और विवादित बयान दिया है। साक्षी महाराज ने महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे को राष्ट्रभक्त बताया है। साक्षी महाराज ने कहा कि नाथूराम देशद्रोही नहीं था उसके अंदर भी महात्मा गांधी की तरह देशभक्ति की भावना थी। गोडसे के उस वक्त के बयान से लगता है कि वो किसी बात से दुखी था इसलिए उसने गांधी जी की हत्या की थी। हालांकि खबर दिखाए जाने के बाद वह अपने बयान से तुरंत पलट गए।

साक्षी महाराज का बयान ऐसे वक्त आया है जब केंद्र सरकार पहले से ही जबरन धर्म परिवर्तन के मुद्दे पर संसद में जबरदस्त तरीके से घिरी हुई है। वहीं केरल में नाथूराम गोड़से की मृत्यु को शौर्य दिवस के रूप में मनाये जाने को लेकर भी विवाद हुआ है। कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि आरएसएस ने गोडसे को राष्ट्रभक्त बताते हुए एक पत्रिका में एड भी छपवाया है।

वहीं साक्षी महाराज के इस बयान पर कांग्रेस ने तीखी टिप्पणी करते हुए कहा कि भाजपा की सोच एक-एक करके उनके मंत्रियों और सांसदों के बयान से बाहर आ रही है। कांग्रेस नेता प्रमोद तिवारी ने कहा कि गोडसे एक जघन्य हत्यारा था। कांग्रेस नेता राजीव शुक्ला ने कहा है कि गोडसे की पूजा कर रहे हैं। उनका सम्मान किया जा रहा है। अगर उनका महिमामंडन किया जाता है तो हमको स्वीकार्य नहीं है। उन्होंने कहा कि यह सब जो हो रहा है राज्य सरकार इसे रोक नहीं रही है।

राखी सावंत की दोस्त ने स्टेज पर तमाचा मारा

Rakhi Friend Accuses Sachendra Sharma of Casting Couch Slapsमुंबई [ TNN ] अपने कंट्रोवर्सियल बयानों को लेकर सुर्खियों में रहने वाली आइटम गर्ल, एक्ट्रेस राखी सावंत एक बार फिर चर्चा में है। इस बार वह अपने लिए नहीं बल्कि अपनी दोस्त को लेकर सुर्खियों में है। राखी सावंत की दोस्त ने फिल्म डायरेक्टर सचिन्द्र शर्मा को सरेआम स्टेज पर तमाचा मार दिया।

घटना गुरूवार की है। मौका था आगामी फिल्म “मुंबई कैन डांस साला” के म्यूजिक लॉन्च का। इस दौरान राखी की दोस्त अचानक स्टेज पर आई उसने डायरेक्टर सचिन्द्र शर्मा को थप्पड़ रसीद कर दिया। मामला इतना बढ़ गया की राखी को बीच में आना पड़ा और वह अपनी दोस्त के साथ सांताक्रुज पुलिस स्टेशन पहुंची। राखी की दोस्त का नाम मनीषा है। मनीषा ने इस फिल्म में काम नहीं किया है जबकि राखी ने इसमें आइटम सॉन्ग किया है।

सिने इंडस्ट्री में नई एक्ट्रेस मनीषा ने डायरेक्टर सचिन्द्र शर्मा पर कांस्टिंग काउच का आरोप लगाया है। राखी की दोस्त का आरोप है कि सचिन्द्र ने उसे अपनी फिल्म में रोल ऑफर करते हुए कहा था कि उन्हें यह रोल पाने के लिए बहुत कुछ करना होगा।

राखी पूरी तरह अपनी दोस्त को सपोर्ट कर रही है। राखी और उसकी दोस्त ने डायरेक्टर के खिलाफ कास्टिंग काउच और उत्पीड़न का आरोप लगाते हुए सांताक्रुज पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज करवाई है। पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर ली है।

मीडिया से बातचीत के दौरान राखी की दोस्त ने कहा कि डायरेक्टर ने उससे कहा कि यदि तुम मेरे बात मान लेती तो आज फिल्म में राखी की जगह तुम होती। राखी ने भी दोस्त की इस बात का सपोर्ट किया।

इंदिरा आवास योजना का नाम होगा आवास मिशन

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नई दिल्ली- केंद्र की भाजपा की अगुवाई वाली राजग सरकार पिछली संप्रग सरकार की महत्वाकांक्षी ‘इंदिरा आवास योजना’ का नाम बदलने जा रही है। ग्रामीण विकास मंत्री बीरेन्द्र सिंह ने लोकसभा में गंगा राजू और राजवीर सिंह के सवालों के लिखित जवाब में यह जानकारी दी।

उन्होंने बताया कि इंदिरा आवास योजना का नाम बदलकर ‘राष्ट्रीय ग्रामीण आवास मिशन’ रखा जाएगा। उन्होंने बताया कि वर्ष 2022 तक सभी को पक्के घर उपलब्ध कराने की सरकार की योजना के अनुसार ग्रामीण विकास मंत्रालय ने इंदिरा आवास योजना को दुरूस्त करने की पहल की है। इसके तहत प्रत्येक घर की निर्माण लागत में वृद्धि के साथ ही शौचालय को प्रत्येक घर का अनिवार्य हिस्सा बनाने और मूलभूत सुविधाओं की व्यवस्था का प्रावधान किया गया है।

बीरेन्द्र सिंह ने बताया कि इसका क्रियान्वयन एक अभियान के रूप में किया जाएगा। उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत वर्ष 2015-16 के लिए 24910 करोड़ रुपये के बजटीय आवंटन का प्रस्ताव किया गया है। इंदिरा आवास योजना के लिए 12वीं पंचवर्षीय योजना में 59585 करोड़ रूपये का परिव्यय अनुमोदित किया गया है और इसके तहत डेढ़ करोड़ मकानों के निर्माण का लक्ष्य है। इसमें 12वीं योजना के पहले दो वषरे में इस योजना के लिए 22,208 करोड़ रुपये उपलब्ध कराए गए हैं और 54. 82 लाख घरों के निर्माण का लक्ष्य है।

उन्होंने बताया कि वर्ष 2015-16 के दौरान 30 लाख और 2016-17 के दौरान 35 लाख घरों को आवंटित करने का प्रस्ताव है। -एजेंसी

कब्रों को उखाड़कर कब्रस्तान की जमीन पर कब्जा

 Burhanpur

बुरहानपुर [ TNN]  बुरहानपुर के आजादनगर इलाके में कई कब्रस्तान पर भू माफियाओं की नजर लग गई है, इन कथित भूमाफियाओं ने सांठगांठ कर सरकारी रिकॉर्ड में कब्रस्तान की जमीनों को अपने नाम चढाकर जमीनों को बेचने व कॉलोनी काटने का काम शुरू कर दिया है इसके लिए कब्राों को जलाने व तोडने से भी गुरेज नहीं कर रहे है जिससे अब कब्रास्तान में आए दिन शव यात्रा में आने वाले लोग जली कब्राो को देख आक्रोशित हो रहे है। 

बुरहानपुर के आजादनगर क्षेत्र में स्थित कब्रस्तान और औकाफ की जमीनों को लेकर आए दिन विवाद होना आम हो गया है, दरअसल शहर के कुछ कथित भूमाफियाओं ने प्रशासनिक अधिकारियों से सांठगांठ करके कब्रास्तानों व वक्फ की संपत्तियों के रिकॉर्ड में हेरफेर कर जमीनें अपने नाम करा ली है और इन जमीनों को मनमाफिक तरीके से जमीनें बेचकर चांदी काट रहे है और जो लोग इन से जमीन खरीद रहे है वह बेरोकटोक इस अवैध कॉलोनिया काट रहे है जब कब्रास्तानों पर शव यात्रा लेकर आने वाले शव यात्री कब्राों को टूटी व जली देखते है उनका आक्रोशित होना स्वाभाविक है। 

ऐसे ही एक मामले में आजादनगर स्थित एमागिर्द कब्रस्तान में आबिद नवाब नामक व्यक्ति ने प्रशासनिक अधिकारियों से सांठगांठ कर रिकॉर्ड में अपने नाम पर जमीन करा ली है इसका प्रकरण वक्फ बोर्ड भोपाल में विचारधीन है बावजूद इसके लोगों का आरोप है आबिद नवाब बाले बाले कब्रास्तान की जमीन को बेच रहा है उन पर आरोप है वह कब्राो को प्लाट काटने के लिए सुनियोजित ढंग से जला और तोड रहा है लोगों ने प्रशासन से इस मामले में दखल देने की मांग की है।

मौके पर पहुची पुलिस कब्रों को जलाने व तोडने की बात से साफ इंकार कर रही है पुलिस का कहना है इससे पहले यहां विवाद हो चुका है और जब जब इस कब्रस्तान में शव यात्रा आती है तो किसी प्रकार विवाद ना हो लिहाजा ऐहतियातन पुलिस तैनात कर दी जाती है।

रिपोर्ट -जफ़र अली 

एक मुसलमान को हिंदू बनाने में पांच लाख रुपये का खर्च

नई दिल्ली [ TNN ] धर्म जागरण मंच समिति की ओर से 25 दिसंबर को होने वाले ‘घर वापसी’ कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए अलीगढ़ में कुछ पर्चे भी बांटे गए हैं। टीवी रिपोर्ट्स के मुताबिक, इसमें यह भी बताया गया है कि एक ईसाई परिवार को हिन्दू बनाने के काम में दो लाख और मुसलमान परिवार को हिंदू बनाने के काम में पांच लाख रुपये का खर्च होता है।

इस पर्चे पर अपीलकर्ता के तौर पर धर्म जागरण मंच के क्षेत्रीय प्रमुख राजेश्वर सिंह का नाम है। दूसरी तरफ, अलीगढ़ में आयोजन की खबर के बाद पुलिस- प्रशासन भी अलर्ट हो गया है। खुफिया एजेंसियां शासन को यहां की स्थिति के बार में रिपोर्ट भेज रही हैं।

विश्व हिन्दू परिषद और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से संबंध रखने वाले संगठन धर्म जागरण मंच समिति ने क्रिसमस के मौके पर 5 हजार मुस्लिम-ईसाई परिवारों के धर्म परिवर्तन की तैयारी की है। इस कार्यक्रम को संगठन की ओर से ‘घर वापसी’ का नाम दिया है। आयोजकों का दावा है कि यह अलीगढ़ में सबसे बड़ा आयोजन होगा, जिसमें बीजेपी सांसद आदित्यनाथ भी शामिल होंगे।

बताया जा रहा है कि पैसे जुटाने के लिए पर्चे उन लोगों के बीच बांटे गए हैं, जो समिति के इस कार्य में आर्थिक सहायता मुहैया करा सकते हैं। हालांकि, आयोजन से जुड़े नेता पर्चे बांटने की बात से इनकार कर रहे हैं। पर्चे में कहा गया है कि इस साल एक लाख ईसाई और मुस्लिमों की घर वापसी का लक्ष्य तय किया गया है।Conversion the cost of five million dollars to build  Hindu to a Muslim

इस बारे में पूछा जाने पर राजेश्वर सिंह ने एबीपी न्यूज से कहा, ‘किसी भी तरह का धर्मांतरण नहीं किया जा रहा है। हमारे पास धर्मांतरण का लाइसेंस ही नहीं है, यह काम आर्य समाज या शुद्धि सभा करती है। हम साल भर हिन्दू धर्म में वापस आने वाले लोगों को हर साल 25 दिसंबर के दिन सम्मानित करने का काम करते हैं।’ उन्होंने कहा कि इस साल भी ऐसे तीन हजार परिवारों को सम्मानित करने का कार्यक्रम है।

राजेश्वर सिंह ने यह भी कहा है कि अगर उन्हें प्रस्तावित आयोजन स्थल पर अनुमति नहीं मिली तो वह कहीं आसपास के स्थल में आयोजन कराएंगे। लेकिन हर हाल में कार्यक्रम जरूर होगा और इसमें कोई फेरबदल नहीं होगा। बीजेपी सांसद योगी आदित्यनाथ ने कहा है, ‘आप इसे परिवर्तन कह सकते हैं, घर वापसी कह सकते हैं, इसे किसी अन्य तरह नहीं देखना चाहिए। अगर कोई अपनी भूल सुधारकर घर वापसी करना चाहता है तो इसमें कोई आपत्ति नहीं होनी चाहिए।’

राजेश्वर सिंह का कहना है कि स्वामी श्रद्धानंद जी महाराज ने आर्य समाज के साथ मिलकर उन लोगों की शुद्धि की जो हिंदू धर्म को छोड़कर ईसाई व इस्लाम धर्म में परिवर्तित हो गए थे। उन्होंने दावा किया, ‘अतीत में आगरा, फिरोजाबाद, मथुरा, एटा, मैनपुरी, अलीगढ़ आदि जिलों से करीब पांच लाख लोग ईसाई या इस्लाम धर्म में शामिल हुए। ऐसे लोगों की घर वापसी कर हम भारतीय संस्कृति को बचाने और अपने पूर्वजों के अधूरे कार्यों को पूरा करने का काम चल रहा है।’

सोमवार को आगरा में करीब 60 मुस्लिम परिवारों ने फिर से हिंदू धर्म को अपनाने की बात सामने आई थी। इस मामले में नया मोड़ आ गया जब धर्म परविर्तन करने वाले परिवारों ने आरोप लगाया कि राशन कार्ड और प्लॉट का प्रलोभन देकर उनका धर्म परिवर्तन कराया गया। इस मामले स्थानीय पुलिस ने केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।-एजेंसी 

बहुत हो चुका नारी पर वार…… सरकार

  Woman  Attack

देश में हाल में हुए लोकसभा चुनावों के दौरान पूर्व संप्रग सरकार की नाकामियों को उजागर करने वाले कई आकर्षक नारे गढ़े गए थे। उनमें एक नारा यह भी था- ‘बहुत हुआ नारी पर वार-अब की बार मोदी सरकार’। इस नारे का साधारण व सरल विश्लेषण यही है कि संप्रग सरकार के समय में नारी पर ज़ुल्म,अत्याचार व उसके साथ होने वाली बलात्कार की घटनाओं की अब इंतेहा हो चुकी है। और उसे रोकने के लिए देश को मोदी सरकार की ज़रूरत है। लीजिए आ चुकी है देश में मोदी सरकार।

फिर क्यों नहीं खत्म हो रहा नारी पर वार? केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह फरमा रहे हैं कि हमारी नीयत पर शक मत कीजिए? तो क्या संप्रग सरकार के नेताओं या मंत्रियों की नीयत महिलाओं पर अत्याचार या बलात्कार के प्रति संदिग्ध थी? क्या वह सरकार चाहती थी कि महिलाओं के साथ बलात्कार होते रहें? गत् 5 दिसंबर को दिल्ली में बलात्कार की एक और बड़ी घटना घटी है। गिर$फ्तार आरोपी शिव कुमार यादव इस हादसे को भी निर्भया की तरह बर्बर तरीके से अंजाम देना चाहता था। सरकार ने इस वीभत्स घटना के बाद तत्काल कई ऐसे कथित एहतियाती कदम उठाए हैं जिनको लेकर सरकार के मंत्रियों में ही मतभेद है।

गृहमंत्री ने महानगरों में कैब सेवा उपलब्ध कराने वाली अमेरिकी कंपनी उबर पर प्रतिबंध लगा दिया है। भारत के साथ ही जर्मनी,फ्रांस,थाईलैंड व हालैंड जैसे देशों ने भी उबर कैब सेवा पर यह कहते हुए प्रतिबंध लगा दिया है कि उबर कंपनी आपराधिक पृष्ठभूमि रखने वाले ड्राईवरों को नौकरी पर रखती है तथा अपने ग्राहकों को झूठ बोलकर गुमराह करती है।

भारत सरकार ने राज्य सरकारों को भी निर्देश दिया है कि वेब आधारित टैक्सी सेवा को रोक दिया जाए। परंतु केंद्र सरकार के ही एक दूसरे जि़म्मेदार मंत्री परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने सरकार के इन फैसलों पर उंगली उठाते हुए कहा है कि टैक्सी सेवा को प्रतिबंधित करना समस्या का हल कतई नहीं। उन्होंने इस फैसले पर उल्टे यह प्रश्र खड़ा किया है कि यदि रेल में रेप की घटना हो जाए तो क्या रेल परिचालन बंद कर दिया जाएगा? यदि बस दुर्घटनाग्रस्त हो जाए तो क्या बस चलाना बंद कर दिया जाए? निश्चित रूप से गडकरी की बातों में पूरा दम है। उन्हें ईमानदारी से यह भी स्वीकार करना चाहिए कि ऐसे अपराधों के लिए जिस तरह टैक्सी सेवा को दोषी नहीं ठहराया जा सकता उसी तरह सरकारों को भी इसका जि़म्मेदार नहीं कहा जा सकता।

चाहे वह यूपीए सरकार हो या वर्तमान भाजपा सरकार? दो वर्ष पूर्व 16 दिसंबर को हुए दिल्ली के बहुचर्चित निर्भया कांड के बाद पूरे देश में बलात्कारियों के विरुद्ध सख्त सज़ा और फौरन न्याय की ज़ोरदार मांग उठी थी। बलात्कारियों को फांसी देने की मांग भी की गई थी। सरकार ने राष्ट्रीय स्तर पर उठे इस स्वर का सम्मान करते हुए कानून में कई संशोधन किए। इन दो वर्षों में बलात्कार संबंधी कई फैसले भी आए जिनमें फांसी से लेकर उम्र कैद तक की सज़ाएं सुनाई गईं। परंतु इन सबके बावजूद बलात्कार की घटनाओं में कमी नहीं आ रही है। दिल्ली की बलात्कार की घटनाएं तो मीडिया मुख्यालय होने के चलते टीवी की सु$िर्खयां भी बन जाती हैं और संसद से सडक़ों तक इस की गूंज भी सुनाई देने लगती है। परंतु हकीकत तो यह है कि पूरे देश में प्रतिदिन बलात्कार की दर्जनों घटनाएं होती हैं।

जिनमें कई घटनाएं तो पुलिस रजिस्टर्ड ही नहीं करती और कई लोग अपनी इज़्ज़त बचाने की खातिर पुलिस तक जाने की हिम्मत नहीं जुटा पाते। अन्यथा निर्भया जैसे या उससे भी भयानक हादसे देश में होते ही रहते हैं। उदाहरण के तौर पर गत् 25 नवंबर को पंजाब के औद्योगिक नगर लुधियाना की ही दिल दहला देने वाली घटना को देखिए। चार गुंडों ने 16 वर्ष की लडक़ी का 25 नवंबर को पहले अपहरण किया। फिर दो दिनों तक लगातार बड़े ही दुर्दांत तरीके से उस बेचारी के साथ दिन-रात बलात्कार किया। 27 नवंबर को उसे मूर्छित अवस्था में बदमाशों ने उसके घर के पास छोड़ दिया। लडक़ी ने आपबीती अपने परिजनों को बताई। लडक़ी के परिजन लडक़ी को साथ लेकर संबद्ध पुलिस थाने में गए। पुलिस ने उनकी फरियाद नहीं सुनी। और रिपोर्ट लिखने से इंकार कर दिया। पुलिस वाले उल्टे पीडि़त परिवार से ही पैसे मांगने लगे। उन्हें यह समझाने लगे कि तुम लोग कहां मुकद्दमा लड़ते फिरोगे। बहरहाल लडक़ी के घर वाले लुधियाना के पुलिस अधीक्षक के पास गए। एसपी ने हस्तक्षेप कर उनकी रिपोर्ट लिखवाई। परंतु पुलिस ने पीडि़ता की फरियाद व शिकायत के अनुरूप रिपोर्ट नहीं दर्ज की।

बल्कि केवल खानापूर्ति की। बलात्कार व अपहरण जैसी सख्त धाराओं के न लगने के परिणामस्वरूप चारों आरोपियों की फौरन ज़मानत हो गई। पुलिस के इस पक्षपातपूर्ण रवैये से गुंडों का हौसला और भी बढ़ गया। ज़मानत मिलते ही इन बदमाशों ने लडक़ी व उसके परिजनों पर मुकद्दमा वापस लेने के लिए उन्हें डराना-धमकाना शुरु कर दिया। जब लडक़ी व उसके परिजनों ने बलात्कारियों का कहना नहीं माना तो पिछले दिनों यानी 4 दिसंबर को 6 गुंडे लडक़ी के घर में घुस आए तथा पीडि़ता को जि़ंदा जलाकर मार डाला। क्या यह घटना किसी निर्भया कांड से कम है? बल्कि अपराधी व पुलिस की मिलीभगत को देखिए तो यह उससे भी संगीन घटना ज़ाहिर होती है।

परंतु मीडिया की सु$िर्खयों में यह घटना अपनी वह जगह नहीं बना पाई जो निर्भया या दिल्ली में होने वाली बलातकार की अन्य घटनाएं बना पाती हैं। यह घटना भी दिल्ली की नहीं बल्कि दिल्ली से 300किलोमीटर दूर की है। जहां पुलिस बलात्कारियों के विरुद्ध केस दर्ज करने में आनाकानी करती है। जहां पीडि़ता द्वारा बताए जा रहे घटनाक्रम के अनुसार धाराएं नहीं लगाई जाती हों। और परिणामस्वरूप बलात्कारियों को फौरन ज़मानत मिल जाती हो और बलात्कारियों के हौसले इतने बुलंद हों कि वह पीडि़ता को मुकद्दमा वापस न लिए जाने के चलते जलाकर मार डालते हों? यहां क्या आप किसी टैक्सी कंपनी को प्रतिबंधित करके बलात्कार की घटनाओं को रोक सकते हैं?

हास्यास्पद-बेहद हास्यास्पद? उबर कैब सेवा में क्या इससे पहले भी कोई अपराध हुए हैं? फ़र्ज़ी प्रमाणपत्र ड्राईवर ने हासिल कर लिया इसमें भी कौन सी नई बात है? महामहिमों,इस देश में फ़र्ज़ी डिग्री धारक मंत्री,सांसद,विधायक,डॉक्टर क्या नहीं हैं इस देश में? धर्मगुरु,अध्यात्मवादी सब कुछ फ़र्ज़ी हैं। बलात्कार के कितने आरोपी इस समय देश की संसद,विधानसभाओं में विराजमान है? हमारे माननीय सदन में ब्लू फिल्म देखते हैं। स्वयं को भगवान बताने वाले धर्मगुरु अपने शिष्यों की बच्चियों से बलात्कार करते हैं। माननीय,क्या यह सब ‘उबर कैब’ प्रतिबंधित करने से रुकेगा ?

जी नहीं फिर वही बात आती है संस्कारित बच्चों की। जिस प्रकार सुबह-सवेरे हाफ पैंट पहना कर बच्चों को लठ भांजने के संस्कार दिए जाते हैं, उन्हें हिंदू बनाने की सीख दी जाती है। जिस प्रकार अपने बच्चों को धर्म विशेष के प्रति नफरत करना सिखाया जाता है, जिस प्रकार यह बताया जाता है कि अमुक-अमुक धर्म व विचारधारा देश व समाज के लिए सबसे बड़ा खतरा हैं, उसी प्रकार इन बच्चों को यह भी शिक्षित करना चाहिए कि नारी का सम्मान कैसे करें।

जब तक नारी सम्मान संस्कारों में शामिल नहीं होगा जब तक नारी को अबला,कमज़ोर,भोग्या,बोझ तथा बिस्तर पर प्रयोग करने की वस्तु मात्र ही समझा जाता रहेगा तब तक बलात्कार या नारी उत्पीडऩ की घटनाओं को कैसे रोका जा सकता है? संप्रग सरकार की विफलता के रूप में नारेबाज़ी कर महिला उत्पीडऩ तथा बलात्कार की जि़म्मेदारी उसके मुंह पर पोतना बेशक बहुत आसान काम था।

भाजपा विशेषकर भाषण के महारथी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चुनावों के दौरान इस काम को बखूबी अंजाम दिया। यहां तक कि निर्भया कांड में सडक़ों पर उतरे जनसमूह को भी इन्हीं शक्तियों द्वारा राष्ट्रीय स्तर पर भरपूर समर्थन भी दिया गया। फिर आखिर जनता को वरगलाने वाले वह नेता तथा भाषण के वही महारथी यह दावा कर सकते हैं कि- अब नहीं होता नारी पर वार? देश में है मोदी सरकार?

:- निर्मल रानी nirmalaनिर्मल रानी 1618, महावीर नगर 

अम्बाला शहर,हरियाणा।

फोन-0171-2535628

email: nirmalrani@gmail.com  

जूते में छुपाकर ले जा रहे थे सोना,दो को पकड़ा

Two to four kilos of gold caught alert security agencies 1मुगलसराय [ TNN ] यूपी के मुगलसराय स्टेशन पर आज जी आर पी को एक बड़ी सफलता साथ लगी । जब नागपुर निवासी दो युवको को GRP ने मुगलसराय स्टेशन से गिरफ्तार कर लिया । पकडे गए दोनों लोगो के पास से चार किलो सोना बरामद हुआ है । आरोपी सोने को अपने जूते में छुपाकर थाईलैंड से हवाई जहाज के जरिये गया लेकर आये और फिर टैक्सी से मुगलसराय स्टेशन पहुंचे । दोनों युवको से जी आर पी सहित अन्य सुरक्षा एजेंसिया पूछताछ कर रही है ।

दरसल जी आर पी को सुचना मिली की मुगलसराय स्टेशन पर दो व्यक्ति नागपुर किसी ट्रेन से जाने की फिराक में है जिनके पास विदेशो से लाया गया चार किलो सोना है । इस सुचना पर कार्यवाही करते हुए स्टेशन के प्लेटफार्म संख्या चार से जी आर पी ने दोनों को गिरफ्तार कर लिया । दोनों आरोपी नागपुर के निवासी बताये जा रहे है । इन दोनों ने अपने विशेष किस्म के तैयार किये गए जूते में सोना छिपा रखा था । पूछताछ में ये जानकारी भी सामने आई की पंद्रह दिन पूर्व भी सोने की एक खेप ये थाईलैंड से नागपुर ले आये थे ।जी आर पी क्षेत्राधिकारी चिरंजीवी चटर्जी ने बताया ने बताया की दोनों पहले नागपुर से शारजाह गए फिर वहां से बैंकाक । बैंकाक में इन्होने किसी से सोना लिया ।

वहां से सोने को अपने जूते में छुपाकर हवाई जहाज के जरिये गया लेकर आये फिर वहाँ से टैक्सी के जरिये कल देर रात मुगलसराय स्टेशन पहुंचे और यहाँ से ये संघमित्रा एक्सप्रेस से नागपुर जा रहे थे । इनके पास से 27 हजार 700 थाईलैंड की करेंसी और भारतीय पासपोर्ट भी मिला है । इनसे अभी पूछताछ की जा रही है और सम्बंधित सुरक्षा एजेंसियों को सुचना दे दी है । दोनों लोगो को गिरफ्तार कर जेल भेजा जा रहा है ।

दोनों तस्करो के पकडे जाने से एक बात तो साफ़ हो जा रही है की किस तरह से मिलीभगत करके ये विदेशो से सोना भारत में लाकर बेचा रहे थे । लेकिन बड़ा सवाल ये है की जब ऐयरपोर्ट पर जब ये सोने को अपने जुटे में छुपाकर पहुंचे तो वहां से बिना जाँच के कैसे सोना लेकर बाहर आ गया । इससे साफ़ हो जाता है की कही न कही इस सोने की तस्करी में एयरपोर्ट के अधिकारी और वहां तैनात कस्टम विभाग के अधिकारियों की मिली भगत जरूर रही होगी ।

सदन में भाजपा विधायक मोबाईल पर ये क्या देख रहे थे

BJP MLA caught gaping at Priyanka Gandhi's photo in Karnataka Assemblyबेंगलूरू [ TNN ] विधानसभा के 10 दिवसीय शीतकालीन अधिवेशन के दूसरे दिन बुधवार को भाजपा के दो विधायकों ने खुद और पार्टी के लिए नई समस्या खड़ी कर दी है। सदन की कार्यवाही के दौरान विधायक प्रभु चौहान अपने फोन पर कुछ तस्वीरें देखे रहे थे और विधायक यूबी बणकार फोन पर गेम खेलने में बिजी थे। एक प्राइवेट न्यूज चैनल के कैमरामैन ने इसे कैद कर चैनल पर प्रसारित किया तो ये तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हो गईं। इस वीडियो में चौहान को प्रियंका गांधी की फोटो को जूम कर देखते हुए देखा जा सकता है।

सत्र के बाद जब संवाददाताओं ने चौहान से इस बारे में पूछा तो उन्होंने कहा कि वे अपने फोन पर कुछ नेताओं की तस्वीरें देख रहे थे। इसके लिए उन्होंने गलती भी स्वीकारी। विधानसभा अध्यक्ष के. तिमप्पा ने कहा कि वे इस मुद्दे पर गौर करेंगे। जनता दल (ध) के विधायक वाईएसवी दत्ता ने इस पर आपत्ति जताते हुए कहा कि एक तो पहले ही जनता की नजरों में नेताओं की छवि खराब है और ऎसी हरकतों से सरकार की और छवि खराब होगी।

ढांचागत विकास मंत्री रोशन बेग ने कहा कि ऎसी अशोभनीय घटना पर प्रक्रिया देना उनके लिए दुर्भाग्यपूर्ण है। यह ऎसा पहला मौका नहीं है जब भाजपा को शर्मिंदगी उठानी पड़ी हो। गौरतलब है कि इससे पहले भी सदानंद गौड़ा के मुख्यमंत्री क ाल में बेंगलूरू में विधानसभा की कार्यवाही के दौरान भाजपा के तीन मंत्री अपने फोन पर अश्लील वीडियो देखते हुए पकड़े गए थे। बाद में उन्हें अपना पद छोड़ना पड़ा था।

उमर के दादा-दादी भी हिंदू थे : विनय कटियार

BJP leader hits back at Omar, says his own grandparents were Hindus who converted into Islamनई दिल्ली [ TNN ] आगरा में कथित जबरन धर्म परिवर्तन के मुद्दे को लेकर संसद में गुरूवार को भी हंगामा जारी है। विपक्षी दलों के सांसदों ने संसद में सरकार विरोधी नारे लगाए। वहीं भाजपा नेता विनय कटियार ने जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला पर निशाना साधते हुए कहा, “उनके(उमर अब्दुल्ला) दादा-दादी भी हिंदू थे, जिन्होंने बाद में इस्लाम धर्म कबूल कर लिया।” धर्म परिवर्तन के मुद्दे पर उमर अब्दुल्ला द्वारा भाजपा पर साधे गए निशाने के बाद कटियार का यह बयान आया है। विपक्षी दलों ने संसद में इस मामले पर हंगामा करते हुए कहा कि आरएसएस से जुड़ी संस्थाओं ने 100 मुस्लिमों का लालच देकर और जबरन धर्म परिवर्तन कराया है जो कि एक अपराध है।

अलीगढ़ से भाजपा सांसद सतीश गौतम ने धर्म परिवर्तन करने वाले लोगों को बीपीएल कार्ड देने के लालच की खबरों से इनकार किया है। साथ ही कहा कि इस तरह के समारोह हम कई सालों से करते आ रहे हैं और 25 दिसंबर को फिर होगा। यह धर्म परिवर्तन नहीं है बल्कि “घर वापसी” है।

बसपा सुप्रीमो मायावती ने भी इस मुद्दे को लेकर भाजपा पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि मैं पहले ही बोल चुकी हूं कि यह एक गंभीर मुद्दा है। भाजपा और उसके साथी संगठन सांप्रदायिक तनाव पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं। इनके साथ ही सपा सांसद नरेश अग्रवाल ने कहा कि यूपी सरकार इस मुद्दे को गंभीरता से ले रही है। वहीं संसदीय मामलों के मंत्री वैंकया नाएडू ने कहा कि हम इस बात पर सहमत हैं कि धर्म परिवर्तन विरोधी कानून बनना चाहिए। अगर सदन चाहता है तो हम इस पर चर्चा कर सकते हैं।

गौरतलब है कि यूपी के आगरा में आरएसएस से जुड़ी संस्थाओं ने 37 मुस्लिम परिवारों के करीब 100 लोगों का धर्म परिवर्तन कराकर उन्हें हिंदू बना दिया था। इन संस्थाओं से जुड़े लोगों का दावा है कि करीब 20-25 साल पहले वे लोग हिंदू थे जिन्होंने बाद में इस्लाम कबूल लिया। वहीं इसके बाद धर्म बदलने वाले कुछ परिवारों ने उन्हें लालच देने का आरोप लगाया है।

खंडवा रैन बसेरे पर कब्जा ,गरीब को फायदा नहीं

Khandwa News Rain-Basera

खंडवा [ TNN ] गरीबों और असहाय लोगों के रात्रि विश्राम के लिए बनाए गए रैन बसेरे औचित्यहीन साबित हो रहे हैं। शहर में अलग-अलग क्षेत्रों में दो रैन बसेरे बने हैं। इसमें एक रैन बसेरा स्वयं सेवी संस्था को सौंप दिया गया है। वहीं दूसरा भवन बनने के बाद करीब दो साल से बंद पड़ा है।

तापमान में लगातार गिरावट के चलते ठंड बढ़ रही है। इससे सबसे अधिक परेशानी उन गरीब लोगों को हो रही है जो असहाय और मजबूर होकर फुटपाथ या फिर रेलवे स्टेशन और बस स्टैंड पर सोते हैं। रात्रि में कई लोगों को रेलवे स्टेशन या फिर बस स्टैंड के आसपास ठिठुरते हुए देखा जा सकता है। ऐसे लोगों के रात्रि विश्राम के लिए शासन की ओर से जो व्यवस्थाएं की गई हैं उन्हें निगम प्रशासन की ओर से अमलीजामा नहीं पहनाया जा सका है। जिला अस्पताल में बने रैन बसेरे पर एक स्वयं सेवी संस्था ने कब्जा जमा रखा है।

हालांकि संस्था की ओर से दावा किया जाता है कि यहां प्रतिदिन गरीबों और असहाय लोगों को ठहरने की व्यवस्था की जाती है लेकिन हकीकत इससे अलग है। आश्चर्यजनक तो यह है कि जिला अस्पताल परिसर में रैन बसेरा है इसकी जानकारी जरूरतमंद लोगों को कम ही है। सार्वजनिक स्थलों पर किसी तरह का सूचना बोर्ड नहीं लगाया गया है ताकि असहाय लोग यहां तक पहुंच सकें।

शहर में एक रैन बसेरा जूनी इंदौर लाइन पर बनाया गया है। इस भवन के निर्माण को करीब दो साल हो चुके हैं। बनने के बाद से यह भवन नहीं खुला। वर्तमान स्थिति यह है कि इस भवन की खिड़कियों के कांच असामाजिक तत्वों ने तोड़ डाले हैं। निगम की ओर से इस रैन बसेरे के संचालन को लेकर किसी तरह के प्रयास अब तक नहीं किए गए। शासकीय राशि के उपयोग के बावजूद आमजन को इसका फायदा नहीं मिल पा रहा है।

नियमानुसार नगर निगम को एक समिति का गठन कर इस रैन बसेरे का संचालन शुरू कराना था लेकिन इसे लेकर रुचि नहीं दिखाई गई। इस क्षेत्र में झुग्गी बस्ती क्षेत्र के लोग अधिक रहते हैं यदि इस रैन बसेरे का संचालन शुरू हो जाता है तो गरीब तबके के लोगों को बेहतर सुविधा मिल सकती है।

लखनऊ में रोज बढ़ रही दुर्घटनाएं, ट्रामा हुआ फेल

 accident news

लखनऊ [ TNN ] लखनऊ में आज कल हर तरफ तरफ से दुर्घटनाओ की खबरे आ रही है। इन दुर्खटनाओ में मरने वालो की संख्या दिन-प्रतिदिन बढ़ रही है। इनमे शहीदपथ, कानपूर रोड, फैज़ाबाद रोड, सीतापुर रोड, गोमती नगर सहित कई इलाके शामिल है। इन घटनाओ में ज्यादातर बाइक सवार लोग है, जिने किसी न किसी चार पहिया वाले ने पीछे से टक्कर मारी होती है। हालांकि टक्कर से तो बाइक सवार बच भी जाए , पर चार पहिया वाला टक्कर मार के जल्दी भागने के चक्कर में उनको ज्यादा चोट दे रहे है। यही नहीं कई मामलो में तो चश्मदीदो ने बताया की गाड़ी भागने में उसने गाड़ी घायलो के ऊपर ही चढ़ा दी। ऐसी गंभीर हालत में घायल को के0जी0एम0सी0 के ट्रामा सेंटर लाने के अलावा कोई चारा नहीं।

यहाँ जबरदस्त लापरवाही देखने को मिलती है। यहाँ आप की सुनने वाला कोई नहीं। कहा जाये, क्या करे कुछ पता नहीं। यहाँ कोई सीनियर डॉक्टर आप को नहीं मिलेगा। पूरा ट्रामा जूनियर डॉक्टरों के हवाले चल रहा है। यहाँ डॉक्टर आप को समय रहते देखले तो उसकी महान कृपा है। याहा भयानक इन्फेक्शन के बीच डॉक्टरों की भयंकर लापरवाही देखने को मिलती है। ऐसे में दुर्खटना में ज्यादा खून बहने व गंभीर हेड इंजरी के मरीज़ को समय रहते इलाज नहीं मिलता।

गंभीर रूप से घायलो में ट्रामा आने वालो में मरने वालो की सख्या लगातार बढ़ रही है। कारण सिर्फ लापरवाही है। जिम्मेदारी लेने को कोई तैयार नहीं है। ट्रामा इंचार्ज डॉ0 शंकधर के तो दर्शन ही दुर्लभ है, अगर मोबाइल से बात हो भी गई, तो कोई गारंटी नहीं की उनके कहने पर भी गंभीर दुर्घटनाग्रस्त मरीज़ को तत्काल इलाज मिल पायेगा।

यहाँ सब राम भरोसे है। कहने को तो यहाँ शिफ्ट वाइज कई पी0आर0ओ है, पर वो भी अपनी मज़बूरी बताते है। सीनियर डॉक्टर मिलते नहीं, जूनियर डॉकटरो के लिए किसी का मरना-जीना कोई खास महत्त्व नहीं रखता।

रिपोर्ट :-शाश्वत तिवारी 

आत्महत्या की कोशिश अब अपराध नहीं रहेंगी

suicide-noteनई दिल्ली [ TNN ] आत्महत्या की कोशिश अपराध की श्रेणी से हट जाएगी। विधि आयोग की सिफारिश पर मोदी सरकार ने आईपीसी की धारा 309 (आत्महत्या की कोशिश) को खत्म करने का फैसला किया है। धारा 309 के तहत आत्महत्या की कोशिश पर एक साल तक की सजा और जुर्माने का प्रावधान है। बुधवार को संसद में इसकी जानकारी देते हुए गृह मंत्रालय ने कहा कि 18 राज्य और 4 केंद्र शासित क्षेत्र धारा 309 को खत्म करने के पक्ष में हैं। गृह मंत्रालय के बयान में कहा गया है कि राज्यों की राय पर केंद्र सरकार ने फैसला किया है कि इस धारा को आईपीसी से हटा दिया जाए।

लोकसभा में अगस्त में गृह राज्यमंत्री किरेन रिजिजू ने कहा था, ‘विधि आयोग ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि आत्महत्या की कोशिश को मानवीय आधार पर विचार करने और इसके अपराध की श्रेणी से बाहर रखने की जरूरत है।’

आत्महत्या से जुड़े विभिन्न पहलुओं का अध्ययन करने के बाद विधि आयोग ने कहा था कि इंडियन पीनल कोड (आईपीसी) की धारा-309 हटा दी जानी चाहिए। विधि आयोग के अध्यक्ष न्यायमूर्ति डॉ. एआर. लक्ष्मणन और आयोग के दो सदस्यों की संसद में पेश रिपोर्ट में आत्महत्या को अपराध की श्रेणी से अलग रखने की बात करते समय यह साफ कर दिया गया है कि किसी व्यक्ति को आत्महत्या करने के लिए प्रोत्साहित करने या इसमें उसकी सहायता करने वाले को अवश्य दंडित किया जाना चाहिए।

आत्महत्या को मानवीय पहलू से परखते हुए आयोग ने कहा है कि ऐसे व्यक्ति को दंडित करना उचित नहीं है, जो पारिवारिक अनबन, विपन्नता, नजदीकी रिश्तेदारी की मृत्यु आदि कारणों से अपना जीवन खत्म करने का फैसला कर लेता है। आयोग ने कहा है कि कि जीवन से हारे ऐसे अभागे व्यक्ति को सहानुभूति, सलाह मशविरे और उचित इलाज की जरूरत है। उसकी जगह जेल खाना नहीं है। आयोग के अनुसार आत्महत्या संबधी धारा-309 दोहरे दंड का कारण बनती है। जो व्यक्ति आत्महत्या का प्रयास करने के कारण पीड़ा और अपमान झेल चुका है, उसे कानून के जरिए दंडित करना उचित नहीं है।

स्कूल पर भूत का साया, बच्चे हो जाते है बेहोश

बांदा [ TNN ] उत्तर प्रदेश के बांदा से सामने आया है एक हैरान कर देने वाला मामला जहां कई बच्चे एक पेड़ को देखने मात्र से बेहोश हो गए। दावा किया जा रहा है कि कोई प्रेतात्मा उन्हें डराती है और धक्का देकर गिरा देती है।

प्रशासन जांच की बात कह रहा है और डॉक्टर इस बात को सिरे से नकार रहे हैं लेकिन उन बच्चों का क्या जो डरे हुए हैं और अभिभावकों ने भी स्कूल भेजना बंद कर दिया है।

bandaखबर के मुताबिक तिंदवारी थाना क्षेत्र के गजनी गांव में पूर्व माध्यमिक स्कूल के पास लगे नीम व बरगद के पेड़ को देखकर करीब दर्जन भर बच्चे बेहोश हो गए। गंभीर हालत में सभी को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया।

हालांकि इसका कोई वैज्ञानिक आधार तो नहीं है लेकिन घटना के संबंध में स्कूल के प्रधानाध्यापक, ग्राम प्रधान व पीड़ित बच्चों का अवैज्ञानिक दावा है कि बरगद के पेड़ पर कोई प्रेतात्मा उन्हें डराती है और धक्का देकर गिरा देती है।

एक-दो बच्चों के बेहोश होने का सिलसिला तो बीते कई दिन से जारी है। प्रशासनिक अधिकारी और डाक्टर इस तरह की घटना से हैरान हैं। एसडीएम ने अस्पताल पहुंचकर मामले की जानकारी की।

मंगलवार को दोपहर करीब 12 बजे स्कूल के बच्चे इंटरवल के दौरान स्कूल के बाहर मैदान में खेल रहे थे तभी सातवीं कक्षा की प्रतिमा (13) व उसकी बहन कीर्ति (12), रमा यादव (13), शालू सिंह (13), छाया वर्मा (13), सुशील गौर (11) और 6वीं कक्षा के प्रियांशू विश्वकर्मा (12) व पूजा देवी (12) तथा मैना देवी (13) आदि बच्चे एक-एक कर बेहोश हो गए।

अर्द्ध मूर्छित अवस्था में उनके शरीर ऐंठने लगे। इन सभी बच्चों को तत्काल जिला अस्पताल लाया गया। उनके साथ प्रधान जयकरन यादव व प्रधानाध्यापक भी थे। बच्चों ने दावा किया कि कोई कथित प्रेत आत्मा उन्हें डराती है।

बड़ी संख्या में बच्चों के बेहोश की सूचना पर तिंदवारी सीएचसी की स्वास्थ्य टीम, एसडीएम सदर प्रह्लाद सिंह, खंड शिक्षा अधिकारी भी मौके पर पहुंचे। बरगद के पेड़ पर प्रधानाध्यापक ने लिखित नोटिस लगा दी है कि कोई व्यक्ति या बच्चा इस पेड़ के नजदीक न जाए। उधर, तमाम अभिभावकों ने बच्चों को स्कूल भेजना बंद कर दिया।
जिला अस्पताल बांदा के सीएमएस डॉक्टर शेखर के मुताबिक बच्चों को साइकोलॉजिकल प्रॉब्लम है। कोई बीमारी नहीं है। फिलहाल अब वह सामान्य हैं। बच्चों का इलाज करने वाले डॉ. विनीत सचान व डॉ. सुशील कुमार ने अभिभावकों की संतुष्टि के लिए पीड़ित बच्चों को मेडिकल कालेज ले जाने की सलाह दी थी।

एसडीएम सदर प्रह्लाद ने कहा कि प्रेतात्मा की बात सिर्फ अफवाह है। फिलहाल देवी-देवताओं में लोगों की आस्था पर वह सवाल नहीं उठा रहे हैं। गजनी विद्यालय में इसके पूर्व 20 नवंबर को भी ऐसा ही मामला सामने आया था। मंगलवार को वह खुद गजनी गांव गए थे। पीड़ित बच्चों को अस्पताल भेजा गया है। बच्चों के मर्ज के बारे में डाक्टर ही बता सकते हैं।

दूसरी ओर ग्राम प्रधान जयकरन यादव ने दावा किया कि दोपहर 12 से 3 बजे के बीच ही बच्चों के पेड़ के नजदीक जाने पर ऐसी घटना होती है। प्रधान और अभिभावकों ने बताया कि अफवाह इस तरह की भी है बच्चों के मूर्छित होने पर ‘जय अगिया बैताल माता की जय’ उद्घोष लगाने पर बच्चों की हालत सुधरने लगती है।

प्रधान ने बताया कि स्कूल के पास ‘अगिया बैताल’ नाम का स्थान (चबूतरा) है। यह जर्जर हो चुका है। परंपरा है कि किसी भी काम की शुरूआत से पहले यहां आकर पूजा की जाती है। मंगलवार को शिव कुमार (45) पत्नी रामसिया भी पूजा के दौरान बेहोश हो गईं।

गांव के पूर्व कोटेदार जयकरन सिंह ने बताया कि उसने बुजुर्गों से सुना है कि स्कूल के पास लगे नीम के पेड़ वाले स्थान पर पहले पीपल का वृक्ष था। इसमें ‘अगिया बैताल माता’ का स्थान था। अंधविश्वास के चलते बीमारों का इस स्थान से इलाज भी होता है। उधर, ग्रामीणों ने मंगलवार से ही चबूतरे का जीर्णोद्धार शुरू करा दिया। पूरे गांव के लोग सहमे हुए हैं।

माध्यमिक विद्यालय के सामने बरगद का प्राचीन पेड़ है। उसके ठीक पास नीम का भी पेड़ है। प्रधानाध्यापक भूपत सिंह का दावा है कि पिछले करीब एक पखवारे से स्कूल का कोई न कोई बच्चा रोजाना चक्कर खाकर गिर जा रहा है। पहले इसे सामान्य तौर पर लिया गया। किंतु धीरे धीरे यह सिलसिला बढ़ता ही जा रहा है।

पीड़ित बच्चों के चेहरे पर पानी छिड़कने से वह सामान्य हो जाते हैं। बकौल प्रधानाध्यापक, बच्चों ने बताया कि बरगद के पेड़ पर लाल रंग की साड़ी पहने बैठी महिला उन्हें बुलाती है। न जाने पर जीभ निकालकर डराती है। अक्सर बच्चों को धक्का देकर गिरा देती है। इससे वे डरकर बेहोश जाते हैं। जिला अस्पताल में इलाज के पहुंचे बच्चों ने भी कुछ इसी तरह का दावा किया।

मंगलवार को हुई घटना से क्षेत्र में तो दहशत है, किंतु चर्चा पूरे जिले में है। लोग कई तरह की बातें कर रहे हैं किंतु सबसे ज्यादा हैरान जिले के प्रशासनिक अधिकारी और डाक्टर हैं। उन्हें समझ में नहीं आ रहा कि आखिर हो क्या रहा है। प्रेतात्मा जैसी बातों पर वे यकीन नहीं करते, किंतु बच्चों की बातें उन्हें असमंजस में डाल रही हैं।

डाक्टरों ने इसे साइकोलॉजिकल प्रॉब्लम बताया है। उनका कहना है कि इस तरह की बातें सार्वजनिक चर्चा करने से सभी में एक जैसा फील आता है। बच्चों ने डर की बात सुनी और डर गए। बेहोशी इसी अज्ञात भय की वजह है।

मंगलवार को कथित प्रेतात्मा ने अपना रंग इसकी जांच पड़ताल के लिए पहुंचे अधिकारियों के सामने दिखाया। ग्राम प्रधान जयकरन के मुताबिक सारे बच्चे स्कूल में रोजमर्रा की तरह कक्षा में पढ़ रहे थे। दोपहर करीब 12 मुख्यालय से एसडीएम और पुलिस अधिकारी विद्यालय आए और बच्चों से जानकारी हासिल करनी शुरू कर दी।

अफसरों की पूछताछ चल ही रही थी कि इसी बीच 7वीं कक्षा की 12 वर्षीय कीर्ति ने बरगद के पेड़ की तरफ देखा और बेहोश होकर गिर पड़ी। यह देख अन्य बच्चों ने किसी तरह उसे संभाला। इसके कुछ ही देर बाद 12 वर्षीय 6वीं कक्षा के छात्र प्रियांशु और 13 वर्षीय सातवीं कक्षा की शालू का भी यही हश्र हुआ। एक के बाद एक बच्चों की तबियत बिगड़ने लगी। उनके जिस्म ऐंठ रहे थे। यह देख अफसरों के भी हाथ पांव फूल गए। बच्चों को अस्पताल भेजा गया।

महिला मंडल ने लगाया ‘मैक्सी’ या ‘नाइटी’ पहनने पर बैन

BAN on 'MAXI' (Ladies Nighty) in Gothivali,Navi Mumbaiमुंबई [ TNN ] महाराष्ट्र के एक गांव में महिलाओं के नाइटी पहनने पर बैन लगा दिया गया। हालांकि पुलिस के हस्तक्षेप से आदेश वापस भी ले लिया गया। आदेश के मुता‌बिक, रात में ऐसे कपड़े पहनने पर 500 रुपए जुर्माना देना पड़ सकता था।

गांव के एक स्थानीय समूह ‘इंद्रयानी महिला मंडल’ का कहना था कि उसने बलात्कार और छेड़छाड़ जैसी घटनाओं को रोकने के लिए यह आदेश जारी किया था।

एक अख़बार के मुताबिक समूह की एक महिला सदस्य ने कहा कि घर के बाहर ऐसे कपड़े पहनने से अपराध बढ़ रहे हैं। उन्होंने कहा ‌कि इन दिनों ‘मैक्सी’ या ‘नाइटी’ पहनने का प्रचलन ज्यादा बढ़ गया है। ऐसे कपड़े घर के बाहर पहनना बहुत ही भद्दा भी लगता है।

महिला मंडल ने रविवार को गांव के नोटिस बोर्ड इस बावत आदेश चस्‍पा किया था। आदेश में मराठी में लिखा था कि महिला मंडल गांव की महिलाओं को सूचित करता है कि गांव के परिसर में ‘मैक्सी’ या ‘नाइटी’ पहन कर घूमने की सख्त मनाही है। ऐसा करने वाली 500 रुपए का आर्थिक दंड लगाया जाएगा।

हालांकि इस आदेश का कई महिलाओं ने विरोध किया। विरोध के बाद पुलिस ने मामले में हस्तक्षेप किया।

सीनियर पुलिस इन्सपेक्टर एस गोजरे ने कहा कि किसी भी ग्राम पंचायत या गांव के किसी स्थानीय समूह को कोई अधिकार नहीं है कि वे इस तरह के आदेश पारित कर सकें।

उन्होंने कहा कि हमने महिला मंडल के साथ बैठक कर उन्हें चेतावनी दे दी है और नोटिस बोर्ड से वह आदेश भी हटा लिया है।

धर्म परिवर्तन पर संसद में विपक्षी सख्त,FIR दर्ज

Religious conversion row hits Parliament; Centre passes the buck to state govtनई दिल्ली [ TNN ] उत्तर प्रदेश के आगरा में कुछ लोगों के धर्म परिवर्तन का मुद्दा बुधवार को संसद के दोनों सदनों में जमकर गूंजा। सरकार पर सख्त रुख अपनाते हुए प्रमुख विपक्षी दलों ने इस मामले पर सरकार से सफाई देने की मांग की।

राज्यसभा में बसपा प्रमुख मायावती ने धर्मपरिवर्तन मामले पर मांग की केंद्र और राज्य सरकारें इस मामले को गंभीरता से लें। उन्होंने कहा कि धर्मपरिवर्तन कराने वाली सांप्रदायिक ताकतों पर रोक लगानी चाहिए।

वहीं कांग्रेस की ओर से राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह ने मांग की इस मामले पर सरकार स्पष्टीकरण दे। कांग्रेस नेता मनीष तिवारी ने कहा यदि धर्मनिरपेक्ष राष्ट्र में किसी को जबरन धर्म परिवर्तन कराया जाता है तो सरकार को ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करनी चाहिए।

विपक्षी दलों की मांग का जवाब देते हुए केंद्रीयमंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने राज्य सभा में कहा कि उनकी जानकारी में मामले पर एफआईआर दर्ज की जा चुकी है। उन्होंने कहा कि किसी संगठन को संस्‍था को राजनीतिक कारणों से गलत साबित करना ठीक नहीं है।

इससे पहले आगरा में जिन मुसलमानों का कथित रूप से धर्म परिवर्तन हुआ है उनमें से कुछ ने अनजाने में धर्मपरिवर्तन की बात कही है। धर्मपरिवर्तन के दौरान हवन और धर्म जागरण कार्यक्रम में भाग लेने वाली महिला ने कहा कि उन्हें धर्म परिवर्तन के बारे में कुछ भी नहीं बताया गया।

उन्होंने कहा कि उनके साथी उन्हें पूजा स्‍थल ले जाने से पहले उन्हें कुछ नहीं बताया। उन्हें इस बारे में बाद में पता चला कि उनका धर्म परिवर्तन कराया गया है। महिला ने कहा कि उनसे उनके आई कार्ड बनाने ‌के लिए कहा गया था, लेकिन उन्हें यह पता नहीं था कि यह धर्म परिवर्तन कराने क लिए कहा जा रहा है।

कबाड़ का काम करने वाले 37 मुस्लिम परिवारों के करीब सौ लोगों ने सोमवार को विधिवत हवन-पूजन के साथ हिंदू धर्म अपना लिया था। इनकी कलाई पर कलावा बांधने के बाद माथे पर तिलक भी लगाया गया था।

इनमें से अधिकांश मूलरूप से कोलकाता के हैं जो पिछले कई साल से देवरी रोड स्थित देव नगर के पीछे बस्ती में रह रहे हैं। कुछ लोग इन्हें बंग्लादेशी भी बोल रहे हैं। हिंदु धर्म अपनाने वालों में कुछ के पिता या दादा ने धर्म परिवर्तन कर मुस्लिम धर्म अपना लिया था।

धर्म जागरण (राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ प्रकल्प) और बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने सोमवार को देवरी रोड स्थित देव नगर के पीछे एक बस्ती में इस कार्यक्रम का आयोजन किया था। इसमें बस्ती के 37 मुस्लिम परिवार हिंदू धर्म से जुड़ने की बात सामने आई थी।

जिला एवं जनपद ई.व्ही.एम.,पंच-सरपंच का मत पत्र से

District and the district EVM and punch-sarpanch  will vote by ballotभोपाल [ TNN ] जिला एवं जनपद पंचायत सदस्यों का ई.व्ही.एम. और सरपंच तथा पंच के लिए मत पत्र द्वारा मतदान होगा। राज्य निर्वाचन आयुक्त आर. परशुराम ने यह जानकारी पंचायत निर्वाचन संबंधी प्रशिक्षण में दी। प्रशिक्षण में 12 कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी, 51 उप जिला निर्वाचन अधिकारी तथा 15 सहायक कलेक्टर शामिल हुए।

आर. परशुराम ने बताया कि पंचायत निर्वाचन के साथ ही पूर्व में माह नवम्बर में संभावित नगरपालिक निगम भोपाल, इन्दौर, जबलपुर, छिन्दवाड़ा एवं मुरैना तथा कुछ नगर पालिका परिषद तथा नगर परिषद के निर्वाचन भी माह जनवरी में करवाने के फलस्वरूप मतदान केन्द्र की संख्या बढ़ गई है। पंचायत तथा नगरीय निकायों के निर्वाचन में कुल मतदान केंद्र लगभग 73 हजार हो रहे हैं। इन सबके लिए अतिरिक्त ई.व्ही.एम. उपलब्ध करवाने में निर्माता कम्पनी ई.सी.आई.एल. द्वारा असमर्थता व्यक्त की गयी है। इन सब परिस्थितियों पर विचार के बाद निर्णय लिया गया है कि पंचायत निर्वाचन में ई.व्ही.एम. से जिला पंचायत और जनपद पंचायतों का निर्वाचन करवाया जाय। पंच तथा सरपंच पदों के लिए मतदान मत पत्र से होगा।

आर. परशुराम ने नगरीय निकाय निर्वाचन सफलता से संपन्न करवाने के लिए सभी कलेक्टर एवं उप जिला निर्वाचन अधिकारी एवं उनकी टीम की सराहना की। उन्होंने कहा कि इसी टीम भावना के साथ आगामी पंचायत निर्वाचन के लिए कार्य करना है। आयुक्त ने बताया कि पंचायत निर्वाचन 3 चरण में करवाये जायेंगे।

उप सचिव दीपक सक्सेना ने ई.व्ही.एम. रेण्डमाइजेशन एण्ड कमीशनिंग तथा पंचायत निर्वाचन की विभिन्न प्रक्रिया के बारे में जानकारी दी। उप सचिव गिरीश शर्मा ने कानून व्यवस्था,वल्मेपिंग, कम्युनिकेशन प्लान एवं आदर्श आचरण संहिता के संबंध में बताया। बुद्धेश कुमार वैद्य एवं सुश्री शीला दाहिमा ने निर्वाचन सामग्री प्रबंध और मतदाता जागरूकता कार्यक्रम (सेंस) की जानकारी दी। लेखा अधिकारी प्रदीप शुक्ला एवं परामर्शी जी. पी. अग्रवाल ने नाम निर्देशन की प्रक्रिया एवं डॉ. संजय दीक्षित और अन्य अधिकारियों ने ई.व्ही.एम., मतदान बाक्स, मतगणना की प्रक्रिया, डी.एम.एम. की सीलिंग एवं निर्वाचन की अन्य प्रक्रिया के संबंध में जानकारी दी।

गूगल की महासेल ,होंगी ऑॅफरो की जंग

 Google Mahasel

ऑनलाइन खरीदारी के क्षेत्र में एक बार फिर ऑफर की जंग की शुरुआत हो गई है। इस कड़ी में गूगल भी अपना महासेल लगा रहा है।

10 से 12 दिसंबर तीन दिन तक चलने वाले इस महासेल में घर बैठे आप मकान से लेकर कार तक और मोबाइल, होम थिएटर से लेकर कपड़ों तक सब कुछ खरीद सकते हैं।

कोई भी ग्राहक जीओएसएफडॉटइन पर जाकर खुद को पंजीयन कराकर खरीदारी शुरू कर सकता है। खरीदारी का काम मंगलवार रात 12 बजे से शुरू हो जाएगा।

गूगल इंडिया के प्रबंध निदेशक राजन आनंद के मुताबिक महासेल में 450 कंपनियां अपना सामान बेचेंगी। तीन दिन के इस महासेल में 3.5 करोड़ भारतीयों के ऑनलाइन खरीदारी करने की उम्मीद है।

ग्राहकों को किसी भी प्रकार की दिक्कत से बचाने के लिए गूगल ने इस बार अपने बैकअप को काफी मजबूत किया है। एक समय में पांच लाख ग्राहक तक खरीदारी कर पाएंगे। पिछले साल गूगल इंडिया के महासेल में साइट क्रैश कर गई थी।

गूगल इंडिया के मुताबिक महासेल में मारुति, हुंडई समेत कई नामी कार कंपनियां हिस्सा ले रही है। सभी कंपनियां एक विशेष छूट के साथ सेल में भाग ले रही है। ग्राहकों तक अपने उत्पादों को पहुंचाने लिए सभी कंपनियों ने कोरियर कंपनियों से समझौता किया है।

महासेल में कोई सामान आर्डर करने पर भुगतान के लिए किसी कार्ड का इस्तेमाल नहीं करना होगा। घर पर सामान पहुंचने के बाद नगद भुगतान करना होगा।

आदित्य बिड़ला मनी माई यूनिवर्स की तरफ से एक लाख इंटरनेट यूजर्स को गूगल के महासेल में 299 रुपये तक की मुफ्त खरीदारी का मौका दिया जा रहा है। गूगल इंडिया की इस साइट पर 299 रुपये में रिबॉक की जैकेट से लेकर लकमे के सौंदर्य प्रसाधन तक मिलेंगे।

गूगल इंडिया के मुताबिक, तीन दिन के इस महासेल में कई नए उत्पाद लांच किए जाएंगे। इनमें मुख्य रूप से 43.999-48,999 रुपये वाले नेक्सस 6 मोबाइल फोन, 2,999 रुपये कीमत वाले क्रोमकास्ट, 49490 रुपये कीमत वाले लेनेवो योगा टैबलेट शामिल है।

सेल का सबसे आकर्षक उत्पाद टाटा होम का है। टाटा हाउसिंग 3.5-5 करोड़ रुपये तक वाले बंगलूरू स्थित अपने फ्लैट की बिक्री करेगी। वहीं टाटा होम्स मुंबई के निकट 16 लाख रुपये में 1-1.5 बीएचके वाले सस्ते फ्लैट की बिक्री इस सेल में करेगी। इसकी बुकिंग राशि 20,000 रुपये रखी गई है।




धर्म परिवर्तन और गीता पर आज संसद में होगी महाभारत

parliament of indiaनई दिल्ली [ TNN ] उत्तर प्रदेश के आगरा में धर्म परिवर्तन कर हिंदू बनाने और भगवद् गीता को राष्ट्रीय ग्रंथ घोषित करने की उठ रही मांग को लेकर विपक्ष मोदी सरकार को घेरने में जुट गया है।

विपक्षी दलों ने मंगलवार को बजरंग दल समेत तमाम हिंदू संगठनों की सक्रियता बढ़ने के मुद्दे को उछालते हुए सरकार पर देश में सांप्रदायिक माहौल खराब करने का आरोप लगाया। विपक्ष इस मसले पर बुधवार को राज्यसभा में चर्चा कराने का नोटिस दे सकता है।

बसपा सुप्रीमो मायावती ने भगवद् गीता को राष्ट्रीय ग्रंथ घोषित किए जाने के विदेश मंत्री सुषमा स्वराज के बयान पर ऐतराज जताते हुए कहा कि इस तरह की मांग सभी धर्मों की ओर से उठ सकती हैं और देश में टकराव की स्थिति बन सकती है।

बसपा, जदयू और वामदल इस मुद्दे पर राज्यसभा में प्रस्ताव ला सकते हैं। उधर, राज्यसभा में भाकपा नेता डी राजा ने भी सुषमा के बयान पर आपत्ति जाहिर की है। शून्यकाल में इस मामले को उठाते हुए उन्होंने कहा कि धर्मनिरपेक्ष देश में इस तरह का बयान देना आपत्तिजनक है। इस तरह के बयानों से विवाद बढ़ते हैं।

उन्होंने कहा कि भारत में अनेक धर्म को मानने वाले लोग रहते हैं। किसी एक धार्मिक ग्रंथ को राष्ट्रीय ग्रंथ या किताब घोषित नहीं किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि सदन को मिलकर इस बयान को खारिज करना चाहिए।

इस बीच दिग्विजय सिंह ने गीता को भारत की आत्मा बताते हुए उसे बांटने की निंदा की। कांग्रेस, तृणमूल और वामदल ने भी इससे खुद को संबद्ध किया।

संसदीय कार्य राज्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने सुषमा के बयान के पक्ष में कहा कि बचपन से ही यह सुना जाता है कि गीता एक धर्म ग्रंथ नहीं बल्कि कर्म ग्रंथ है। भगवत गीता पर देश को गर्व है। अगर जरूरत पड़ी तो इस पर बहस की जा सकती है। इस पर वामदल के नेता सीताराम येचुरी ने गीता प्रकरण पर अलग से चर्चा कराने की बात भी कही।

मंत्री मंडल विस्तार : नकवी कैबिनेट मंत्री ,नजमा गवर्नर

Shiv Sena's Anil Desai to be inducted after Winter Session; Najma Heptullah could be made Assam governorनई दिल्ली [ TNN ] पिछली बार मोदी कैबिनेट के विस्तार में मंत्री बनने से रह गए शिव सेना के सांसद अनिल देसाई आखिरकार पार्टी के कोटे से केंद्र में मंत्री बनेंगे। संसद का शीतकालीन सत्र खत्म होने के बाद बतौर राज्य मंत्री उन्हें मोदी सरकार में शामिल किया जाएगा। चर्चा यह भी है कि अल्पसंख्यक मामलों की मंत्री नजमा हेपतुल्ला को गवर्नर बनाया जाएगा और मुख्तार अब्बास नकवी को प्रमोट किया जाएगा।

सरकार के टॉप सूत्रों ने बताया कि देसाई को पिछली बार कैबिनेट एक्सपैंशन में सरकार में शामिल किया जाना था लेकिन महाराष्ट्र में सरकार में हिस्सेदारी को लेकर बीजेपी और शिव सेना के बीच चली खींचतान की वजह से वह मंत्री नहीं बन पाए थे। सूत्र ने बताया, ‘चूंकि अब महायुति सरकार में वापस आ चुका है, इसलिए संसद का शीतकालीन सत्र खत्म होने के बाद देसाई को राज्य मंत्री का दर्जा देकर मोदी सरकार में शामिल कर लिया जाएगा।’

ऐसी अटकलें हैं कि पार्टी की वरिष्ठ मंत्री नजमा हेपतुल्ला को किसी राज्य का गवर्नर बनाया जा सकता है और अल्पसंख्यक मामलों के राज्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी को प्रमोट कर स्वतंत्र प्रभार दिया जा सकता है। सूत्र ने बताया कि असम के गवर्नर का पद जल्द खाली हो रहा है और हेपतुल्लाह को वहां का गवर्नर बनाया जा सकता है।

तीन दशक बाद लता और आशा एक बार फिर एक साथ

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तीस साल के बाद इतिहास एक बार फिर खुद को दोहराने को है। हिंदी सिनेमा की दो मशहूर गायिका एक बार फिर एकसाथ नजर आने वाली हैं। जी हां लता मंगेशकर और उनकी बहन आशा भोसले एक बार फिर एक साथ आ रही हैं।

दरअसल लता मंगेशकर अपनी बहन आशा भोसले का गाना प्रोड्यूस कर रही हैं। ए हवा गाना आशा भोसले और शान ने गाया है, जिसे लता मंगेशकर की कंपनी एलएम म्यूजिक प्रोड्यूस कर रही है। यह गाना कल रिलीज होगा। लता-आशा ने एक साथ आखिरी बार 1984 में उत्सव फिल्म के लिए गाना गाया था, जिसके बोल थे-मन क्यों बहका रे बहका…।

तीस साल पहले लता मंगेशकर और आशा भोसले ने मन क्यों बहका गाने के लिए प्लेबैक किया था। फिल्म उत्सव का साल 1974 में रिलीज हुई थी। और उसके बाद कभी एकसाथ लता और आशा किसी फिल्मी गाने के लिए रिकॉर्डिंग स्टूडियो नहीं गईं।

हां कुछ साल पहले दोनों ने राष्ट्रगान अपनी आवाज में रिकॉर्ड जरूर की थी। अब सालों बाद दोनों बहन एक साथ एक गाने में साथ आ रही हैं। बुधवार को आशा और शान की आवाज में गाया एक गाना रिलीज हो रहा है जिसे लता की कंपनी प्रोड्यूस कर रही हैं।

सालों बाद बहन आशा के साथ किसी प्रोजेक्ट पर काम करने को लेकर लता मंगेशकर काफी उत्साहित हैं। उत्सव के इस गाने के बारे में लता बताती हैं कि मैं रेखा के लिए गा रही थी और आशा अनुराधा पटेल के लिए। हम दोनों काफी अलग सिंगर हैं और संगीतकार को हमारे लिए गाने में एक प्वाइंट बनाना पड़ता है जहां हमारी आवाज आकर मिलती है। जो किसी भी संगीतकार के लिए आसान नहीं है।

लता और आशा ने अपने करियर में ज्यादा गाने तो साथ में नहीं गाए हैं, लेकिन जो भी गीत उनकी आवाज में है वो सुनने वाले को मंत्रमुग्ध कर जाता है।

क्रिकेट को तव्वजो दिए जाने पर संसद में सवाल

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नई दिल्ली [ TNN ] देश में अन्य खेलों की बनिस्बत क्रिकेट को अधिक तव्वजो दिए जाने पर कटाक्ष करते हुए लोकसभा में आज एक सदस्य ने कहा कि ऐसा लगता है कि क्रिकेटरों को ब्रह्मा ने बनाया है, बाकी खिलाडियों को ब्रह्मा के कारिंदों ने। कुश्ती खेल से जुडे रह चुके भाजपा सदस्य वीरेन्द्र सिंह ने प्रश्नकाल के दौरान देश में ग्रामीण खेलों और अन्य खेलों के मुकाबले क्रिकेट को अधिक तव्वजो दिए जाने पर सवाल उठाया।

उन्होंने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में खिलाडियों को सुविधाओं के नाम पर कुछ भी उपलब्ध नहीं कराया जा रहा है। उन्होंने सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव और गृह मंत्री राजनाथ सिंह की ओर इशारा करते हुए कहा कि वे दोनों भी उनकी तरह कुश्ती लडते रहे हैं और अच्छी तरह जानते होंगे कि कुश्ती सहित अन्य ग्रामीण खेलों की क्या हालत है।

इसी क्रम में उन्होंने कटाक्ष करते हुए कहा, क्रिकेट को देखकर ऐसा लगता है कि क्रिकेट खिलाडियों को ब्रह्मा ने बनाया है और बाकी खिलाडियों को उनके (ब्रह्मा) कारिंदों ने। उन्होंने खिलाडियों को पर्याप्त सुविधाएं प्रदान करने के लिए स्पष्ट खेल नीति बनाए जाने की मांग की।

भाजपा के ही राघव लखनपाल ने भी अपने प्रश्न के जरिए खेलों की दुर्दशा पर चिंता जतायी। इस पर खेल मंत्री सर्वदानंद सोनोवाल ने बताया कि सरकार ग्रामीण खेल प्रतिभाओं को पर्याप्त अवसर प्रदान करने के उपायों पर काम कर रही है और आने वाले वर्षो में विभिन्न खेलों से जुडी हुई कई अकादमियां स्थापित करने की योजना पर काम कर रही है।

इसके साथ ही उन्होंने अनुराग ठाकुर के सवाल के जवाब में बताया कि वर्ष 2016 और 2020 के ओलंपिक खेलों की तैयारियों के लिए सरकार खिलाडियों को हरसंभव मदद मुहैया करा रही है ताकि वे देश के लिए पदक जीत सकें।

रेल में रेप हो तो क्या ट्रेन को बैन कर देंगे : नितिन गड़करी

Nitin-Gadkariनई दिल्ली [ TNN ] दिल्ली सरकार द्वारा टैक्सी कंपनी उबेर की सेवा पर बैन लगाने का मुद्दा गरमा गया है। इस मुद्दे पर दो मंत्रालय आमने-सामने आ गए हैं। परिवहन मंत्री नितिन गड़करी ने उबेर पर लगाए गए बैन को गलत बताया है। उन्होंने कहा कि कंपनी की सेवा पर रोक लगाना समस्या का समाधान नहीं है। वहीं दूसरी ओर केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने मंगलवार को सभी राज्यों को एप्स बेस्ड टैक्सी कंपनियों पर बैन लगाने के लिए कहा है। साथ ही कहा है कि जब तक इन कंपनियों का रजिस्ट्रेशन न हो, इन पर पाबंदी लगी रहे।

गड़करी ने इसके साथ ही कहा कि क्या रेल में रेप हो तो रेल को बंद कर देंगे? साथ ही कहा कि देश में 30 फीसद ड्राइविंग लाइसेंस फर्जी हैं। दिल्ली सरकार ने सोमवार को दिल्ली में उबेर की सेवाओं पर रोक लगा दी थी। साथ ही दिल्ली सरकार ने करीब 20 से ज्यादा एप्स बेस्ड टैक्सी कंपनियों पर भी रोक लगाई है। इसकी वजह से करीब हजारों ड्राइवर बेरोजगार हो गए। दिल्ली सरकार ने साथ ही कहा कि केवल दिल्ली में छह कंपनियां के पास ही रेडियो टैक्सी चलाने का लाइसेंस है।

दिल्ली सरकार ने यह फैसला उबेर टैक्सी कंपनी के ड्राइवर द्वारा एक महिला से रेप करने के बाद लिया है। उबेर के ड्राइवर शिव कुमार यादव ने शुक्रवार रात को एक महिला यात्री के साथ रेप किया था। जिसके बाद यादव को मथुरा से गिरफ्तार किया गया था। सोमवार को उसे दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उसे तीन दिन के पुलिस रिमांड पर भेज दिया गया।

पूर्व विधायक पति पर जालसाजी का केस दर्ज

crime

करनाल [ TNN ] प्रॉपट्री के कई विवादों से घिरे करनाल की पूर्व विधायक सुमितासिंह के पति जगदीपसिंह विर्क नए विवाद में फंस गए हैं। जी इंटरटेंमैंट कंपनी की डिस्ट्रीब्यूटर कंपनी ताज टेलीविजन प्रा. लि. मुंबई ने पूर्व विधायक के पति जगदीपसिंह विर्क, दीपक शर्मा, फास्टवे कंपनी के एमडी गुरदीपसिंह व सीईओ पियूष महाजन के खिलाफ कापीराइट, चोरी व धोखाधड़ी करने का आरोप लगाते हुए सिविल लाइन थाना में शिकायत दर्ज कराई है। पुलिस ने अपराध की धारा 37/51/52 ए/63/68, 420 व 379 के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरु कर दी है।

ताज टेलीविजन प्रा. लि. कंपनी की ओर से शिकायत दर्ज कराने वाले शाम सुंदर निरंकारी ने अपनी शिकायत में बताया है कि उनके पास केबल नेटवर्क के जरिये जी टीवी, जी सिनेमा, जी एचडी, जी स्टुडियो, जी स्टुडियो, पोगो, कार्टन नेटवर्क, एचबीओ, डब्ल्यूबी, जी स्माईल, जी एक्शन, जी क्लॉसिक, जी न्यूज, जिंदगी, टेन एक्शन, टेन स्पोर्टस, जी बिजनेस समेत करीब चार दर्जन चैनलों के कॉपीराइट अधिकार है। इन चैनलों का प्रसारण केबल आपरेटर लिखित अनुबंध के आधार और निर्धारित शुल्क देने के बाद अपने उपभोक्ताओं को कर सकते हैं। लेकिन करनाल में फास्टवे कंपनी और पूर्व विधायक जगदीपसिंह विर्क के स्वामित्व वाला केबल नेटवर्क बिना किसी अनुबंध और शुल्क दिये बगैर जी कंपनी के चैनलों का प्रसारण कर रहे हैं। इसकी एक शिकायत 23 जुलाई 2014 को करनाल पुलिस में की गई थी। लेकिन इस बारे में तब से लेकर अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई।

शाम सुंदर ने शिकायत में बताया है कि उन्होंने 6 दिसंबर को करनाल के विभिन्न हिस्सों में अपनी तकनीकी टीम के साथ चैनलों की पॉयरेसी को लेकर वास्तविकता का पता किया। इस दौरान उन्होंने पाया कि लुधियाना की फास्टवे कंपनी करनाल में ताज टेलीविजन प्रा. लि. के प्रमुख चैनल जी टीवी, जी प्रीमियर, जी क्लॉसिक, जी एक्शन, जी सिनेमा, जी कैफे समेत कई चैनलों का गैरकानूनी और अवैध रूप से प्रसारण कर रहा है।

शिकायत में बताया गया है कि टीडीसैट ने 13 अगस्त को फास्टवे कंपनी को ताज टेलीविजन के चैनलों का प्रसारण न करने के आर्डर दिये थे। इसके बाद 22 अगस्त को फास्टवे कंपनी के सीईओ पियुष महाजन ने टीडीसैट में शपथ पत्र देकर कहा था कि कंपनी फास्टवे कंपनी करनाल के डैस और नॉस डैस ऐरिया में किसी तरह से ताज टेलीविजन प्रा. लि. कंपनी के चैनलों का प्रसारण नहीं करेगी।

बावजूद इसके फास्टवे ट्रासमिशन अवैध तौर पर करनाल में ताज टेलीविजन प्रा. लि. के चैनलों का प्रसारण कर रहा है। शिकायत में चैनलों के अवैध प्रसारण की रिकार्डिंग की सीडी भी पुलिस को दी गई है। शाम सुंदर ने इस मामले में जिन चार लोगों के खिलाफ पुलिस में शिकायत दी है उनमे फास्टवे कंपनी के एमडी गुरदीपसिंह, सीईओ पीयूष महाजन, पूर्व विधायक सुमितासिंह के पति जगदीपसिंह विर्क व विर्क के पार्टनर दीपक शर्मा शामिल है।

केबल किंग बनने के चक्कर में गुंजल में उलझे विधायक पति?
पिछले पांच साल में करनाल में केबल का नाम चार-पांच बार बदला है। पहले न्यू बाला जी केबल का नाम बदल कर तेज केबल नेटवर्क किया गया। तेज केबल नेटवर्क पर रातों-रात विधायक सुमितासिंह के पति जगदीपसिंह विर्क व दीपक शर्मा का वर्चस्व कायम हो गया। इसके बाद ये केबल नेटवर्क करोड़ों रुपए में एक विदेशी कंपनी को बेच दिया गया। दिलचस्प ये रहा कि करीब छह महीने पहले आईवरस केबल का वर्चस्व समाप्त कर उसे फास्टवे में तबदील कर दिया गया। इसकी एवज में आईवरस केबल को कोई भुगतान नहीं किया गया। बहरहाल केबल किंग बनने के चक्कर में पूर्व विधायक सुमितासिंह के पति जगदीपसिंह विर्क और उनके पार्टनर दीपक शर्मा केबल के गुंजल में बुरी तरह उलझ गए हैं। अब ये गुंजल कैसे सुलझता है ये देखना दिलचस्प होगा।

रिपोर्ट -अनिल लाम्बा

भाजपा की चार सीटों पर हार से उठ रहे सवाल

BJP lost four seats are up questionsदमोह [ TNN ] जब कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक भाजपा की हवा तेज गति से बह रही हो। नमो के रंग में देश ही नहीं विश्व रंग गया हो,शिव के प्रति जमकर विश्वास जनता में लगातार बना हो और एैसे अच्छे वातावरण में भी भाजपा को जिले में पांच में से सिर्फ एक पर सफलता मिले तो प्रश्र उठना तो लाजमी है? आखिर एैसा कौन सा वह बांध,या रोडा है जिसने उसकी जीत की लहर या हवा को रोकने के लिये कार्य किया? इसको बनाने में किसने कार्य किया जो नमों और शिव की गति को चुनौति देता रहा? संगठन नहीं व्यक्ति पर केंद्रित राजनीति को केन्द्र बिन्दु मान कार्य करने वाले आखिर एैसे कौन से लोग हैं जिन्होने कांग्रेस मुक्त भारत नमो के सपने को चकना चूर करने में अपना योगदान देते हुये कांग्रेस युक्त दमोह को बनाने में सहयोग किया? भले ही भारतीय जनता पार्टी को प्रदेश में भारी सफलता प्राप्त हो गयी हो परन्तु दमोह जिले में मिली चार सीटों की असफलता लगातार प्रश्रों को उपजा रही है? जिले की एक नगर पालिका परिषद एवं चार नगरपंचायतों में से उसको सिर्फ दमोह नगर पालिका पर जीत प्राप्त हो सकी है। जबकि दो पर कांग्रेस एवं दो पर निर्दलीय ने अपनी जीत दर्ज कराते हुये अपना परचम लहराया। वैसे तो पूर्व से ही यही कयास लगाये जा रहे थे जैसे कि परिणाम सामने आये। परन्तु अगर सही प्रयास किये जाते तो कम से कम पूरी नहीं तो तीन सीटें तो भाजपा जीत सकती थी?

कहीं खुशी कहीं गम-
भारतीय जनता पार्टी की ओर घोषित प्रत्यासी श्रीमती मालती असाटी को मिली जीत से जहां भाजपा खेमें ने प्रसन्नता तो कांग्रेस के लिये परिणाम चौकाने वाले थे,जिसके कारण उसके खेमें सन्नाटा पसर गया।श्रीमती मालती असाटी को 32 हजार 120 मत प्राप्त हुये जबकि कांग्रेस की श्रीमती चमेली जैन को 27 हजार 864 मत मिले। यहां पर भाजपा प्रत्यासी ने 4 हजार 256 मतों से जीत दर्ज करायी। ज्ञात हो कि यहां पर जिस प्रकार से कांगे्रस ने अपने प्रत्यासी के समर्थन में हवा बनायी थी और जातिगत समीकरण बनाने का प्रयास किया था। जब अन्य समाज ने एक एक समाज एवं व्यक्ति विशेष उपज रहे आक्रोश को मतदान में मतदाताओं ने परिवर्तित कर दिया तो वह दाव उसके लिये उल्टा साबित हो गया। सूत्रों की माने तो कांग्रेस के लिये अति विश्वास यहां हार का कारण बना।

इतना सन्नाटा क्यों है भाई?-
भारतीय जनता पार्टी को मिली दमोह नगरपालिका परिषद के निर्वाचन में मिली सफलता के बाद भाजपा कार्यालय में पसरा सन्नाटा परिणाम आने की संध्या से लेकर चर्चाओं में आज भी बना हुआ ? अंधेरे में छाया कार्यालय तथा अनेक चर्चित पदाधिकारियों के चेहरों पर उभरते भाव लगातार कुछ न कुछ बयां करते होने की बात इस समय जन चर्चा में बनी हुई है? लोगों के मुंह से यह निकलना कि इतना सन्नाटा क्यों है भाई? यह बात अलग है कि पार्टी को जिले की चार सीटों पर पराजय का मुंह देखना पडा परन्तु नगर में तो उसको अच्छी सफलता प्राप्त हुई है। क्या यह बात सही नहीं है कि मालती की जीत ने जिले में भाजपा की नाक को बचाने का कार्य किया है?

क्या है मालती को ताज का राज-
नगर पालिका परिषद में श्रीमती मालती असाटी की जीत पर भले ही भाजपा अपनी पीठ थप थपाये परन्तु देखा जाये तो यह विजय उसको एैसे ही नहीं मिल गयी? एैसी विषम परिस्थितियो में जब असंतुष्टों की संख्या लगातार बढ रही हो,प्रत्यासी के लिये अचानक दावेदारों की संख्या में ईजाफा हो?भीतरघातियों की कमी न हो और सिर्फ अपने लिये कार्य करने वाले ज्यादा दिखलायी दे रहे हों? एैसे में मालती असाटी की जीत किसी चमतकार से कम नहीं कही जा सकती है। इस जीत के पीछे के कुछ प्रमुख कारण उभरकर सामने आये हैं उनमें सबसे प्रमुख वह है जिसमें नेता नहीं मतदाता पर ध्यान केंद्रित किया गया। जी हां यह वह सच्चाई है जिसमें लोकसभा चुनाव में चौकाने वाला परिणाम देश के सामने रखने में महत्वपूर्ण निभाने वाला राष्ट्रवादी संगठन ने कार्य किया। जिसने मतदाताओं का मन बना उसको बाहर निकलने और भाजपा प्रत्यासी के पक्ष में मतदान करने के लिये प्रेरित किया। दूसरा प्रमुख कारण है एक समाज एवं व्यक्ति के प्रति आक्रोश जिसने मतदाता को कांग्रेस के विरोध में वोट करने के लिये प्रेरित किया। तीसरा कारण एक जमीनी कार्यकर्ता के साथ ही अनुभवी,मिलनसार,संघर्षशील प्रत्यासी के रूप में मालती की छबि बनना। यह बात अलग है कि चर्चित नेता अपनी पीठ थप थपाने में लगे हों कि सफलता के पीछे उनका हाथ है परन्तु सच्चाई वह भी जानते हैं?

संगठन नगर तक ही सीमित रहा-
उक्त निर्वाचन की प्रक्रिया में देखा जाये तो दमोह नगर के अलावा भाजपा संगठन या तो दिखलायी नहीं दिया और अगर दिखा तो नाम मात्र के लिये। टिकिट वितरण के दौरान एक विशेष जगह से संचालन होने की बात लगातार सामने आने तथा हस्तक्षेप के चलते या तो कार्यकर्ता बागी हो गये या फिर वह भीतरघात करते रहे? बतलाया जाता है कि भाजपा जिला संगठन की इसी प्रकार की कार्यप्रणाली का परिणाम भाजपा को चुनाव में आये परिणामों में भोगना पडा? वह दमोह नगर की टिकिट वितरण को लेकर ही ज्यादा उलझा रहा। वहीं प्रचार प्रसार के मामले में भी वह अन्य क्षेत्रों में पीछे ही रहा। पार्टी कार्यालय द्वारा जारी समाचार कभी कभार ही हुये जबकि नगर को छोडकर अन्य क्षेत्रों की संख्या न्यून ही रही। छपा और दिखा रोग से पीडित चर्चित नेता सोशल मीडिया पर अपनी तस्वीर को डाल खुश होते रहे।

 

रिपोर्ट :-  डा.एल.एन.वैष्णव

मोदी “टाइम पर्सन ऑफ द ईयर” की रेस से बाहर

Prime Minister Narendra Modiन्यूयॉर्क [ TNN ] टाइम मैग्जीन के पर्सन ऑफ द ईयर में ऑनलाइन वोटिंग में सबसे आगे चल रहे भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रीडर्स पोल जीत लिया है। मैग्जीन में सोमवार को टि्वटर पर यह जानकारी दी। हालांकि, मैग्जीन द्वारा सालाना खिताब के लिए चुने गए आठ लोगों की सूची में मोदी जगह बनाने में सफल नहीं हो सके। मोदी “टाइम पर्सन ऑफ द ईयर” की रेस से बाहर हो गए हैं। मैग्जीन के संपादकों ने दुनियाभर के पचास नेताओं और मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) की सूची में कटौती करते हुए लोगों की संख्या आठ कर दी। इन लोगों के नाम सोमवार को ही घोषित किए गए।

खिताब जीतने के मैग्जीन ने जिन आठ लोगों को सूची मे शामिल किया है वे हैं अलीबाबा समूह के प्रमुख जैक मा, रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतीन, एप्पल के सीईओ टिम कु क, फग्र्यूसन के प्रदर्शनकारी, गायिका टेलर स्विहट, इबोला बीमारी के खिलाफ देखरेख करने वाले, नेशल फुटबॉल लीग के आयुक्त रोजर स्टोकोई गुडेल और कुर्द नेता मसूद बरजानी।

पर्सन ऑफ द ईयर का चुनाव करने के बाद टाइम मैग्जीन के संपादक नाम की घोषणा 10 दिसंबर को करेंगे। मैग्जीन ने यह सालाना सम्मान 1927 में शुरू किया था और यह सम्मान उस व्यक्ति को दिया जाता है जो साल भर अच्छे या बुरे कामों की बदौलत सुर्खियों में बना रहा हो।

झारखंड : पुलिस और नक्सलियों के बीच मुठभेड़

Encounter Between Maoists and Security Forces in Jharkhandरांची [ TNN ] झारखंड में तीसरे चरण के विधानसभा चुनाव के दौरान पुलिस पर हमला कर दिया। गिरिडीह जिले के धनवार विधानसभा क्षेत्र में गामा थाना के केन्दुआ डीह गंडाल में मंगलवार को पुलिस और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई। हालांकि इसमें कोई हताहत नहीं हुआ। पुलिस अधीक्षक के. कुमार गरदेसी ने बताया कि पुलिस और नक्सलियों के बीच में हुई मुठभेड़ में कोई हताहत नहीं हुआ लेकिन दोनों ओर से 30-40 राउंड गोलियां चली। गरदेसी ने बताया कि घटना स्थल से एक बम बरामद किया गया जिसे निष्क्रिय कर दिया गया। इस बीच जिला उपायुक्त मुकेश वर्मा ने कहा कि घटना स्थल के निकट कोई मतदान केन्द्र नहीं था। धनवार विधानसभा क्षेत्र में मंगलवार सुबह सात बजे से शान्तिपूर्वक मतदान शुरू है।

झारखंड में तीसरे चरण में 17 विधानसभा क्षेत्रों में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच मंगलवार सुबह सात बजे से मतदान शुरू हुआ और नौ बजे तक 12 फीसद से अधिक वोट पडे। राज्य के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के कार्यालय सूत्रों ने बताया कि विधानसभा सभा क्षेत्रों में पहले दो घंटे में 12 फीसद से अधिक लोगों ने मतदान किया। इस बीच राज्य के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी पी के जाजोरिया ने यहां बताया कि कोडरमा, बरकटा, बरही, मांडू, हजारीबाग, बरकागांव, रामगढ़, समरिया, धनवार, गोमियां, बेरमो, ईचागढ़ सिल्ली और खिजरी विधानसभा क्षेत्रों में मंगलवार सुबह सात बजे से मतदान शुरू हुआ और दिन के तीन बजे तक मतदान होगा जबकि कांके, हटिया और रांची विधानसभा क्षेत्रों में शाम के पांच बजे तक मतदान होगा।

सभी मतदान केन्द्रों पर सशस्त्र पुलिस बल की तैनाती की गयी है। 17 विधानसभा क्षेत्रों से कुल 289 उम्मीदवार है जिनमें 26 महिला उम्मीदवार है और 2 63 पुरूष उम्मीदवार है जबकि कुल 5,016,657 मतदाता है जिनमें सर्विस मतदाता 2,549 हैं तथा 5,865 मतदान केन्द्र है। इन 17 विधानसभा क्षेत्रों में 14 सामान्य दो अनसूचित जाति और एक अनसूचित जनजाति के लिए है। तीसरे चरण के मतदान आज जिन प्रमुख नेताओं का भाग्य ईवीएम में बन्द होगा उनमें पूर्व मुख्यमंत्री बाबू लाल म रांडी, राज्य के ऊर्जा मंत्री राजेन्द्र प्रसाद सिंह, राज्य की जल संसाधन मंत्री अन्नपूर्णा देवी, पूर्व विधानसभा अध्यक्ष सी.पी.सिंह, राज्य के पूर्व उप मुख्यमंत्री सुदेश महतो, पूर्व मंत्री माधव लाल सिंह, पूर्व मंत्री मनोज कुमार यादव, पूर्व मंत्री चन्द्र प्रकाश चौधरी और भाजपा की सीमा शर्मा शामिल हैं।